दिल्ली हाइकोर्ट (Delhi High Court) ने पिछले साल हुए दिल्ली दंगों (Delhi Riots 2020) के दौरान हिंसा के तीन आरोपियों को जमानत के लिए NDTV के ग्रुप एडिटर और प्राइम टाइम के एंकर रवीश कुमार (Ravish Kumar) के कार्यक्रम में दिखाए गए वीडियो को आधार बनाया है. दिल्ली हाइकोर्ट ने दिखाए गए वीडियो के आधार पर कहा कि जुनैद, चांद मोहम्मद और इरशाद के खिलाफ प्रत्यक्ष या पारिस्थितिजन्य या फॉरेंसिक किसी भी तरह के सबूत नहीं है.
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इन तीनों पर फरवरी 2020 में हुए दिल्ली दंगों के दौरान शाहिद नाम के शख्स की हत्या का आरोप है और ये एक अप्रैल 2020 से जेल में हैं. इस मामले में आरोपियों के वकील ने जमानत की मांग करते हुए NDTV के वीडियो का जिक्र किया था. वकील सलीम मलिक ने बताया था कि NDTV का वीडियो भी चलाकर दिखाया था. ये मामला उत्तर पूर्वी दिल्ली के चांद बाग इलाके का था.
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पुलिस के मुताबिक ये तीनों उन लोगों में शामिल थे जो सप्तर्षि बिल्डिंग की छत पर थे और दूसरे छत पर मौजूद लोगों को निशाना बना रहे थे. पुलिस का आरोप है कि इसी दौरान गोली लगने से सप्तर्षि बिल्डिंग की छत पर मौजूद शाहिद की मौत हो गई थी.
Video: दिल्ली दंगों की साजिश से जुड़ी चार्जशीट पेश
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