उज्जैन:
मध्य प्रदेश की नगरी उज्जैन में आगामी अप्रैल-मई में होने वाले सिंहस्थ कुंभ के मद्देनजर तैयारियां जारी हैं। इसी क्रम में प्रसाद निर्माण के लिए भी विशेष इंतजाम किए गए हैं। यहां हर रोज शुद्घ घी और मेवे से बनने वाले लड्डुओं के चार से पांच हजार पैकेट बनाए जाते हैं।
महाकाल सहायक प्रशासक प्रीति चौहान ने बताया कि चिंतामन जवासिया में स्थित नवीन परिसर में प्रसाद निर्माण का कार्य शुरू हो गया है। यहां 15-20 कर्मचारी प्रतिदिन प्रसाद निर्माण में लगे रहते हैं। प्रसाद पैकेटों में सुरक्षित रख कर यहां से महाकाल मंदिर परिसर में पहुंचाई जाती है। चौहान के मुताबिक, प्रबंध समिति बाबा महाकाल के श्रद्घालुओं को प्रतिदिन ताजा एवं स्वादिष्ट प्रसाद वितरण करने के उद्देश्य से रोजाना प्रसाद बनवा रही है।
सिंहस्थ को देखते हुए प्रसाद निर्माण एवं वितरण के लिए योजना बनाई गई है। बाबा महाकाल के दर्शनों के लिए आने वाले श्रद्घालुओं का आकलन कर प्रतिदिन लड्डुओं के चार-पांच हजार पैकेट बनाए जा रहे हैं।
प्रसाद निर्माण का कार्य देख रहे कमलेश के मुताबिक, विशेष दिनों में जैसे शनिवार, रविवार और सोमवार को भक्तगणों की संख्या बढ़ जाती है। बाबा महाकाल का प्रसाद बनाने में बेसन, रवा व शुद्घ घी का उपयोग किया जाता है। प्रसाद को और स्वादिष्ट बनाने के लिए इसमें काजू, किशमिश और इलाईची मिलाई जाती है। महाकाल प्रसाद एवं लड्डू निर्माण इकाई में प्रतिदिन लड्डुओं के चार से पांच हजार पैकेट बनाए जाते हैं, जिसमें 200 ग्राम से एक किलोग्राम तक के पैकेट शामिल हैं।
महाकाल सहायक प्रशासक प्रीति चौहान ने बताया कि चिंतामन जवासिया में स्थित नवीन परिसर में प्रसाद निर्माण का कार्य शुरू हो गया है। यहां 15-20 कर्मचारी प्रतिदिन प्रसाद निर्माण में लगे रहते हैं। प्रसाद पैकेटों में सुरक्षित रख कर यहां से महाकाल मंदिर परिसर में पहुंचाई जाती है। चौहान के मुताबिक, प्रबंध समिति बाबा महाकाल के श्रद्घालुओं को प्रतिदिन ताजा एवं स्वादिष्ट प्रसाद वितरण करने के उद्देश्य से रोजाना प्रसाद बनवा रही है।
सिंहस्थ को देखते हुए प्रसाद निर्माण एवं वितरण के लिए योजना बनाई गई है। बाबा महाकाल के दर्शनों के लिए आने वाले श्रद्घालुओं का आकलन कर प्रतिदिन लड्डुओं के चार-पांच हजार पैकेट बनाए जा रहे हैं।
प्रसाद निर्माण का कार्य देख रहे कमलेश के मुताबिक, विशेष दिनों में जैसे शनिवार, रविवार और सोमवार को भक्तगणों की संख्या बढ़ जाती है। बाबा महाकाल का प्रसाद बनाने में बेसन, रवा व शुद्घ घी का उपयोग किया जाता है। प्रसाद को और स्वादिष्ट बनाने के लिए इसमें काजू, किशमिश और इलाईची मिलाई जाती है। महाकाल प्रसाद एवं लड्डू निर्माण इकाई में प्रतिदिन लड्डुओं के चार से पांच हजार पैकेट बनाए जाते हैं, जिसमें 200 ग्राम से एक किलोग्राम तक के पैकेट शामिल हैं।
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