स्कूलों में योग अनिवार्य करने की मांग वाली याचिका सुप्रीम कोर्ट ने की खारिज

इससे पहले केंद्र सरकार ने कोर्ट में कहा कि योग को स्कूलों में अनिवार्य नहीं बनाया जा सकता, क्योंकि ये मूल अधिकार का हिस्सा नहीं है.

स्कूलों में योग अनिवार्य करने की मांग वाली याचिका सुप्रीम कोर्ट ने की खारिज

योग को अनिवार्य करने से जुड़ी याचिका सुप्रीम कोर्ट ने की खारिज

खास बातें

  • ये तय करना हमारा काम नहीं है : सुप्रीम कोर्ट
  • योग मूल अधिकार का हिस्सा नहीं है
  • हम स्कूलों का पाठ्यक्रम तय नहीं कर सकते
नई दिल्ली:

स्कूलों में योग को अनिवार्य करने की मांग को सुप्रीम कोर्ट ने खारिज कर दिया है. कोर्ट ने कहा कि हम यह तय नहीं कर सकते कि स्कूलों में क्या पढ़ाया जाए. स्कूलों में क्या पढ़ाया जाए, ये तय करना हमारा काम नहीं है. ये मूल अधिकार नहीं है. इससे पहले केंद्र सरकार ने कोर्ट में कहा कि योग को स्कूलों में अनिवार्य नहीं बनाया जा सकता, क्योंकि ये मूल अधिकार का हिस्सा नहीं है. इसे RTE एक्ट के तहत जरूरी नहीं किया जा सकता. इसी दौरान सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि कोर्ट ये तय नहीं कर सकता कि स्कूलों का पाठयक्रम क्या होना चाहिए. कोर्ट का इससे कोई लेना-देना नहीं है.

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दरअसल जेसी सेठ ने 2011 में सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर कर यह मांग की थी कि योग को देश के सभी स्कूलों के पाठयक्रम में शामिल किया जाए. इस मामले में कोर्ट ने केंद्र और सभी राज्यों को नोटिस जारी कर जवाब मांगा था. 


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