'मन की बात' कार्यक्रम का प्रसारण हर महीने का आखिरी रविवार को होता है
नई दिल्ली:
रेडियो पर मन की बात कार्यक्रम से एक तरफ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी साधारण से साधारण मुद्दों पर देश के लोगों से बात करते हैं और उनके विचार जानते हैं, वहीं यह कार्यक्रम ऑल इंडिया रेडियो के लिए फायदेमंद साबित हो रहा है. आकाशवाणी ने पिछले दो साल के भीतर इस कार्यक्रम के माध्यम से 10 करोड़ रुपये की कमाई अर्जित की है.
सूचना और प्रसारण राज्यमंत्री कर्नल राज्यवर्द्धन सिंह राठौड़ ने लोकसभा में लिखित उत्तर में इस बात की जानकारी दी. उन्होंने सदन को बताया कि साल 2016-17 में इस कार्यक्रम के माध्यम से रेडियो को 5.19 करोड़ और उससे पहले साल 4.78 करोड़ का राजस्व हासिल किया.
राठौड़ ने बताया कि प्रत्येक महीने का आखिरी रविवार को प्रसारित होने वाले मन की बात कार्यक्रम का 18 क्षेत्रीय भाषाओं में प्रसारण किया जाता है. अब इसको अंग्रेजी और संस्कृत में भी प्रसारित किया जाने लगा है.
उन्होंने बताया कि इस कार्यक्रम से रेडियो के दिन फिर से सुधरने लगे हैं. इंटरनेट और शॉर्ट वेब ट्रांसमीटर के माध्यम से यह कार्यक्रम विदेशों में भी लोकप्रिय हो रहा है.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस कार्यक्रम को 3 अक्टूबर, 2014 को शुरू किया था.
इसके अलावा सूचना एवं प्रसारण राज्यमंत्री ने बताया कि आकाशवाणी के लिए समाचार एजेंसी पीटीआई और यूएनआई की सेवाएं बंद करने की कोई योजना नहीं है. आकाशवाणी का समाचार सेवा प्रभाग इस समय पीटीआई और यूएनआई समाचार एजेंसियों की सेवाएं ले रहा है. प्रयोग के तौर पर हिन्दुस्तान समाचार की नि:शुल्क सेवाएं भी ली जा रही हैं
सूचना और प्रसारण राज्यमंत्री कर्नल राज्यवर्द्धन सिंह राठौड़ ने लोकसभा में लिखित उत्तर में इस बात की जानकारी दी. उन्होंने सदन को बताया कि साल 2016-17 में इस कार्यक्रम के माध्यम से रेडियो को 5.19 करोड़ और उससे पहले साल 4.78 करोड़ का राजस्व हासिल किया.
राठौड़ ने बताया कि प्रत्येक महीने का आखिरी रविवार को प्रसारित होने वाले मन की बात कार्यक्रम का 18 क्षेत्रीय भाषाओं में प्रसारण किया जाता है. अब इसको अंग्रेजी और संस्कृत में भी प्रसारित किया जाने लगा है.
उन्होंने बताया कि इस कार्यक्रम से रेडियो के दिन फिर से सुधरने लगे हैं. इंटरनेट और शॉर्ट वेब ट्रांसमीटर के माध्यम से यह कार्यक्रम विदेशों में भी लोकप्रिय हो रहा है.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस कार्यक्रम को 3 अक्टूबर, 2014 को शुरू किया था.
इसके अलावा सूचना एवं प्रसारण राज्यमंत्री ने बताया कि आकाशवाणी के लिए समाचार एजेंसी पीटीआई और यूएनआई की सेवाएं बंद करने की कोई योजना नहीं है. आकाशवाणी का समाचार सेवा प्रभाग इस समय पीटीआई और यूएनआई समाचार एजेंसियों की सेवाएं ले रहा है. प्रयोग के तौर पर हिन्दुस्तान समाचार की नि:शुल्क सेवाएं भी ली जा रही हैं
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