कांग्रेस नेता राहुल गांधी (फाइल फोटो)
नई दिल्ली:
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने गुजरात उच्च न्यायालय में अपील दायर कर सूरत की सत्र अदालत के उस आदेश को चुनौती दी जिसमें ‘‘मोदी उपनाम’’ वाली टिप्पणी को लेकर आपराधिक मानहानि के एक मामले में उनकी दोषसिद्धि पर रोक लगाने से इनकार कर दिया गया था.
- कांग्रेस नेता राहुल गांधी (Rahul Gandhi) की उस अपील पर गुजरात उच्च न्यायालय आज सुनवाई करने जा रहा है.जिसमें ‘‘मोदी उपनाम'' वाली टिप्पणी को लेकर आपराधिक मानहानि मामले में उनकी दोषसिद्धि पर रोक नहीं लगाने के सूरत सत्र अदालत के आदेश को चुनौती दी गई है.
- इस अपील पर उच्च न्यायालय के नए न्यायाधीश सुनवाई करेंगे. उच्च न्यायालय द्वारा बृहस्पतिवार को प्रकाशित वाद सूची के अनुसार, राहुल गांधी की अपील पर न्यायमूर्ति हेमंत पी. आज सुनवाई करेंगे.
- इससे पहले 26 अप्रैल को राहुल गांधी के वकील पी. एस. चंपानेरी ने न्यायमूर्ति गीता गोपी की अदालत के समक्ष मामले का उल्लेख किया था.
- न्यायमूर्ति गीता गोपी ने इस मामले की सुनवाई से खुद को अलग कर लिया. जिसके बाद अब मामले की सुनवाई गुजरात उच्च न्यायालय के एक नए न्यायाधीश हेमंत पी. द्वारा की जाएगी.
- गुजरात में बीजेपी विधायक पूर्णेश मोदी द्वारा दायर 2019 के मामले में सूरत की मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट अदालत ने 23 मार्च को पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष को भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 499 और 500 (आपराधिक मानहानि) के तहत दोषी ठहराते हुए दो साल जेल की सजा सुनाई थी.
- इस फैसले के बाद गांधी को जनप्रतिनिधित्व अधिनियम के प्रावधानों के तहत संसद की सदस्यता से अयोग्य घोषित कर दिया गया था. राहुल गांधी 2019 में केरल के वायनाड से लोकसभा के लिए निर्वाचित हुए थे.
- सूरत की सत्र अदालत ने कांग्रेस नेता को दोषी ठहराये जाने के फैसले पर रोक लगाने की उनकी अर्जी 20 अप्रैल को खारिज कर दी थी. कांग्रेस नेता गांधी इस मामले में फिलहाल जमानत पर हैं.
- न्यायमूर्ति गोपी ने अदालत की रजिस्ट्री को निर्देश दिया कि वह इस मामले को मुख्य न्यायाधीश एजे देसाई को सौंपे या इसे किसी अन्य पीठ को सौंपे.
- कोर्ट के झटके के बाद राहुल गांधी ने दिल्ली में अपना सरकारी आवास खाली कर दिया. लोकसभा हाउसिंग कमेटी ने उन्हें अपना 12, तुगलक लेन बंगला खाली करने के लिए एक पत्र भेजा था, जो उनके पास 2005 से था.
- 2019 में लोकसभा चुनाव के प्रचार के दौरान, राहुल गांधी ने कहा था कि "सभी चोरों का एक ही सरनेम मोदी कैसे होता है". इसी मामले में राहुल गांधी को कोर्ट ने दो साल की सजा सुनाई.