बॉलीवुड अभिनेता शाहरुख खान का मानना है कि भारतीय सिनेमा को पश्चिमी दर्शकों के लिए अधिक आकर्षक बनाने के लिए फिल्म उद्योग को कला एवं व्यावसायिक फिल्मों के बीच अंतर से मुक्ति पाने की जरूरत है और उन्हें मिलकर काम करना चाहिए।
शाहरुख खान ने एनडीटीवी के सॉल्यूशन समिट में कहा, 'हमारे बीच तालमेल की कमी है। जब मैं अंतरराष्ट्रीय फिल्में देखता हूं तो मैं पीटर जैक्सन और स्टीव स्पीलबर्ग को साथ होते देखता हूं। एआर रहमान साहब पहले से यही कर रहे हैं।'
इस कार्यक्रम में वरिष्ठ अभिनेता अमिताभ बच्चन और वहीदा रहमान भी शामिल हुए।
अमिताभ बच्चन ने 'भारतीय सिनेमा किस तरह ऑस्कर जीत सकता है और किस तरह बॉलीवुड का उल्लेखनीय वैश्विक असर पड़ सकता है', विषय पर बोलते हुए कहा कि यद्यपि फिल्म अभिनेता प्रसिद्ध होते हैं, लेकिन उनकी प्रसिद्धि का उचित इस्तेमाल नहीं हो पाता।
भारतीय सिनेमा की प्रगति की सराहना करते हुए वहीदा रहमान ने कहा कि वह फिल्मों में नायिकाओं के उभार को देखकर काफी खुश हैं।
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