नई दिल्ली/मुम्बई:
समाजसेवा के जरिए राजनीति में आए अरविंद केजरीवाल ने बड़े खुलासों के क्रम में शुक्रवार को आरोप लगाया कि मुकेश व अनिल अंबानी बंधु और कांग्रेस सांसद अनु टंडन, जेट एयरवेज के प्रमुख नरेश गोयल सहित कई भारतीयों ने स्विट्जरलैंड स्थित बैंकों में करोड़ों रुपये जमा कर रखे हैं। इनमें से अधिकांश ने जहां आरोप का खंडन किया, वहीं भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने सरकार से जांच कर स्थिति स्पष्ट करने की मांग की।
केजरीवाल ने कहा कि उनका यह आरोप जेनेवा स्थित एचएसबीसी बैंक के 10 खाता धारकों की सूची पर आधारित है, जिसे कांग्रेस के एक वरिष्ठ नेता ने उन्हें दी है, जिसकी बाद में इंडिया अगेंस्ट करप्शन (आईएसी) के एक दल ने जांच-परख की है।
केजरीवाल ने यहां एक संवाददाता सम्मेलन में कहा, "जुलाई 2011 में भारत सरकार को लगभग 700 ऐसे लोगों की एक सूची प्राप्त हुई थी, जिनके खाते जेनेवा स्थित एचएसबीसी बैंक में हैं। इस सूची में 2006 में इन लोगों के बैंक बैलेंस दर्ज हैं। ये नाम भी उस सूची का हिस्सा हैं।"
सूची में अंबानी बंधुओं के अलग-अलग 100 करोड़ रुपये हैं, उन्नाव से कांग्रेस सांसद टंडन के 125 करोड़ रुपये हैं और उनके दिवंगत पति संदीप टंडन के नाम भी अलग से 125 करोड़ रुपये हैं। इसके अलावा जेट एयरवेज के चेयरमैन नरेश कुमार गोयल के 80 करोड़ रुपये हैं।
केजरीवाल ने आरोप लगाया कि डाबर का स्वामित्व रखने वाले तीन भाइयों के स्विस बैंक में 25 करोड़ रुपये हैं, जबकि यशोवर्धन बिड़ला और कोकिला धीरूभाई अंबानी के खातों में कोई धन नहीं है।
केजरीवाल ने कहा, "हमारे सूत्रों ने हमें बताया है कि जब 700 स्विस खाता धारकों की सूची भारत को सौंपी गई थी, उस समय मुकेश अंबानी वित्त मंत्रालय गए थे। उन्होंने वित्त मंत्रालय से कहा था 'हम शांति के लिए कर भुगतान करने को तैयार हैं और छापे नहीं मारे जाने चाहिए'।"
केजरीवाल के अनुसार, केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) के मौजूदा निदेशक ने एक बार कहा था कि 25,00,000 करोड़ रुपये से अधिक भारतीय धन विदेशों में जमा है, जबकि भारत सरकार ने कहा है कि स्विस बैंकों में 6,000 करोड़ रुपये की राशि जमा है।
केजरीवाल ने कहा, "ऐसा लगता है कि भारत सरकार दंड देने के बदले दोषियों की मदद करने में अधिक रुचि ले रही है।" उन्होंने कहा कि तत्कालीन वित्त मंत्री प्रणब मुखर्जी ने यहां तक कि सभी 700 स्विस खाता धारकों के लिए क्षमादान की एक योजना बनाई थी। उन्होंने देश में अपहरण, भ्रष्टाचार और आतंकवाद को प्रोत्साहित करने के लिए एचएसबीसी बैंक के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने की भी मांग की।
आरोप बेबुनियाद, द्वेषपूर्ण : अनु टंडन
उत्तर प्रदेश के उन्नाव से कांग्रेस सांसद अनु टंडन ने शुक्रवार को केजरीवाल के उन आरोपों को बेबुनियाद और द्वेषपूर्ण बताया, जिसमें उन्होंने कहा है कि स्विटजरलैंड के एक बैंक में टंडन ने 125 करोड़ रुपये जमा कर रखे हैं।
आरोप लगाए जाने के तत्काल बाद टंडन ने संवाददाताओं से कहा, "यह बिल्कुल बेबुनियाद और द्वेषपूर्ण आरोप है। मैं किसी भी तरह के भ्रष्टाचार को पूरी तरह खारिज करती हूं।"
