'भाजपा वायरस के पास केवल एक टीका है...' : पढ़ें 10 बड़ी बातें

इससे पहले तीन बार राज्य पुलिस ने टीएमसी की रैली को कोविड का हवाला देकर अनुमति देने से इंकार कर दिया था.

त्रिपुरा: अगरतला : ममता सरकार में मंत्रीपद छोड़कर भाजपा का दामन थामने वाले राजीब बनर्जी फिर से टीएमसी में शामिल हो गए हैं. इनके अलावा त्रिपुरा के भाजपा विधायक आशीष दास ने भी पार्टी का दामन थामा. दोनों नेता आज रविवार को त्रिपुरा में आयोजित अभिषेक बनर्जी की एक रैली में तृणमूल कांग्रेस में शामिल हो गए. राज्य सरकार के तीन बार इनकार करने के बाद अदालत ने इस रैली की अनुमति दी थी.

मामले से जुड़ी अहम जानकारियां :

  1. सूत्रों की मानें तो अगरतला में राजीव बनर्जी की वापसी भाजपा को संकेत देने के लिए जानबूझकर उठाया गया एक कदम है कि टीएमसी हर जगह मजबूत हो रही है. फिर चाहे गोवा हो या त्रिपुरा. बता दें कि बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी अभी गोवा से लौटी हैं, जहां अगले साल चुनाव होने हैं, वहीं त्रिपुरा में 2023 में चुनाव होना है.

  2. मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के भतीजे और पार्टी के महासचिव अभिषेक बनर्जी ने कहा कि हम त्रिपुरा में  लेफ्ट और राइट दोनों को खत्म कर देंगे. जो बंगाल में हुआ वही यहां भी होगा.

  3. उन्होंने कहा कि भाजपा वायरस के पास केवल एक टीका है. इसका नाम ममता बनर्जी है. त्रिपुरा के लोगों को दोहरी खुराक देनी होगी. पहले निकाय चुनावों में और दूसरी बार 2023 के विधानसभा चुनावों में. पार्टी अगले महीने त्रिपुरा में निकाय चुनाव की सभी सीटों पर चुनाव लड़ेगी.

  4. दोपहर के बाद अगरतला में रैली स्थल पर अज्ञात लोगों ने जमकर तोड़फोड़ कर दी. साथ ही पार्टी के झंडे और पोस्टर भी फाड़ दिए गए.

  5. तृणमूल कांग्रेस सितंबर से ही इस रैली को करने की योजना बना रही थी. हालांकि जब राज्य पुलिस ने शनिवार को चौथी बार कोविड का हवाला देकर इस पर फिर से रोक लगा दी तो पार्टी ने कोर्ट का सहारा लिया.

  6. शनिवार बीती देर शाम त्रिपुरा हाई कोर्ट ने रैली की इजाजत दे दी. हालांकि, न्यायमूर्ति सुभाशीष तालापात्रा ने कहा कि कार्यक्रम स्थल पर एक समय में 500 से अधिक लोगों को अनुमति नहीं दी जा सकती है.

  7. तृणमूल ने बिप्लब देब के नेतृत्व वाली सरकार पर चुनाव प्रचार के दौरान बाधा पैदा करने की कोशिश करने का भी आरोप लगाया है. तृणमूल के वरिष्ठ नेता पार्थ चटर्जी ने कहा कि भाजपा अभिषेक से डरी हुई है.

  8. 2011 और 2016 में ममता बनर्जी की सरकार में मंत्री रहे राजीव बनर्जी ने जनवरी में पद छोड़ से इस्तीफा दे दिया था और भाजपा में शामिल हो गए थे. हालांकि रविवार को उन्होंने फिर से घरवापसी की है.

  9. बंगाल चुनाव में जीत के बाद ममता बनर्जी ने पार्टी छोड़कर गए नेताओं को वापस शामिल होने का न्योता दिया गया था. हालांकि उन्होंने कहा था कि वह संबंधित नेताओं की वापसी पर पहले विचार करेंगी. 

  10. दोमजुर से भाजपा के टिकट पर बंगाल में विधानसभा चुनाव लडने वाले पूर्व मंत्री बनर्जी को निराशा हाथ लगी थी. जिसके बाद जून में ही उन्होंने टीएमसी में वापसी की बातचीत शुरू कर दी थी. जिसमें उन्होंने भाजपा के "सिद्धांतों" पर सवाल खड़े किए थे.