
सीबीआई को कुछ ऐसे दस्तावेज भी मिले हैं जिनसे साबित होता है कि घोटाला हुआ है
Quick Take
Summary is AI generated, newsroom reviewed.
उत्तर सीट स्कैनिंग का ठेका दिया था करोल बाग की वीनस डिजिटल सर्विस को
22 जनवरी को देश के 18 शहरों के 412 केंद्रों पर की गई थी परिक्षा आयोजित
25 हजार प्रति केंद्र के हिसाब से करीब करोड़ रुपये का था पूरा ठेका
जानकारी के अनुसार, रिपोर्ट में सीबीआई ने सीबीएसई के निदेशक (आईटी) अंतरिक्ष जोहरी, वीनस डिजिटल सर्विस के प्रतिनिधि कपिल सूरमा और वीनस डिजिटल सर्विस के अलावा सीबीएसई के कुछ अन्य अज्ञात अधिकारियों को नामजद किया है. वीनस डिजिटल को स्कैनिंग के काम के लिए एक करोड़ रुपेय का भुगतान किया गया था.
सीबीएसई ने कालेज एवं विश्वविद्यालयों में भर्ती तथा जेआरएफ के लिए योग्यता परीक्षा नेट का आयेाजन 22 जनवरी को देशभर के 18 शहरों के 412 केन्द्रों पर किया था. प्रत्येक केंद्र की उत्तर पत्रिका की स्कैनिंग के लिए कंपनी को 25000 रुपये प्रति केंद्र के हिसाब से ठेका दिया गया. खासबात यह है कि यह ठेका बिना किसी टेंडर आदि के किए गए थे. जानकारों का कहना है कि सीबीआई अधिकारियों की एक टीम ने सीबीएसई मुख्यालय का दौरा करके कुछ दस्तावेज भी प्राप्त किए हैं.
(इनपुट भाषा से भी)
NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं