अरुणाचल प्रदेश के राज्यपाल ज्योति प्रसाद राजखोवा (फाइल फोटो)
नई दिल्ली:
अरुणाचल प्रदेश में राष्ट्रपति शासन लगाए जाने के मामले में सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार को निर्देश जारी किया है कि वह राष्ट्रपति शासन लगाए जाने के बाद जब्त सभी सरकारी दस्तावेजों की कॉपी निवर्तमान मुख्यमंत्री नेबाम तुकी, मंत्रियों और संसदीय सचिवों को दे। साथ ही सारे निजी कागजात भी वापस करने को कहा गया है। अब इस मामले में सुनवाई अगले सप्ताह की जाएगी।
इससे पहले सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने अपने उस आदेश को वापस ले लिया, जिसमें कोर्ट ने अरुणाचल प्रदेश के राज्यपाल को नोटिस जारी कर जवाब मांगा था। सुप्रीम कोर्ट ने अपना यह नोटिस केंद्र सरकार की उस दलील को सुनने के बाद वापस लिया जिसमें केंद्र सरकार ने सुप्रीम कोर्ट को बताया कि संविधान के अनुच्छेद 361 के मुताबिक राष्ट्रपति और राज्यपाल को नोटिस नहीं जारी किया जा सकता है। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि राज्यपाल चाहें तो स्वेच्छा से जवाब दाखिल कर सकते हैं।
वहीं, सुप्रीम कोर्ट में 5 जजों की संविधान पीठ ने अरुणाचल प्रदेश में केंद्र सरकार द्वारा राष्ट्रपति शासन लगाए जाने के निर्णय को लेकर राज्य के निवर्तमान मुख्यमंत्री नेबाम तुकी द्वारा दायर याचिका पर केंद्र सरकार को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है।
इस मामले में केंद्र सरकार ने शुक्रवार को अरुणाचल प्रदेश प्रदेश में राष्ट्रपति शासन लगाए जाने के संबंध में अपनी रिपोर्ट सुप्रीम कोर्ट को सौंप दी। केंद्र ने कहा है कि राज्य में राजनीतिक अस्थिरता है और ऐसे में पड़ोसी देश चीन से भी खतरा है। राज्यपाल की ओर से भी अपना पक्ष कोर्ट को दिया जा चुका है। इस संबंध में पूर्व में कांग्रेस ने भी अरुणाचल प्रदेश में राष्ट्रपति शासन लगाए जाने के निर्णय को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दे रखी है। याचिका पर सुप्रीम कोर्ट की संविधान पीठ सुनवाई कर रही है और केंद्र को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है।
इससे पहले सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने अपने उस आदेश को वापस ले लिया, जिसमें कोर्ट ने अरुणाचल प्रदेश के राज्यपाल को नोटिस जारी कर जवाब मांगा था। सुप्रीम कोर्ट ने अपना यह नोटिस केंद्र सरकार की उस दलील को सुनने के बाद वापस लिया जिसमें केंद्र सरकार ने सुप्रीम कोर्ट को बताया कि संविधान के अनुच्छेद 361 के मुताबिक राष्ट्रपति और राज्यपाल को नोटिस नहीं जारी किया जा सकता है। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि राज्यपाल चाहें तो स्वेच्छा से जवाब दाखिल कर सकते हैं।
वहीं, सुप्रीम कोर्ट में 5 जजों की संविधान पीठ ने अरुणाचल प्रदेश में केंद्र सरकार द्वारा राष्ट्रपति शासन लगाए जाने के निर्णय को लेकर राज्य के निवर्तमान मुख्यमंत्री नेबाम तुकी द्वारा दायर याचिका पर केंद्र सरकार को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है।
इस मामले में केंद्र सरकार ने शुक्रवार को अरुणाचल प्रदेश प्रदेश में राष्ट्रपति शासन लगाए जाने के संबंध में अपनी रिपोर्ट सुप्रीम कोर्ट को सौंप दी। केंद्र ने कहा है कि राज्य में राजनीतिक अस्थिरता है और ऐसे में पड़ोसी देश चीन से भी खतरा है। राज्यपाल की ओर से भी अपना पक्ष कोर्ट को दिया जा चुका है। इस संबंध में पूर्व में कांग्रेस ने भी अरुणाचल प्रदेश में राष्ट्रपति शासन लगाए जाने के निर्णय को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दे रखी है। याचिका पर सुप्रीम कोर्ट की संविधान पीठ सुनवाई कर रही है और केंद्र को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है।
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