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This Article is From Oct 15, 2014

विशाखापट्टनम में मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू ने डाला डेरा, बस को बनाया दफ्तर

विशाखापट्टनम में मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू ने डाला डेरा, बस को बनाया दफ्तर
विशाखापट्टनम:

आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू रविवार के बाद से अब तक ढंग से सोए भी नहीं हैं, यह कहना है उनके सहायकों का। दरअसल, चक्रवात हुदहुद ने रविवार को ही आंध्र प्रदेश को अपनी चपेट में लिया था, और उसके साथ आई तेज़ आंधी-तूफान ने ऐसी तबाही मचाई, जिसकी भरपाई करने में करोड़ों-अरबों रुपये और कई साल लग जाएंगे। इसी साल मई में ही चंद्रबाबू नायडू को अपना मुख्यमंत्री चुनने वाले आंध्र प्रदेश में चक्रवात हुदहुद के दौरान कम से कम 21 लोग मारे गए हैं।

सोमवार को विशाखापट्टनम पहुंचने के बाद से ही चंद्रबाबू नायडू ने एक बस को अपना दफ्तर बना रखा है, जहां एनडीटीवी से बात करते हुए उन्होंने कहा, "इतना नुकसान हुआ है, जिसकी आप कल्पना भी नहीं कर सकते, सोच भी नहीं सकते, और अंदाज़ा भी नहीं लगा सकते..." वाईज़ैग (Vizag) के नाम से मशहूर इस पोर्ट सिटी (बंदरगाह का शहर) में चक्रवात हुदहुद की वजह से सबसे ज़्यादा तबाही हुई थी।

मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू ने यह भी कहा कि इस समय टेलीकॉम कंपनियों तथा उनके साथ पहुंचे शीर्ष मंत्रियों तथा नौकरशाहों के लिए उनका आदेश स्पष्ट है, "हमें लोगों की मदद करनी है... यह एक एमरजेंसी है, संकट है... यदि वे सहयोग नहीं करते, मुझे उन्हें हिरासत में लेना होगा... टेलीकॉम आपरेटरों को भी... सभी को अतिरिक्त काम करना ही होगा..." उल्लेखनीय है कि चंद्रबाबू नायडू ने सरकारी कर्मचारियों के लिए 24 घंटे की शिफ्टों में काम करने के आदेश पहले ही जारी कर रखे हैं।

चंद्रबाबू नायडू ने कहा है कि हुदहुद चक्रवात के कारण हुए नुकसान की अब तक पूर्ण गणना नहीं हो पाई, लेकिन शुरुआती अनुमान के मुताबिक नुकसान 70,000 करोड़ रुपये से पार जा सकता है। नायडू ने संवाददाताओं को बताया कि उत्तरी तटीय जिलों में स्थिति अब भी गंभीर बनी हुई है और जनजीवन को पटरी पर लाने के लिए सभी प्रयास किए जा रहे हैं। जल्द से जल्द बिजली आपूर्ति की बहाली का भी प्रयास किया जा रहा है।

नायडू ने बताया, चक्रवात के कारण हुए नुकसान का पूर्ण आकलन करना बहुत मुश्किल है। हमें अब तक चक्रवात प्रभावित सभी जिलों में 60,000 करोड़ रुपये या फिर 70,000 करोड़ रुपये के अनुमानित नुकसान की सूचना मिल रही है। हम फिलहाल किसी आंकड़े पर नहीं पहुंच सकते। चक्रवात प्रभावित इलाकों में राहत और बचाव अभियानों को अंजाम देना हमारी तत्काल प्राथमिकता है।

उन्होंने बताया कि एक या दो दिन में केंद्रीय दलों (नुकसान के आकलन के लिए) के आंध्र प्रदेश पहुंचने की संभावना है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को विशाखापट्टनम का दौरा किया था और राहत कार्यों के लिए 1,000 करोड़ रुपये की अंतरिम सहायता राशि की घोषणा की।

(इनपुट भाषा से भी)

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