टंडन ने कहा, "केजरीवाल द्वारा इस तरह की ओछी टिप्पणी किया जाना उचित नहीं है।" उन्होंने कहा कि वह इन आरोपों पर आगे की कार्रवाई के लिए अपने दोनों पुत्रों से चर्चा करेंगी। उन्होंने आईएसी के इस दावे को भी खारिज किया, जिसमें कहा गया है कि वह कांग्रेस महासचिव राहुल गांधी की करीबी हैं और कांग्रेस की कोर टीम की हिस्सा हैं।
रिलायंस ने खारिज किए आरोप :
रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड (आरआईएल) ने कम्पनी और इसके प्रमुख मुकेश अंबानी के खिलाफ लगाए गए सभी आरोपों को खारिज कर दिया।
कम्पनी के प्रवक्ता ने कहा, "आरआईएल की सहायक अंतरराष्ट्रीय कम्पनियां का व्यापारिक सम्बंध एचएसबीसी सहित विश्व के कई बैंकों के साथ हैं। कम्पनी का सामान्य व्यापार तो उसका एक हिस्सा मात्र है। जिन बैंकों में इसके खाते हैं, वहां के सभी नियम नमनीय हैं और।
कम्पनी अपनी सम्पत्ति का खुलासा समुचित न्याय-क्षेत्र और भारत में कर चुकी है।" उन्होंने कहा कि केजरीवाल और आईएसी द्वारा जिस तरह से लगातार बेबुनियाद आरोप लगाए जा रहे हैं, उससे लगता है कि निहित स्वार्थी तत्व आरआईएल के खिलाफ उन्हें उकसा रहे हैं।
अनिल धीरूभाई अंबानी समूह ने भी नकारा :
रिलायंस अनिल धीरूभाई अंबानी समूह ने आईएसी के इस आरोप को सिरे से नकार दिया कि कम्पनी के चेयरमैन अनिल अंबानी के जेनेवा स्थित एचएसबीसी बैंक में खाते हैं।
कम्पनी के एक प्रवक्ता ने यहां एक बयान में कहा, "अनिल डी. अंबानी का जेनेवा स्थित एचएसबीसी बैंक में कोई खाता नहीं है। यह अफसोस की बात है निहित स्वार्थ के तहत आईएसी द्वारा ऐसा बेबुनियाद आरोप लगाया जा रहा है।"
आरोप पूरी तरह झूठ : जेट एयरवेज
जेट एयरवेज ने आरोप को 'पूरी तरह झूठ' करार देते हुए उसका खंडन किया। कम्पनी ने एक बयान में कहा कि नरेश गोयल जनवरी 1991 से ही प्रवासी भारतीय हैं और इस कारण वह भारत से बाहर बैंक खाता रखने के हकदार हैं।
बयान में कहा गया है, "गोयल को आयकर विभाग का एक नियमित पूछताछ पत्र मिला था जो मेसर्स टेलविंड्स लिमिटेड के जेनेवा स्थित एचएसबीसी बैंक में खाते से सम्बंधित था।"
कहा गया है कि कम्पनी (मेसर्स टेलविंड्स लिमिटेड) के अस्तित्व को लेकर भारत सरकार के विभिन्न विभागों ने पूरी तरह खुलासा किया था और सूचना प्रौद्योगिकी विभाग ने जो सवाल किए थे, उनके संतोषप्रद जवाब दिए थे।
बयान में कहा गया है, "नरेश गोयल के नाम से स्विस बैंक में कोई खाता नहीं है, जैसा कि आरोप लगाया गया है। ऐसे में यह कहना कि उन्होंने स्विस खातों में अनगिनत धन छुपाए हैं, सरासर झूठ है।"
इस बीच, भाजपा ने केंद्र सरकार से कहा कि उनकी पार्टी सबसे पहले विदेश में छिपाए गए कालेधन को वापस लाने की मांग करती है और यह भी कि भारत में एचएसबीसी बैंक के संचालन की वह जांच कराए।
अरविंद केजरीवाल द्वारा कांग्रेस-नीत केंद्र सरकार पर विदेशों में कालाधन छिपाने वालों को बचाने का आरोप लगाए जाने के तुरंत बाद भाजपा प्रवक्ता निर्मला सीतारमन ने भी सरकार से सवाल किया कि उसने कालेधन पर नियंत्रण के लिए अब तक क्या किया।
सीतारमन ने कहा, "यदि सरकार यह नहीं बता सकती कि कालेधन के खिलाफ उसने क्या कदम उठाए तो हम मांग करते हैं कि इसी क्रम में वह एचएसबीसी मामले की जांच कराए।"
