उत्तराखंड पुलिस ने शनिवार को 19 वर्षीय अंकिता भंडारी की हत्या के मामले में तीन आरोपियों के खिलाफ आरोप पत्र कोटद्वार न्यायिक न्यायालय में दायर कर दिया है. उत्तराखंड पुलिस के अतिरिक्त महानिदेशक (एडीजी) वी मुरुगेसन ने विशेष जांच दल की जांच प्रभारी पी रेणुका देवी के साथ संयुक्त संवाददाता सम्मेलन में कहा, "हम इस मामले में 90 दिनों के भीतर 500 पन्नों की चार्जशीट दायर करने जा रहे हैं. इस मामले में लगभग 100 लोगों से पूछताछ की गई है."
उन्होंने आगे कहा कि चार्जशीट भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) और अनैतिक व्यापार रोकथाम अधिनियम (आईबीपीए) की संबंधित धाराओं के तहत दायर की गई है. तीनों आरोपियों के खिलाफ आईपीसी की धारा 302, 201, 120बी, 354ए और 5(1)वी के अनैतिक व्यापार रोकथाम अधिनियम के तहत चार्जशीट माननीय न्यायालय को भेजी जा रही है. नार्को टेस्ट और अन्य बिंदुओं पर चर्चा की जा रही है.
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भाजपा सरकार में दर्जाधारी मंत्री रहे विनोद आर्य के पुत्र पुलकित का नाम अंकिता हत्याकांड में सामने आने के तत्काल बाद उन्हें पार्टी ने बाहर का रास्ता दिखा दिया था. पौडी जिले के यमकेश्वर क्षेत्र में वनंत्रा रिजॉर्ट में बतौर रिसेप्शिनिस्ट काम करने वाली अंकिता की सितंबर में पुलकित ने अपने दो कर्मचारियों—सौरभ भास्कर और अंकित गुप्ता के साथ मिलकर कथित तौर पर ऋषिकेश के निकट चीला नहर में धक्का देकर हत्या कर दी थी. अंकिता का शव 24 सितंबर को ऋषिकेश में चिल्ला नहर से बरामद किया गया था. शव मिलने से कम से कम छह दिनों पहले उसके लापता होने की शिकायत दर्ज करवाई गई थी. तीनों आरोपी जेल में बंद हैं.
4 दिसंबर को उत्तराखंड पुलिस ने कहा था कि अंकिता भंडारी हत्याकांड की जांच लगभग पूरी हो चुकी है, केवल आरोपियों का नार्को टेस्ट बाकी है, जिसके लिए उन्होंने कोटद्वार कोर्ट से तीनों आरोपियों का नार्को और पॉलीग्राफ टेस्ट कराने की अनुमति मांगी थी.
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