यह ख़बर 29 दिसंबर, 2014 को प्रकाशित हुई थी

फिर चला अवैध कॉलोनियों का शिगूफा, जून 2014 तक की सभी कालोनियां होंगी नियमित

नई दिल्ली:

दिल्ली विधानसभा चुनाव, 2015 से ठीक पहले केंद्र सरकार ने दिल्ली की अवैध कॉलोनियों में रहने वाले लाखों लोगों को बड़ा तोहफ़ा दिया है। केंद्रीय कैबिनेट ने फैसला किया है कि अब 1 जून, 2014 तक दिल्ली में बनी सभी अवैध कॉलोनियां नियमित की जाएंगी। पहले 31 मार्च, 2002 तक की कॉलोनियों को ही नियमित किया जा रहा था, लेकिन अब कैबिनेट के फैसले के मुताबिक दिल्ली की करीब 895 और कॉलोनियों को इसका फायदा मिलेगा।

वित्तमंत्री अरुण जेटली ने बताया कि पहले जो कटऑफ डेट 31 मार्च, 2002 तय थी, उसे अब 1 जून, 2014 तक बढ़ा दिया गया है और इसको फायदा 895 कॉलोनियों को मिलेगा। यह बात सही है कि अवैध कॉलोनियों में रहने वाले लाखों लोगों को सरकार ने बड़ी राहत दे दी है, लेकिन इससे अलग कुछ और तथ्य भी जानने चाहिए।

सितंबर, 2012 में जब दिल्ली में कांग्रेस सरकार थी, उसने नगर निगम चुनाव हारने के बाद 895 अवैध कॉलोनियों को नियमित कर दिया था, लेकिन वे कालोनियां केवल कागज़ पर नियमित हुईं। जो बुनियादी ढांचा उन कॉलोनियों को चाहिए था, वह मिल ही नहीं पाया, क्योंकि कुछ ही समय बाद चुनाव हुए और सरकार चली गई और नई आम आदमी पार्टी सरकार दो महीने भी नहीं चली और चली गई और उसके बाद से दिल्ली में राष्ट्रपति शासन है। यानि, वे कॉलोनियां आज भी प्रैक्टिकली नियमित होने की बाट जोह रही हैं।

केंद्र सरकार ने इन नई नियमित हो रही 895 कॉलोनियों के लिए कोई रोडमैप तो सामने नहीं रखा, लेकिन चुनावों से ठीक पहले बीजेपी सरकार की यह मंशा तो दिखती है कि वह अवैध कॉलोनियों में रहने वाले लाखों वोटर को लुभाने के लिए यह कदम उठा रही है, लेकिन वह यह भी ध्यान रखे कि कांग्रेस सरकार ने भी 895 कॉलोनियों को नियमित करके खूब प्रचार किया और अवैध कॉलोनियों में रहने वाले वोटरों को रिझाने की कोशिश की, लेकिन चुनाव में जनता ने उसको नकार दिया।

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लेकिन एक बात और बताने वाले दिख रही है और वह यह है कि शायद अब दिल्ली में कोई भी कॉलोनी अवैध नहीं रह जाएगी।