दिल्ली के समीप हरियाणा के सूरजकुंड में हुई कांग्रेस की बैठक का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा, "हम कांग्रेस को याद दिलाते हैं कि उसने घोषणापत्र में 100 दिन में कालाधन वापस लाने का वादा किया था जो उसने आज तक पूरा नहीं किया है।"
केजरीवाल ने कहा कि उनका यह आरोप जेनेवा स्थित एचएसबीसी बैंक के 10 खाता धारकों की सूची पर आधारित है, जिसे कांग्रेस के एक वरिष्ठ नेता ने उन्हें दी है, जिसकी बाद में इंडिया अगेंस्ट करप्शन (आईएसी) के एक दल ने जांच-परख की है।
केजरीवाल ने यहां एक संवाददाता सम्मेलन में कहा, "जुलाई 2011 में भारत सरकार को लगभग 700 ऐसे लोगों की एक सूची प्राप्त हुई थी, जिनके खाते जेनेवा स्थित एचएसबीसी बैंक में हैं। इस सूची में 2006 में इन लोगों के बैंक बैलेंस दर्ज हैं। ये नाम भी उस सूची का हिस्सा हैं।"
सूची में अंबानी बंधुओं के अलग-अलग 100 करोड़ रुपये हैं, उन्नाव से कांग्रेस सांसद टंडन के 125 करोड़ रुपये हैं और उनके दिवंगत पति संदीप टंडन के नाम भी अलग से 125 करोड़ रुपये हैं। इसके अलावा जेट एयरवेज के चेयरमैन नरेश कुमार गोयल के 80 करोड़ रुपये हैं।
केजरीवाल ने आरोप लगाया कि डाबर का स्वामित्व रखने वाले तीन भाइयों के स्विस बैंक में 25 करोड़ रुपये हैं, जबकि यशोवर्धन बिड़ला और कोकिला धीरूभाई अंबानी के खातों में कोई धन नहीं है।
केजरीवाल ने कहा, "हमारे सूत्रों ने हमें बताया है कि जब 700 स्विस खाता धारकों की सूची भारत को सौंपी गई थी, उस समय मुकेश अंबानी वित्त मंत्रालय गए थे। उन्होंने वित्त मंत्रालय से कहा था 'हम शांति के लिए कर भुगतान करने को तैयार हैं और छापे नहीं मारे जाने चाहिए'।"
केजरीवाल के अनुसार, केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) के मौजूदा निदेशक ने एक बार कहा था कि 25,00,000 करोड़ रुपये से अधिक भारतीय धन विदेशों में जमा है, जबकि भारत सरकार ने कहा है कि स्विस बैंकों में 6,000 करोड़ रुपये की राशि जमा है।
केजरीवाल ने कहा, "ऐसा लगता है कि भारत सरकार दंड देने के बदले दोषियों की मदद करने में अधिक रुचि ले रही है।" उन्होंने कहा कि तत्कालीन वित्त मंत्री प्रणब मुखर्जी ने यहां तक कि सभी 700 स्विस खाता धारकों के लिए क्षमादान की एक योजना बनाई थी। उन्होंने देश में अपहरण, भ्रष्टाचार और आतंकवाद को प्रोत्साहित करने के लिए एचएसबीसी बैंक के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने की भी मांग की।
आरोप बेबुनियाद, द्वेषपूर्ण : अनु टंडन
उत्तर प्रदेश के उन्नाव से कांग्रेस सांसद अनु टंडन ने शुक्रवार को केजरीवाल के उन आरोपों को बेबुनियाद और द्वेषपूर्ण बताया, जिसमें उन्होंने कहा है कि स्विटजरलैंड के एक बैंक में टंडन ने 125 करोड़ रुपये जमा कर रखे हैं।
आरोप लगाए जाने के तत्काल बाद टंडन ने संवाददाताओं से कहा, "यह बिल्कुल बेबुनियाद और द्वेषपूर्ण आरोप है। मैं किसी भी तरह के भ्रष्टाचार को पूरी तरह खारिज करती हूं।"
टंडन ने कहा, "केजरीवाल द्वारा इस तरह की ओछी टिप्पणी किया जाना उचित नहीं है।" उन्होंने कहा कि वह इन आरोपों पर आगे की कार्रवाई के लिए अपने दोनों पुत्रों से चर्चा करेंगी। उन्होंने आईएसी के इस दावे को भी खारिज किया, जिसमें कहा गया है कि वह कांग्रेस महासचिव राहुल गांधी की करीबी हैं और कांग्रेस की कोर टीम की हिस्सा हैं।
