पूर्व रक्षा मंत्री एके एंटनी ने कहा, यूपीए के 8 साल के कार्यकाल में सिर्फ एक ऐसी घटना हुई... (फाइल फोटो)
नई दिल्ली:
"यूपीए के 8 साल के कार्यकाल में सिर्फ एक ऐसी घटना हुई, जबकि एनडीए के शासनकाल में तीन ऐसी घटनाएं हो चुकी हैं", पूर्व रक्षा मंत्री एके एंटनी ने मंगलवार को कृष्णा घाटी में पाकिस्तानी सेना के बर्बर हमले पर सवाल उठाते हुए ये दावा किया. नियंत्रण रेखा पर दो भारतीय जवानों के शवों को क्षत-विक्षत करने के मामले पर पूर्व रक्षा मंत्री एके एंटनी के इस हमले पर केंद्र सरकार बचाव की मुद्रा में दिखी. कानून मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कहा, ऐसे मौकों पर देश को एक ही सुर में बोलना चाहिए.
कानून मंत्री ने कहा, "आज के दिन मैं ये अपेक्षा करूंगा कि पूरे देश को एक स्वर में बोलने की ज़रूरत है. पीएम मोदी की अगुवाई में देश ने प्रभावी रूप से इसका उत्तर पहले भी दिया है... जब सेना ने स्पष्ट कहा है कि इसका उचित और प्रभावी उत्तर दिया जाएगा तो हमें सेना पर विश्वास रखना चाहिए. आज समय राजनीतिक आरोप-प्रत्यारोप का नहीं है."
रविशंकर प्रसाद ने यह भी कहा कि पाकिस्तान का कायराना हमला शर्मनाक है. इस तरह की नापाक हरकत युद्ध में भी नहीं की जाती है. देश के शहीदों की शहादत व्यर्थ नहीं जाने दी जाएगी और सेना की ओर से कहा गया है कि इसका प्रभावी उत्तर दिया जाएगा.
हालांकि कांग्रेस ने ये भी याद दिलाया कि मोदी सरकार में फुल-टाइम रक्षा मंत्री ही नहीं है. पूर्व कानून मंत्री कपिल सिब्बल ने ये सवाल उठाते हुए कहा कि मोदी सरकार सुरक्षा तंत्र को मज़बूत करने को लेकर गंभीर नहीं है और फुल-टाइम रक्षा मंत्री का ना होना कई सवाल खड़े करता है.
हालांकि रक्षा राज्यमंत्री सुभाष भामरे ने मंगलवार को कहा, "इसका माकूल जवाब दिया जाएगा, हमारी सेना में ये क्षमता है."
दरअसल, इस मामले को जिस संजीदगी से लेने की ज़रूरत है उसकी कमी हर तरफ दिख रही है. ये ठीक है कि इस मामले पर राजनीति नहीं होनी चाहिए, लेकिन ये सवाल भी अहम है कि आखिर पिछले कुछ दिनों में ऐसे बर्बर हमले बढ़ क्यों गए हैं?
कानून मंत्री ने कहा, "आज के दिन मैं ये अपेक्षा करूंगा कि पूरे देश को एक स्वर में बोलने की ज़रूरत है. पीएम मोदी की अगुवाई में देश ने प्रभावी रूप से इसका उत्तर पहले भी दिया है... जब सेना ने स्पष्ट कहा है कि इसका उचित और प्रभावी उत्तर दिया जाएगा तो हमें सेना पर विश्वास रखना चाहिए. आज समय राजनीतिक आरोप-प्रत्यारोप का नहीं है."
रविशंकर प्रसाद ने यह भी कहा कि पाकिस्तान का कायराना हमला शर्मनाक है. इस तरह की नापाक हरकत युद्ध में भी नहीं की जाती है. देश के शहीदों की शहादत व्यर्थ नहीं जाने दी जाएगी और सेना की ओर से कहा गया है कि इसका प्रभावी उत्तर दिया जाएगा.
हालांकि कांग्रेस ने ये भी याद दिलाया कि मोदी सरकार में फुल-टाइम रक्षा मंत्री ही नहीं है. पूर्व कानून मंत्री कपिल सिब्बल ने ये सवाल उठाते हुए कहा कि मोदी सरकार सुरक्षा तंत्र को मज़बूत करने को लेकर गंभीर नहीं है और फुल-टाइम रक्षा मंत्री का ना होना कई सवाल खड़े करता है.
हालांकि रक्षा राज्यमंत्री सुभाष भामरे ने मंगलवार को कहा, "इसका माकूल जवाब दिया जाएगा, हमारी सेना में ये क्षमता है."
दरअसल, इस मामले को जिस संजीदगी से लेने की ज़रूरत है उसकी कमी हर तरफ दिख रही है. ये ठीक है कि इस मामले पर राजनीति नहीं होनी चाहिए, लेकिन ये सवाल भी अहम है कि आखिर पिछले कुछ दिनों में ऐसे बर्बर हमले बढ़ क्यों गए हैं?
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