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This Article is From Dec 15, 2019

जेएनयू के VC ने छात्रों पर लगाया उन पर हमला करने का आरोप

जेएनयू में छात्रावास शुल्क बढ़ाने के विरोध में पिछले डेढ़ महीने से विरोध प्रदर्शन जारी हैं और छात्रों ने परीक्षाओं का बहिष्कार किया है. 

जेएनयू के VC ने छात्रों पर लगाया उन पर हमला करने का आरोप
छात्रों ने कुलपति की बातों को झूठा बताया है.
नई दिल्ली:

जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (JNU) के कुलपति एम जगदीश कुमार ने शनिवार को दावा किया कि 15 से 20 छात्रों ने विवि परिसर में उन्हें घेर लिया और अपशब्द कहे तथा हमला करने का प्रयास किया, लेकिन विश्वविद्यालय के सुरक्षा कर्मचारियों ने उन्हें बचा लिया. हालांकि, जेएनयू छात्र संघ ने कहा कि जब छात्रों ने कुलपति से छात्रावास शुल्क बढ़ोतरी के बारे में सवाल किए तो वह भाग खड़े हुए. साथ ही उन्होंने कुलपति पर झूठी बात फैलाने का आरोप लगाया. जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय में छात्रावास शुल्क बढ़ाने के विरोध में पिछले डेढ़ महीने से विरोध प्रदर्शन जारी हैं और छात्रों ने परीक्षाओं का बहिष्कार किया है. 

कुमार ने बताया कि जब छात्रों ने उन्हें घेरा तब वह यह देखने गए थे कि विश्वविद्यालय में परीक्षा का संचालन कैसे हो रहा है. उन्होंने बताया कि लगभग शाम साढ़े चार बजे वह और अन्य पदाधिकारी प्रशासनिक खंड से बाहर आये और महज 100 मीटर दूर जैव प्रौद्योगिकी स्कूल में गए . उन्होंने बताया कि इसके बाद वे जारी परीक्षा का अवलोकन करने स्कूल ऑफ आर्ट्स एंड एस्थेटिक्स में गए. 

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कुमार ने पीटीआई-भाषा को बताया, ‘‘जब हम वापस लौट रहे थे, तब 15 से 20 छात्रों ने हिंसक तरीके से मुझे घेर लिया और उनकी मंशा मुझ पर शारीरिक तौर पर हमला करने की थी. वे मुझ पर हमला करने की योजना बना रहे थे और अपशब्द बोल रहे थे.'' उन्होंने बताया कि विश्वविद्यालय के सुरक्षाकर्मियों ने तथा सादे कपड़ों में तैनात पुलिसकर्मियों ने मुझे बचा लिया और छात्रों को सुरक्षा वाहन में बिठा कर उन्हें दूर ले जाने का प्रयास किया, लेकिन भीड़ ने ऐसा नहीं करने दिया. 

कुमार ने बताया, ‘‘मैं वाहन से उतर गया और भीड़ से 20-30 मीटर आगे बढ़ गया.'' उन्होंने बताया, ‘‘और इसके बाद मैं अपनी कार में सवार हुआ . उन्होंने कार को क्षतिग्रस्त कर दिया और कार को आगे नहीं जाने दिया. चालक ने बुद्धिमता दिखायी और पिछले गियर में लिया तथा मुझे बचा लिया.'' कुलपति ने बताया कि उनके जाने के बाद छात्रों ने प्रशासनिक खंड में प्रवेश किया और वहां तोड़-फोड़ की जो दिल्ली उच्च न्यायालय के आदेश का उल्लंघन है. आदेश में कहा गया है कि प्रशासनिक खंड के 100 मीटर के दायरे में प्रदर्शन करना निषेध है. इन आरोपों पर जेएनयू छात्र संघ ने कहा कि कुलपति “जिन्होंने छात्रों के साथ कोई बातचीत नहीं की”, आज शाम ‘स्कूल ऑफ आर्ट एंड एस्थेटिक्स' में आए और वहां छात्रों ने उनसे शुल्क बढ़ोतरी के बारे में सवाल पूछे. 

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छात्र संघ ने एक बयान में कहा, “सवालों के जवाब देने के बजाय वह मौके से भाग गए. यह शर्मनाक है कि वहां से जाने के दौरान उनकी कार ने एक छात्र को कुचलने की कोशिश की, जबकि अन्य छात्रों को घायल कर दिया, लेकिन वापस जाने के बाद वह पूरी तरह से झूठ बोल रहे हैं.” इससे पहले इस हफ्ते, अदालत ने पुलिस से कहा था कि जब कुलपति और अन्य पदाधिकारी प्रशासनिक खंड में प्रवेश करें तो वह उनकी सुरक्षा सुनिश्चित करें, जहां एक महीने से अधिक समय से छात्रों का कब्जा है.
 

(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)

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