साफ शहरों की लिस्ट में यूपी का 1 शहर और गंदे में 52, इसे बदलना होगा : योगी आदित्यनाथ

योगी आदित्यनाथ ने कहा कि विकास सुशासन पर ध्यान देने के लिए आवश्यक है कि हम जाति, मत और मजहब से ऊपर उठकर देश के विकास के बारे में सोचें.

साफ शहरों की लिस्ट में यूपी का 1 शहर और गंदे में 52, इसे बदलना होगा : योगी आदित्यनाथ

योगी आदित्यनाथ ने कहा- विकास के लिए जाति-मजहब से ऊपर उठकर बात करनी होगी

मेरठ:

स्वतंत्रता सेनानी के सम्मान समारोह में शिरकत करने गए योगी आदित्यनाथ ने आज यूपी की सफाई को लेकर सख्त टिप्पणी की. उन्होंने कहा कि साफ शहरों की लिस्ट में UP का 1 और गंदे शहरों की लिस्ट में यूपी के 52 शहर हैं. हमें इसे बदलना होगा. ANI के मुताबिक- उन्होंने आगे कहा कि विकास सुशासन पर ध्यान देने के लिए आवश्यक है कि हम जाति, मत और मजहब से ऊपर उठकर देश के विकास के बारे में सोचें. हमने बेटियों और बहनों के लिए एंटी रोमियो स्क्वॉड बनाया है. वह पूरे राज्य में सख्ती से काम कर रहा है. योगी आदित्यनाथ ने यह भी कहा कि जो कौम अपने इतिहास को संजो करके नहीं रख सकती, वो अपने भूगोल की रक्षा भी नहीं कर सकती.

दरअसल, आदित्यनाथ मंगलवार को मेरठ पहुंचे, जहां उन्‍होंने मलिन बस्ती जाकर साफ़-सफ़ाई का जायज़ा लिया. इसके साथ ही उन्‍होंने स्वतंत्रता सेनानियों को सम्मानित करने के अलावा कार्यकर्ताओं की एक सभा को भी संबोधित किया, जिसमें सफ़ाई और कानून-व्यवस्था को लेकर सभी कार्यकर्ताओं को सजग रहने की हिदायत दी. योगी आदित्यनाथ ने कहा कि "हमें उत्तर प्रदेश में सफ़ाई पर ध्यान देना होगा. सबसे पहले हमें प्लास्टिक के इस्तेमाल में कमी करनी होगी. अगर हमारे शहर साफ़ होंगे तो विश्व में हमारी ख्याति होगी". मेरठ को स्वच्छता सर्वे में 339वां स्थान मिला है.. शायद यही वजह है कि मेरठ में दिए गए अपने भाषण में मुख्यमंत्री योगी ने सफाई पर विशेष ज़ोर दिया.

इससे पहले योगी मेरठ की मलिन बस्ती शेर गढ़ी गए, जहां 41 वर्षीय देवेंद्र ने योगी को बताया कि सीवर ना होने से गंदगी की समस्या बनी रहती है. देवेंद्र ने NDTV को बताया कि "हमने योगी जी को बताया कि सीवर नहीं होने से बरसात में नालियां जाम हो जाती हैं, जिस वजह से गंदा पानी जमा हो जाता है.. हमें बहुत तक़लीफ़ होती है." मीडिया को उम्मीद थी कि मलिन बस्ती में योगी लखनऊ की तरह झाड़ू लगा सकते हैं, इसलिए सुबह से मीडियाकर्मी ओबी वैन और कैमरा लेकर तैनात रहे, लेकिन योगी मलिन बस्ती में लोगों से मिलकर निकल गए. हालांकि बस्ती के बाहर ही दलित समुदाय ने इस बात पर नाराजगी जताई और हंगामा भी किया कि अंबेडकर की प्रतिमा पर माल्यार्पण किए बिना मुख्‍यमंत्री कैसे निकल गए. 


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