दिल्ली की एक अदालत ने शनिवार को कांग्रेस की पूर्व निगम पार्षद इशरत जहां को शादी करने के लिए दस दिनों की अंतरिम जमानत दे दी. उन पर अवैध गतिविधियां (निवारण) अधिनियम के तहत मामला दर्ज किया गया है. उतर-पूर्वी दिल्ली में फरवरी में हुए सांप्रदायिक हिंसा से जुड़े एक मामले में उन पर आतंकवाद निरोधक कानून के तहत मामला दर्ज किया गया है.
अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश धर्मेंद्र राणा ने जहां को एक-एक लाख रुपये के दो मुचलके भरने के बाद दस जून से 19 जून तक के लिए जमानत दी.
वकील एस. के. शर्मा, ललित वलीचा, वकील तुषार आनंद और मनु प्रभाकर के मार्फत दायर अंतरिम जमानत याचिका के मुताबिक जहां की शादी 2018 में 12 जून 2020 के लिए तय की गई थी. याचिका में कहा गया है कि जमानत मिलने पर जहां किसी भी साक्ष्य से छेड़छाड़ नहीं करेंगी और न ही गवाहों को प्रभावित करेंगी. याचिका में दावा किया गया कि जहां को मामले में गलत तरीके से फंसाया गया है.
मामले में जहां के अलावा जामिया मिल्लिया इस्लामिया के छात्र आसिफ इकबाल तन्हा, गुलफिशा खातून, जामिया समन्वय समिति की सदस्य सफूरा जरगर, मीरां हैदर, जामिया एलुमनाई एसोसिएशन के अध्यक्ष शिफा उर रहमान, आप के निलंबित पार्षद ताहिर हुसैन, कार्यकर्ता खालिद सैफी, जेएनयू की छात्रा नताशा नरवाल और पूर्व छात्र नेता उमर खालिद पर भी मामला दर्ज किया गया है.
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