प्रतीकात्मक तस्वीर
नई दिल्ली:
सेंटर फॉर साइंस एंड इन्वायरेंमेंट (सीएसई) की रिपोर्ट जारी होने के चार दिन बाद ब्रेड उत्पादकों ने ऐलान कर दिया कि वह सेहत के लिए खतरनाक माने जाने वाले पोटैशियम ब्रोमेट का इस्तेमाल बंद कर रहे हैं।
ऑल इंडिया ब्रेड मैन्यूफैक्चरर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष रमेश मागो की ओर से जारी बयान में पोटैशियम ब्रोमेट और आयोडेट को स्वेच्छा से बंद करने की बात कही गई है। सीएसई ने ब्रेड निर्माताओं के इस फैसले का स्वागत किया है आैर कहा है कि इससे उपभोक्ताओं की सेहत को होने वाले खतरे कम होंगे। इसके पहले खाद्य पदार्थों की गुणवत्ता पर नियंत्रण रखने वाली संस्था एफएसएसएआई ने पोटैशियम ब्रोमेट पर रोक लगाने की बात कही थी।
ब्रेड में पोटैशियम ब्रोमेट और आयोडेट के अंश पाये जाने की खबर सीएसई के लैब टेस्ट से सामने आई थी। पिछले सोमवार को सीएसई की ओर से जारी रिपोर्ट में ये बात कही गई जिसके बाद एफएसएसएआई ने भी पोटैशियम ब्रोमेट पर रोक लगाने का ऐलान किया था। हालांकि ब्रेड उत्पादकों और नियामक बॉडी दोनों ने कहा है मौजूदा ब्रेड भी सेफ है और उसे लेकर हौवा खड़ा करने की ज़रूरत नहीं है।
दुनिया के कई देशों में पोटैशियम ब्रोमेट और आयोडेट पर प्रतिबंध है क्यों कि शरीर में इनकी लगातार पहुंचती मात्रा कैंसर जैसी बीमारियां पैदा कर सकती है। एफएसएसएआई के वैज्ञानिक पैनल ने भी इन्हें खतरनाक रसायन माना था और अंतरराष्ट्रीय संस्था कोडेक्स ने 2011 में इसे प्रतिबंधित करने की बात कही।
एनडीटीवी इंडिया से बात करते हुए रमेश मागो ने कहा कि ब्रेड निर्माता तुरंत इन कैमिकल्स का इस्तेमाल बंद कर रहे हैं। यूरोप के अलावा कनाडा, ऑस्ट्रेलिया, न्यूजीलैंड, चीन और श्रीलंका जैसे देशों में इस पर पहले ही रोक है। हालांकि अमेरिका ने अब तक इस पर रोक नहीं लगाई है।
ऑल इंडिया ब्रेड मैन्यूफैक्चरर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष रमेश मागो की ओर से जारी बयान में पोटैशियम ब्रोमेट और आयोडेट को स्वेच्छा से बंद करने की बात कही गई है। सीएसई ने ब्रेड निर्माताओं के इस फैसले का स्वागत किया है आैर कहा है कि इससे उपभोक्ताओं की सेहत को होने वाले खतरे कम होंगे। इसके पहले खाद्य पदार्थों की गुणवत्ता पर नियंत्रण रखने वाली संस्था एफएसएसएआई ने पोटैशियम ब्रोमेट पर रोक लगाने की बात कही थी।
ब्रेड में पोटैशियम ब्रोमेट और आयोडेट के अंश पाये जाने की खबर सीएसई के लैब टेस्ट से सामने आई थी। पिछले सोमवार को सीएसई की ओर से जारी रिपोर्ट में ये बात कही गई जिसके बाद एफएसएसएआई ने भी पोटैशियम ब्रोमेट पर रोक लगाने का ऐलान किया था। हालांकि ब्रेड उत्पादकों और नियामक बॉडी दोनों ने कहा है मौजूदा ब्रेड भी सेफ है और उसे लेकर हौवा खड़ा करने की ज़रूरत नहीं है।
दुनिया के कई देशों में पोटैशियम ब्रोमेट और आयोडेट पर प्रतिबंध है क्यों कि शरीर में इनकी लगातार पहुंचती मात्रा कैंसर जैसी बीमारियां पैदा कर सकती है। एफएसएसएआई के वैज्ञानिक पैनल ने भी इन्हें खतरनाक रसायन माना था और अंतरराष्ट्रीय संस्था कोडेक्स ने 2011 में इसे प्रतिबंधित करने की बात कही।
एनडीटीवी इंडिया से बात करते हुए रमेश मागो ने कहा कि ब्रेड निर्माता तुरंत इन कैमिकल्स का इस्तेमाल बंद कर रहे हैं। यूरोप के अलावा कनाडा, ऑस्ट्रेलिया, न्यूजीलैंड, चीन और श्रीलंका जैसे देशों में इस पर पहले ही रोक है। हालांकि अमेरिका ने अब तक इस पर रोक नहीं लगाई है।
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