व्हीलचेयर उपलब्ध न होने के कारण घसीटकर अपने पति को ले जाने को मजबूर हुई श्रीवाणी
                                                                                                                        - वाकया आंध्रप्रदेश के अनंतपुर जिले के गुंटकाल के सरकारी अस्पताल का है
 - अस्पताल प्रबंधन का कहना है कि महिला ने इंतजार नहीं किया
 - कई लोग तमाशबीन बने रहे लेकिन कोई भी मदद के लिए आगे नहीं आया
 
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                                                                                हैदराबाद: 
                                        वह अस्पताल के रैंप पर धीरे-धीरे चल रही थी. एक हाथ से अपने बीमार पति को खींचते हुए दीवार के सहारे आगे बढ़ रही थी. धीरे-धीरे वह लड़खड़ाते हुए अस्पताल के रैंप पर चढ़ सकी. यह वाकया आंध्रप्रदेश के अनंतपुर जिले के गुंटकाल के सरकारी अस्पताल का है. उधर, मीडिया में मामला तूल पकड़ने के बाद सरकार ने मामले की जांच के आदेश दिए हैं.
अस्पताल में व्हीलचेयर या स्ट्रेचर उपलब्ध नहीं था, ऐसे में उसके पास और कोई चारा नहीं था. अस्पताल में हुए इस पूरे वाकिये को कल यानी बुधवार को मोबाइल में कैद कर लिया था.
वीडियो क्लिप में दिखाई दे रहा है कि कई लोग तमाशबीन बने रहे लेकिन कोई भी उस महिला की मदद के लिए आगे नहीं आया. उसका एक कारण यह भी हो सकता है कि मरीज के पैरों में घाव थे.
कुछ मिनट बाद महिला की पहचान श्रीवाणी के रूप में हुई. "उसको ऊपर लाने के लिए कुछ नहीं था. उन्होंने मुझसे उसे सीढ़ियों से ऊपर ले जाने के लिए कहा, इसलिए मैं उसे (पति को) इस तरह से ले जा रही हूं."
इस दर्दनाक तस्वीर से कुछ सप्ताह पहले हुए दीना माझी वाली घटना की याद ताजा हो गई जो एंबुलेंस न मिलने पर पत्नी को कंधे पर लादकर गांव के लिए निकल पड़ा था. इस खबर ने अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर भी सुर्खियां बटोरी थी.
अस्पाल प्रशासन ने बताया कि श्रीवाणी को बताया गया था कि दो व्हीलचेयर और एक स्ट्रेचर थोड़ी देर में उपलब्ध होगा लेकिन उसने इंतजार करने से इनकार कर दिया. वहीं, श्रीवाणी का कहना है कि वह अक्सर यहां अपने पति को इलाज के लिए लाती रहती है और व्हीलचेयर हमेशा उपलब्ध नहीं रहती. सरकार ने मामले की जांच के आदेश देते हुए अस्पताल में तत्काल और व्हीलचेयर उपलब्ध कराने को कहा है.
                                                                        
                                    
                                अस्पताल में व्हीलचेयर या स्ट्रेचर उपलब्ध नहीं था, ऐसे में उसके पास और कोई चारा नहीं था. अस्पताल में हुए इस पूरे वाकिये को कल यानी बुधवार को मोबाइल में कैद कर लिया था.
वीडियो क्लिप में दिखाई दे रहा है कि कई लोग तमाशबीन बने रहे लेकिन कोई भी उस महिला की मदद के लिए आगे नहीं आया. उसका एक कारण यह भी हो सकता है कि मरीज के पैरों में घाव थे.
कुछ मिनट बाद महिला की पहचान श्रीवाणी के रूप में हुई. "उसको ऊपर लाने के लिए कुछ नहीं था. उन्होंने मुझसे उसे सीढ़ियों से ऊपर ले जाने के लिए कहा, इसलिए मैं उसे (पति को) इस तरह से ले जा रही हूं."
इस दर्दनाक तस्वीर से कुछ सप्ताह पहले हुए दीना माझी वाली घटना की याद ताजा हो गई जो एंबुलेंस न मिलने पर पत्नी को कंधे पर लादकर गांव के लिए निकल पड़ा था. इस खबर ने अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर भी सुर्खियां बटोरी थी.
अस्पाल प्रशासन ने बताया कि श्रीवाणी को बताया गया था कि दो व्हीलचेयर और एक स्ट्रेचर थोड़ी देर में उपलब्ध होगा लेकिन उसने इंतजार करने से इनकार कर दिया. वहीं, श्रीवाणी का कहना है कि वह अक्सर यहां अपने पति को इलाज के लिए लाती रहती है और व्हीलचेयर हमेशा उपलब्ध नहीं रहती. सरकार ने मामले की जांच के आदेश देते हुए अस्पताल में तत्काल और व्हीलचेयर उपलब्ध कराने को कहा है.
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                                        श्रीनिवासचारी, दाना माझी, श्रीवाणी, बीमार पति को रैंप पर घसीटकर दूसरे वार्ड में ले गई पत्नी, Srivani, Andhra Hospital, Dana Majhi, Woman Drags Husband In Hospital, Srinivasachary