राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ने शुक्रवार को जनवरी, 2018 को महाराष्ट्र के भीमा-कोरेगांव में हुई हिंसा के मामले में एक चार्जशीट फाइल की है. इस चार्जशीट में आनंद तेलतुंबडे, गौतम नवलखा जैसे बड़े सामाजिक कार्यकर्ताओं और दिल्ली यूनिवर्सिटी के असोसिएट प्रोफेसर हनी बाबू सहित आठ लोगों को आरोपी बनाया गया है. न्यूज एजेंसी ANI के मुताबिक, NIA की चार्जशीट में कार्यकर्ता सागर गोरखे, रमेश गइचोर, ज्योति जगताप, स्टैन स्वामी और माआवादी नेता मिलिंद तेलतुंबडे का भी नाम है. इस केस में अभी गुरुवार को NIA ने झारखंड से फादर स्टैन स्वामी को गिरफ्तार किया था.
बता दें कि 31 दिसंबर, 2017 को पुणे के भीमा-कोरेगांव में एक कार्यक्रम में हिंसा भड़क गई थी, जिसमें एक व्यक्ति की मौत हो गई थी. आतंक-रोधी एजेंसी का कहना है कि एल्गार परिषद में मिले कार्यकर्ताओं ने इसके लिए साजिश रची थी और भड़काऊ भाषण दिए थे, जिसके चलते अगले दिन हिंसा हुई थी.
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इस मामले में कई बड़े सामाजिक कार्यकर्ताओं, शिक्षाविदों और वकीलों सहित कई वामपंथी विचारों वाले बुद्धिजीवियों को गिरफ्तार किया गया है, जिसे लेकर सरकार पर विरोध में उठने वाली आवाजों को दबाने के आरोप लगाए गए हैं.
NIA की जांच में यह आरोप लगाया गया है कि इसमें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की हत्या का साजिश भी रची गई थी. जांच के दौरान NIA ने कहा था कि ऐसा सामने आया था कि सीपीआई (माओवादी) संगठन, जो गैरकानूनी गतिविधियों (रोकथाम) एक्ट, के तहत बैन है, के नेता एल्गार परिषद के आयोजकों के साथ-साथ गिरफ्तार कार्यकर्ताओं के संपर्क में थे. उनका लक्ष्य माओवादी और नक्सलवादी विचारधारा फैलाना और गैरकानूनी गतिविधियों को अंजाम देना था.
Video: भीमा कोरेगांव : फादर स्टेन स्वामी को NIA ने किया गिरफ्तार
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