आम आदमी पार्टी (आप) कार्यकारी सदस्य कुमार विश्वास ने केरल की नर्सों पर अपनी कथित अपमानजनक टिप्पणी पर आज माफी मांगते हुए कहा कि कभी किसी की भावनाओं को ठेस पहुंचाने की उनकी मंशा नहीं रही है।
विश्वास ने ‘आप’ की केरल इकाई को भेजे अपने एक बयान में कहा कि उन्होंने कभी ‘जान-बूझ कर किसी की भावना को ठेस’ पहुंचाना नहीं चाहा है।
उन्होंने कहा, यह मेरी जानकारी में आया है कि मेरे एक कवि सम्मेलन की पुरानी वीडियो क्लिप ने केरल में रहने वाले मेरे ढेर सारे मित्रों की भावनाओं को ठेस पहुंचाया है। मुझे अवश्य कहना चाहिए कि मैं धर्म, क्षेत्र, लिंग या जाति पर आधारित कोई भेदभाव पसंद नहीं करता। मैंने कभी जान-बूझ कर किसी की भावना को ठेस पहुंचाने की कोशिश नहीं की है। विश्वास ने कहा कि किसी कवि सम्मेलन में चुटकुले किसी की भावना को ठेस पहुंचाने की मंशा के बगैर मजाकिया तरीके से और हल्के-फुल्के अंदाज में लिखे और पेश किए जाते हैं।
उन्होंने कहा, अगर मेरे कुछ शब्दों ने मेरे दोस्तों की भावनाओं को ठेस पहुंचाई तो मैं तहेदिल से माफी मांगता हूं।
कल, केरल मुख्यमंत्री ओमन चांडी ने उनकी टिप्पणियों पर आप नेता से माफी तलब की थी। आप नेता एवं दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल को लिखे अपने पत्र में चांडी ने कहा कि वह विश्वास से कहें कि वह अपनी टिप्पणी वापस लें और माफी मांगें।
केरल मुख्यमंत्री ने कहा था, यह सर्वाधिक दुर्भाग्यपूर्ण है कि आम आदमी पार्टी मलयाली नर्सों पर अपमानजनक टिप्पणियों के संबंध में चुप्पी साधे है। मलयाली नर्सों पर विश्वास ने यह टिप्पणी 2008 में रांची में एक भाषण में की थी जिसे हाल में सोशल नेटवर्किंग साइट पर अपलोड किया गया है। इसने पूरे केरल में तीर्व विरोध को जन्म दिया। युवक कांग्रेस के कार्यकर्ताओं ने 20 जनवरी को 'आप' के दफ्तर में तोड़-फोड़ की थी।
'आप' की केरल इकाई के प्रवक्ता केपी रतीश ने भी इन टिप्पणियों पर राज्य की जनता से माफी मांगी थी। उन्होंने कहा था, 'आप' को मलयाली नर्सों के प्रति सर्वाधिक सम्मान है।
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