रिलायंस ने खारिज किए आरोप :
रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड (आरआईएल) ने कम्पनी और इसके प्रमुख मुकेश अंबानी के खिलाफ लगाए गए सभी आरोपों को खारिज कर दिया।
कम्पनी के प्रवक्ता ने कहा, "आरआईएल की सहायक अंतरराष्ट्रीय कम्पनियां का व्यापारिक सम्बंध एचएसबीसी सहित विश्व के कई बैंकों के साथ हैं। कम्पनी का सामान्य व्यापार तो उसका एक हिस्सा मात्र है। जिन बैंकों में इसके खाते हैं, वहां के सभी नियम नमनीय हैं और।
कम्पनी अपनी सम्पत्ति का खुलासा समुचित न्याय-क्षेत्र और भारत में कर चुकी है।" उन्होंने कहा कि केजरीवाल और आईएसी द्वारा जिस तरह से लगातार बेबुनियाद आरोप लगाए जा रहे हैं, उससे लगता है कि निहित स्वार्थी तत्व आरआईएल के खिलाफ उन्हें उकसा रहे हैं।
अनिल धीरूभाई अंबानी समूह ने भी नकारा :
रिलायंस अनिल धीरूभाई अंबानी समूह ने आईएसी के इस आरोप को सिरे से नकार दिया कि कम्पनी के चेयरमैन अनिल अंबानी के जेनेवा स्थित एचएसबीसी बैंक में खाते हैं।
कम्पनी के एक प्रवक्ता ने यहां एक बयान में कहा, "अनिल डी. अंबानी का जेनेवा स्थित एचएसबीसी बैंक में कोई खाता नहीं है। यह अफसोस की बात है निहित स्वार्थ के तहत आईएसी द्वारा ऐसा बेबुनियाद आरोप लगाया जा रहा है।"
आरोप पूरी तरह झूठ : जेट एयरवेज
जेट एयरवेज ने आरोप को 'पूरी तरह झूठ' करार देते हुए उसका खंडन किया। कम्पनी ने एक बयान में कहा कि नरेश गोयल जनवरी 1991 से ही प्रवासी भारतीय हैं और इस कारण वह भारत से बाहर बैंक खाता रखने के हकदार हैं।
बयान में कहा गया है, "गोयल को आयकर विभाग का एक नियमित पूछताछ पत्र मिला था जो मेसर्स टेलविंड्स लिमिटेड के जेनेवा स्थित एचएसबीसी बैंक में खाते से सम्बंधित था।"
कहा गया है कि कम्पनी (मेसर्स टेलविंड्स लिमिटेड) के अस्तित्व को लेकर भारत सरकार के विभिन्न विभागों ने पूरी तरह खुलासा किया था और सूचना प्रौद्योगिकी विभाग ने जो सवाल किए थे, उनके संतोषप्रद जवाब दिए थे।
बयान में कहा गया है, "नरेश गोयल के नाम से स्विस बैंक में कोई खाता नहीं है, जैसा कि आरोप लगाया गया है। ऐसे में यह कहना कि उन्होंने स्विस खातों में अनगिनत धन छुपाए हैं, सरासर झूठ है।"
इस बीच, भाजपा ने केंद्र सरकार से कहा कि उनकी पार्टी सबसे पहले विदेश में छिपाए गए कालेधन को वापस लाने की मांग करती है और यह भी कि भारत में एचएसबीसी बैंक के संचालन की वह जांच कराए।
अरविंद केजरीवाल द्वारा कांग्रेस-नीत केंद्र सरकार पर विदेशों में कालाधन छिपाने वालों को बचाने का आरोप लगाए जाने के तुरंत बाद भाजपा प्रवक्ता निर्मला सीतारमन ने भी सरकार से सवाल किया कि उसने कालेधन पर नियंत्रण के लिए अब तक क्या किया।
सीतारमन ने कहा, "यदि सरकार यह नहीं बता सकती कि कालेधन के खिलाफ उसने क्या कदम उठाए तो हम मांग करते हैं कि इसी क्रम में वह एचएसबीसी मामले की जांच कराए।"
दिल्ली के समीप हरियाणा के सूरजकुंड में हुई कांग्रेस की बैठक का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा, "हम कांग्रेस को याद दिलाते हैं कि उसने घोषणापत्र में 100 दिन में कालाधन वापस लाने का वादा किया था जो उसने आज तक पूरा नहीं किया है।"
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