यह ख़बर 15 अगस्त, 2011 को प्रकाशित हुई थी

पुलिस ने नहीं दी अन्ना को अनशन की अनुमति

खास बातें

  • दिल्ली पुलिस ने अन्ना हजारे को मंगलवार से जयप्रकाश नारायण पार्क पर अनशन करने की अनुमति देने से इनकार कर दिया है।
New Delhi:

दिल्ली पुलिस ने अन्ना हजारे को मंगलवार से जयप्रकाश नारायण पार्क पर अनशन करने की अनुमति देने से इनकार कर दिया है। हजारे पक्ष द्वारा अनशन तीन दिन के भीतर खत्म कर देने और प्रदर्शनकारियों की संख्या पांच हजार तक सीमित रखने की शर्त मानने से इनकार कर देने के बाद यह घटनाक्रम हुआ है। हजारे पक्ष और दिल्ली पुलिस के बीच अब टकराव की स्थिति है। हजारे के साथी कार्यकर्ताओं ने कहा है कि गांधीवादी कल राजघाट पर राष्ट्रपिता को श्रद्धांजलि देने के बाद फिरोजशाह कोटला के निकट स्थित जयप्रकाश नारायण पार्क पहुंचेंगे और गिरफ्तारी देंगे।  दिल्ली पुलिस ने जयप्रकाश नारायण पार्क पर अनशन की अनुमति देने के लिए 22 शर्तें रखी थीं और हजारे, अरविंद केजरीवाल, प्रशांत भूषण, शांति भूषण और किरण बेदी से इस संबंध में हलफनामा मांगा था। यह घटनाक्रम ऐसे दिन हुआ है जब प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने आज स्वतंत्रता दिवस के मौके पर लाल किले की प्राचीर पर तिरंगा फहराने के बाद राष्ट्र के नाम संबोधन में लोकपाल विधेयक पर हज़ारे के प्रस्तावित अनशन पर जाहिरा तौर पर सवाल उठाये और कहा कि जो विधेयक के विरोधी हैं, उन्हें आमरण अनशन नहीं करना चाहिए। दिल्ली पुलिस के सूत्रों ने कहा कि जयप्रकाश नारायण पार्क पर अनशन की अनुमति नहीं दी जा रही है क्योंकि हजा़रे पक्ष ने सभी 22 शर्तों पर पूर्ण और उचित हलफनामा नहीं दिया है।  हज़ारे के करीबी मनीष सिसौदिया ने बताया कि उन्होंने 22 में से 16 शर्तों को मानते हुए हलफनामा पुलिस को दिया था। शेष छह शर्तें इसलिए नहीं मानी गईं क्योंकि वे असंवैधानिक हैं।दिल्ली पुलिस को सौंपे हलफनामे में हजारे पक्ष ने छह शर्तों को छोड़कर शेष 16 शर्तें मान ली। जिन शर्तों को हजारे पक्ष ने नहीं माना है वे हैं- अनशन को 18 अगस्त की शाम छह बजे तक खत्म कर देना, अनशन स्थल पर 5,000 से अधिक भीड़ नहीं जुटने देना, 50 कारों और 50 दुपहिया वाहनों को ही पाकिग की अनुमति, हजारे सहित सभी अनशनकारियों की सरकारी चिकित्सकों द्वारा निगरानी, रात नौ बजे के बाद लाउडस्पीकर नहीं बजाना और बड़े शामियाने नहीं लगाना। हजारे पक्ष का दावा है कि ये शर्तें असंवैधानिक हैं। एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने कहा कि उन्होंने काफी समन्वय किया और हज़ारे पक्ष की मदद की। लेकिन अगर हजारे पक्ष ने मंगलवार को जबर्दस्ती पार्क में प्रवेश करने की कोशिश की तो वे कार्रवाई करने पर मजबूर हो जाएंगे। इंडिया अगेन्स्ट करप्शन के प्रवक्ता ने कहा, हज़ारे राजघाट जाएंगे और फिर जयप्रकाश नारायण पार्क जाएंगे। अगर पुलिस ने हमें अनुमति दी तो वहां अनशन होगा, अन्यथा गिरफ्तारी दी जाएगी। उधर, अरविंद केजरीवाल ने आरोप लगाया कि उन्हें भ्रष्ट लोगों से अनुमति लेने को मजबूर होना पड़ा है। दिल्ली पुलिस ने नेताओं के कहने पर शर्तें लगाई हैं। हम पर कृत्रिम बंदिशें लगाई गई हैं। हम ऐसी असंवैधानिक शर्तों को नहीं मानेंगे। उन्होंने प्रधानमंत्री की टिप्पणियों को भी असंवेदनशील करार दिया।


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