बेंगलुरू:
कर्नाटक के मुख्यमंत्री डीवी सदानंद गौड़ा बुधवार को राज्य का बजट पेश करेंगे, लेकिन सत्ताधारी भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के अधिकांश विधायकों ने पूर्व मुख्यमंत्री बीएस येदियुरप्पा के प्रति समर्थन जताते हुए सत्र के पहले दिन मंगलवार से ही विधानसभा का बहिष्कार शुरू कर दिया।
दक्षिण राज्य में पहली बार बनी भाजपा सरकार का यह अंतिम बजट होगा। इस सरकार में पहले मुख्यमंत्री रहे येदियुरप्पा पर भ्रष्टाचार का आरोप लग चुका है।
राज्य में विधानसभा चुनाव अगले वर्ष अप्रैल-मई में होना है। येदियुरप्पा को फिर से मुख्यमंत्री बनाए जाने की मांग को लेकर दो गुटों में बंटी सत्तारूढ़ पार्टी अगर संकट का हल नहीं निकाल पाई तो चुनाव तय समय से पहले भी हो सकता है।
भ्रष्टाचार का आरोप लगने के बाद पार्टी के केंद्रीय नेतृत्व ने पिछले वर्ष 31 जुलाई को येदियुरप्पा को मुख्यमंत्री पद छोड़ने के लिए बाध्य किया था। विधानसभा का बहिष्कार येदियुरप्पा के नेतृत्व में किया जा रहा है।
उच्च न्यायालय ने अवैध खनन से जुड़े एक मामले में येदियुरप्पा को सात मार्च को आरोप मुक्त कर दिया था। इसके बाद से वह खुद को फिर से मुख्यमंत्री बनाए जाने की मांग कर रहे हैं। उनका दावा है कि 225 सदस्यीय राज्य विधानसभा में भाजपा के कुल 120 विधायक हैं जिसमें से 70 उनके समर्थन में हैं। उन्होंने अपने उत्तराधिकारी डीवी सदानंद गौड़ा को मुख्यमंत्री पद से हटाने के लिए पार्टी के केंद्रीय नेतृत्व को मंगलवार शाम तक का समय दिया है।
जल संसाधन मंत्री बासवराज बोम्मई ने बेंगलुरू के बाहर एक रिसॉर्ट में कहा कि येदियुरप्पा का समर्थन कर रहे कुछ ही विधायक व मंत्री 10 दिवसीय बजट सत्र में हिस्सा लेंगे। उन्होंने कहा कि भाजपा के केंद्रीय नेता येदियुरप्पा की मांग पर उनके सम्पर्क में हैं।
येदियुरप्पा और उनके समर्थक विधायक नेतृत्व पर दबाव बनाने के लिए रविवार रात से यहां एक रिसॉर्ट में ठहरे हुए हैं।
पार्टी में येदियुरप्पा धड़े के एक सूत्र ने बताया कि पूर्व मुख्यमंत्री ने सत्र की बैठक में शामिल होने के लिए कई शर्ते रखी हैं। इसमें नए नेता के चुनाव के लिए विधायक दल की बैठक की तारीख की घोषणा करने और बैठक की तारीख से एक दिन पहले गौड़ा के इस्तीफा देने की मांग शामिल है।
वैसे, मंगलवार को भाजपा के वरिष्ठ नेता और उच्च शिक्षा मंत्री वीएस अचार्या को श्रद्धांजलि देने के बाद सदन की कार्यवाही दिनभर के लिए स्थगित कर दी गई।
दक्षिण राज्य में पहली बार बनी भाजपा सरकार का यह अंतिम बजट होगा। इस सरकार में पहले मुख्यमंत्री रहे येदियुरप्पा पर भ्रष्टाचार का आरोप लग चुका है।
राज्य में विधानसभा चुनाव अगले वर्ष अप्रैल-मई में होना है। येदियुरप्पा को फिर से मुख्यमंत्री बनाए जाने की मांग को लेकर दो गुटों में बंटी सत्तारूढ़ पार्टी अगर संकट का हल नहीं निकाल पाई तो चुनाव तय समय से पहले भी हो सकता है।
भ्रष्टाचार का आरोप लगने के बाद पार्टी के केंद्रीय नेतृत्व ने पिछले वर्ष 31 जुलाई को येदियुरप्पा को मुख्यमंत्री पद छोड़ने के लिए बाध्य किया था। विधानसभा का बहिष्कार येदियुरप्पा के नेतृत्व में किया जा रहा है।
उच्च न्यायालय ने अवैध खनन से जुड़े एक मामले में येदियुरप्पा को सात मार्च को आरोप मुक्त कर दिया था। इसके बाद से वह खुद को फिर से मुख्यमंत्री बनाए जाने की मांग कर रहे हैं। उनका दावा है कि 225 सदस्यीय राज्य विधानसभा में भाजपा के कुल 120 विधायक हैं जिसमें से 70 उनके समर्थन में हैं। उन्होंने अपने उत्तराधिकारी डीवी सदानंद गौड़ा को मुख्यमंत्री पद से हटाने के लिए पार्टी के केंद्रीय नेतृत्व को मंगलवार शाम तक का समय दिया है।
जल संसाधन मंत्री बासवराज बोम्मई ने बेंगलुरू के बाहर एक रिसॉर्ट में कहा कि येदियुरप्पा का समर्थन कर रहे कुछ ही विधायक व मंत्री 10 दिवसीय बजट सत्र में हिस्सा लेंगे। उन्होंने कहा कि भाजपा के केंद्रीय नेता येदियुरप्पा की मांग पर उनके सम्पर्क में हैं।
येदियुरप्पा और उनके समर्थक विधायक नेतृत्व पर दबाव बनाने के लिए रविवार रात से यहां एक रिसॉर्ट में ठहरे हुए हैं।
पार्टी में येदियुरप्पा धड़े के एक सूत्र ने बताया कि पूर्व मुख्यमंत्री ने सत्र की बैठक में शामिल होने के लिए कई शर्ते रखी हैं। इसमें नए नेता के चुनाव के लिए विधायक दल की बैठक की तारीख की घोषणा करने और बैठक की तारीख से एक दिन पहले गौड़ा के इस्तीफा देने की मांग शामिल है।
वैसे, मंगलवार को भाजपा के वरिष्ठ नेता और उच्च शिक्षा मंत्री वीएस अचार्या को श्रद्धांजलि देने के बाद सदन की कार्यवाही दिनभर के लिए स्थगित कर दी गई।