बीते दिनों कासगंज में गिरफ्तार की गई फर्जी शिक्षिका अनामिका शुक्ला उर्फ सुप्रिया सिंह मामले में कोतवाली सोरों पुलिस ने एक और बड़ा खुलासा किया है. आपको बता दें कि सोरो कोतवाली पुलिस ने एसपी कासगंज सुशील घुले के निर्देश पर उत्तरप्रदेश में फर्जी शिक्षकों की फर्जी दस्तावेज के आधार पर नियुक्ति कराने वाले मास्टरमाइंड जसवंत को पुलिस ने गिरफ्तार किया है. पुलिस गिरफ्त में आया मास्टरमाइंड जसवंतसिंह अपने भाई पुष्पेंद्र के साथ UP के कई जनपदों में लोगो की फर्जी शिक्षकों के पद पर भर्ती कराने का काम किया करता था. वही पुलिस पूछताछ में एक चौकाने वाला मामला भी सामने आया है जिस मास्टर माइंड जसवंत को पुलिस ने गिरफ्तार किया है वो भी जनपद कन्नौज में हरदोई के रहने वाले वैभव कुमार नाम के व्यक्ति के फर्जी दस्तावेजों के आधार पर पूर्व माध्यमिक विद्यालय में इंचार्ज प्रधानाध्यापक के पद पर नौकरी कर 55 हजार रुपये वेतन पा रहा है. वहीं, पुलिस अब फरार अभियुक्त जसवंत के भाई पुष्पेंद्र सिंह को तलाश करने में लगी हुई है.
मामले पर जानकारी देते हुए एसपी कासगंज सुशील घुले ने बताया कि ये लोग UP में 20 से जादा फर्जी शिक्षकों की नोकरी लगवा चुके है और ये लोग एक व्यक्ति की नोकरी लगवाने के एवज में उनसे एक से डेढ़ लाख रुपये तक लेते थे. एसपी ने बताया कि इस मामले की जांच गंभीरता से की जा रही है और इस खुलासे में कई अहम जानकारियां निकल कर सामने आएंगी.
बड़ा सवाल ये है कि जब उत्तरप्रदेश में इतने बड़े पैमाने पर फर्जी शिक्षकों को नौकरी लगवाने का काम किया जा रहा था तो शिक्षा विभाग के अधिकारी क्या कर रहे थे? कही इस फर्जी शिक्षकों के फर्जीवाड़े में शिक्षा विभाग के अधिकारियों की मिली भगत तो नही चल रही थी. इसकी भी पुलिस के द्वारा गहनता से जांच की जा रही है.
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