करीब दो दशक पुराने सूर्यानेल्ली सेक्स कांड में एक नया मोड़ तब आया जब इस मामले में दोषसिद्ध किए गए धर्मराजन ने आज अपना यह आरोप वापस ले लिया कि कांग्रेस नेता एवं राज्यसभा के उप सभापति पीजे कुरियन इस मामले में संलिप्त हैं।
धर्मराजन ने अपने वकील के मार्फत इडुक्की जिले के थोडुपुझा की सत्र अदालत में दाखिल एक हलफनामे में कहा कि वह जमानत की शर्तें तोड़ कर मैसूर के निकट एक स्थान पर छिपा हुआ था। तब एक मलयालम टीवी चैनल के संवाददाता ने उसपर सवालों की झड़ी लगा दी थी। ऐसे में उसने यह आरोप लगाया था।
कई साल तक फरार रहने के बाद फरवरी में आत्मसमर्पण करने वाले धर्मराजन ने कहा कि वह कुरियन को नहीं जानता है और उसकी तस्वीरें सिर्फ मीडिया में देखी है।
उसने अपना यह दावा वापस लिया कि वह अपनी कार से कुरियन को उस गेस्ट हाउस में ले गया था जहां पीड़िता थी।
धर्मराजन ने कहा कि वास्तव में उसके पास अपनी कोई कार नहीं है।
यह हलफनामा पीड़िता की ओर से दायर निजी याचिका में दाखिल किया गया जिसमें धर्मराजन के खुलासे के आलोक में कुरियन के खिलाफ कानूनी कार्रवाई करने की मांग की गई है।
पेशे से वकील धर्मराजन ने फरवरी में एक टेलीविजन साक्षात्कार में यह कर कर सनसनी फैला दी कि कुरियन उस गेस्ट हाउस में उपस्थित थे जहां पीड़िता का यौन शोषण किया गया था और उस पर जांचकर्ताओं का दबाव था कि वह कांग्रेस नेता का नाम लेने से परहेज करे।
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