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This Article is From Jun 08, 2020

पीएम और दूसरे VIP को लाने-ले जाने वाले नए B-777 विमानों में होगी अत्‍याधुनिक मिसाइल रक्षा प्रणाली

अधिकारियों ने सोमवार को कहा, “मुख्य तौर पर कोविड-19 के कारण डिलीवरी में कुछ देरी हुई है. दो प्‍लेन की आपूर्ति सितंबर तक की जा सकती है.” इन बी777 विमानों में अत्याधुनिक मिसाइल रक्षा प्रणाली होंगी.

पीएम और दूसरे VIP को लाने-ले जाने वाले नए B-777 विमानों में होगी अत्‍याधुनिक मिसाइल रक्षा प्रणाली
पीएम, राष्‍ट्रपति और उप राष्‍ट्रपति इस समय एयर इंडिया के बी-747 प्‍लेन में उड़ान भरते हैं
नई दिल्ली:

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और अन्य शीर्ष भारतीय गणमान्य लोगों को लाने और ले जाने के लिए इस्तेमाल होने वाले विशेष रूप से निर्मित दो बी-777 प्‍लेन सितंबर तक बोइंग द्वारा एयर इंडिया को उपलब्ध करा दिए जाएंगे. वरिष्ठ अधिकारियों ने सोमवार को यह जानकारी दी. पिछले साल अक्टूबर में सरकारी अधिकारियों ने कहा था कि इन दो प्‍लेन की आपूर्ति जुलाई तक की जाएगी जो केवल वीवीआईपी यात्रा के लिए इस्तेमाल होंगे. अधिकारियों ने सोमवार को कहा, “मुख्य तौर पर कोविड-19 के कारण डिलीवरी में कुछ देरी हुई है. दो प्‍लेन की आपूर्ति सितंबर तक की जा सकती है.” इन बी777 विमानों में अत्याधुनिक मिसाइल रक्षा प्रणाली होंगी जिन्हें लार्ज एयरक्राफ्ट इंफ्रारेड काउंटरमेजर्स (एलएआईआरसीएम) और सेल्फ प्रोटेक्शन सूट्स (एसपीएस) कहा जाता है.

इन दो बी777 प्‍लेन का परिचालन एयर इंडिया के नहीं बल्कि भारतीय वायु सेना के पायलट करेंगे. हालांकि, अधिकारियों ने कहा कि नये विशाल प्‍लेनों के रख-रखाव का जिम्मा एयर इंडिया की सहायक कंपनी एअर इंडिया इंजीनियरिंग लिमिटेड (एआईईएसएल) का होगा. गौरतलब है कि वर्तमान में प्रधानमंत्री, राष्ट्रपति और उपराष्ट्रपति एअर इंडिया के बी747 विमानों से यात्रा करते हैं, जिनपर ‘एयर इंडिया वन' का चिह्न होता है. एयर इंडिया के पायलट इन बी-747 विमानों को उड़ाते हैं और एआईईएसएल उनका रख-रखाव करता है. जब ये बी747 प्‍लेन इन गणमान्य लोगों को लेकर उड़ान नहीं भरते तब उनका इस्तेमाल भारतीय राष्ट्रीय परिवाहक व्यावसायिक परिचालनों के लिए करता है.

इन नए प्‍लेन का इस्तेमाल केवल गणमान्य लोगों की यात्रा में किया जाएगा. यह दोनों विमान 2018 में कुछ महीनों के लिए एयर इंडिया के व्यावसायिक बेड़े का हिस्सा थे, जिसके बाद उन्हें वीवीआईपी यात्राओं के लिए नये पुर्जे जोड़ने के लिए बोइंग को वापस भेज दिया गया था. बी777 विमानों में अत्याधुनिक मिसाइल रक्षा प्रणाली होंगी जिन्हें लार्ज एयरक्राफ्ट इंफ्रारेड काउंटरमेजर्स (एलएआईआरसीएम) और सेल्फ प्रोटेक्शन सूट्स (एसपीएस) कहा जाता है. फरवरी में, अमेरिका ने भारत को यह दो रक्षा प्रणालियां 19 करोड़ डॉलर की कीमत पर बेचने की सहमति दी थी. केंद्र सरकार ने एयर इंडिया में अपनी हिस्सेदारी की विनिवेश की प्रक्रिया पहले ही शुरू कर दी है जिसके ऊपर 60,000 करोड़ रुपये से अधिक का कर्ज है. हालांकि, कोविड-19 वैश्विक महामारी के चलते यह टल गया है.

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