
नागपुर:
प्रधानमंत्री पद के लिए अपनी आकांक्षा साफ करते हुए बसपा प्रमुख मायावती ने अपने पार्टी कार्यकर्ताओं से यह सुनिश्चित करने को कहा कि अगले आम चुनाव में बसपा को बड़ी जीत मिले। इसके साथ ही उन्होंने कार्यकर्ताओं को आगाह किया कि वे ‘बिकाऊ उत्पाद’ नहीं बनें।
मायावती ने पार्टी कार्यकर्ताओं की एक रैली को संबोधित करते हुए कहा कि वे सुनिश्चित करें कि अगले आम चुनाव में बसपा को बड़ी जीत मिले ताकि वह खुद प्रधानमंत्री के रूप में लाल किला से स्वतंत्रता दिवस भाषण दे सकें। उन्होंने पार्टी कैडरों को आगाह किया कि वे ऐसी ताकतों से सजग रहें जो विधानसभा और लोकसभा चुनावों में उन्हें ‘भ्रष्ट करने का प्रयास कर सकती हैं।’ उन्होंने आगाह किया, ‘वे बिकाऊ उत्पाद नहीं बनें।’
मायावती ने कांग्रेस और भाजपा पर आरोप लगाया कि वे सरकारी नौकरियों में अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति के कर्मचारियों को पदोन्नति में आरक्षण संबंधी विधेयक के रास्ते में बाधाएं खड़ी करने के लिए षडयंत्र कर रही हैं। उन्होंने वायदा किया कि अगर उनकी पार्टी केंद्र में सत्ता में आती है तो पार्टी सुनिश्चित करेगी कि यह विधेयक लागू हो।
मायावती ने कहा कि कांग्रेस नीत संप्रग सरकार उच्चतम न्यायालय में इस संबंध में पुनर्विचार याचिका दाखिल कर सकती थी। लेकिन उसने ऐसा नहीं किया। उच्चतम न्यायालय ने सरकारी नौकरियों में अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति के कर्मचारियों को पदोन्नति में आरक्षण के सबंध में उत्तर प्रदेश सरकार के फैसले को रद्द कर दिया था। उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस पदोन्नति में आरक्षण को जारी रखने से जुड़े मामले में समर्थ वकील नियुक्त कर सकती थी। लेकिन उसने ऐसा नहीं किया।
मायावती ने पार्टी कार्यकर्ताओं की एक रैली को संबोधित करते हुए कहा कि वे सुनिश्चित करें कि अगले आम चुनाव में बसपा को बड़ी जीत मिले ताकि वह खुद प्रधानमंत्री के रूप में लाल किला से स्वतंत्रता दिवस भाषण दे सकें। उन्होंने पार्टी कैडरों को आगाह किया कि वे ऐसी ताकतों से सजग रहें जो विधानसभा और लोकसभा चुनावों में उन्हें ‘भ्रष्ट करने का प्रयास कर सकती हैं।’ उन्होंने आगाह किया, ‘वे बिकाऊ उत्पाद नहीं बनें।’
मायावती ने कांग्रेस और भाजपा पर आरोप लगाया कि वे सरकारी नौकरियों में अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति के कर्मचारियों को पदोन्नति में आरक्षण संबंधी विधेयक के रास्ते में बाधाएं खड़ी करने के लिए षडयंत्र कर रही हैं। उन्होंने वायदा किया कि अगर उनकी पार्टी केंद्र में सत्ता में आती है तो पार्टी सुनिश्चित करेगी कि यह विधेयक लागू हो।
मायावती ने कहा कि कांग्रेस नीत संप्रग सरकार उच्चतम न्यायालय में इस संबंध में पुनर्विचार याचिका दाखिल कर सकती थी। लेकिन उसने ऐसा नहीं किया। उच्चतम न्यायालय ने सरकारी नौकरियों में अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति के कर्मचारियों को पदोन्नति में आरक्षण के सबंध में उत्तर प्रदेश सरकार के फैसले को रद्द कर दिया था। उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस पदोन्नति में आरक्षण को जारी रखने से जुड़े मामले में समर्थ वकील नियुक्त कर सकती थी। लेकिन उसने ऐसा नहीं किया।
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