असदुद्दीन ओवैसी (फाइल फोटो)
हैदराबाद:
इस बाहर बिहार विधानसभा चुनाव में अपने उम्मीदवार उतारने जा रहे एआईएमआईएम अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी ने आरजेडी-जेडीयू-कांग्रेस के महागठबंधन पर हमला करते हुए कहा कि इन पार्टियों के ट्रैक रिकॉर्ड में ज्यादा कुछ बोलने को नहीं है। उन्होंने इन आरोपों को खारिज किया कि उसे बीजेपी की ओर से उतारा जा रहा है।
ऑल इंडिया मजलिस ए इत्तेहाद-उल मुस्लिमीन (एआईएमआईएम) के अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी ने कहा कि उनकी पार्टी बिहार के सीमांचल क्षेत्र में चुनाव जीतने को लेकर गंभीर है और यह चुनावी राज्य में इस पार्टी की लोकप्रियता को परखने के लिए नहीं है।
'केवल सीमांचल क्षेत्र में लड़ेंगे चुनाव'
बिहार में अपनी पार्टी के चुनाव लड़ने के फैसले के बारे में हैदराबाद से लोकसभा सांसद ने कहा, उन्होंने (महागठबंधन दलों) न्याय और विकास नहीं किया और उनका ट्रैक रिकॉर्ड स्पष्ट दिखाता है कि वास्तविक समृद्धि या न्याय नहीं हुआ है।
उन्होंने कहा, हमने अपने को केवल सीमांचल क्षेत्र तक सीमित रखने का फैसला किया है और हमें अभी भी इस बारे में फैसला करना है कि (क्षेत्र की) 24 सीटों में से हम कितनी सीटों पर चुनाव लड़ें। जिन क्षेत्रों में एआईएमआईएम चुनाव नहीं लड़ रही है, वहां पार्टी ने लोगों से बीजेपी को हराने तथा किसी धर्मनिरपेक्ष उम्मीदवार या धर्मनिरपेक्ष गठबंधन को जिताने का आग्रह किया है। ओवैसी ने जेडीयू, आरजेडी और कांग्रेस के महागठबंधन पर हमला करते हुए कहा, अलावा, वे पूरी तरह अहंकार में डूबे हैं और वे नहीं चाहते कि एआईएमआईएम चुनाव लड़े।
'लोगों का विश्वास जीतने के लिए कड़ी मेहनत करेंगे'
ओवैसी ने कहा, यदि आप सीमांचल क्षेत्र को देखते हैं तो 24 सीटों में से बीजेपी ने 2010 में 13 सीट जीती थीं। क्या उसके लिए मैं जिम्मेदार हूं? और मुसलमान प्रतिनिधित्व का आंकड़ा क्या है? इसलिए, वो बुरी तरह उजागर हो रहे हैं। उन्होंने कहा कि एआईएमआईएम का रुख बिल्कुल साफ है कि वह सीमांचल क्षेत्र के लिए विकास और न्याय के मुद्दे पर लड़ना चाहती है और सीमांचल (जिसमें चार जिले हैं) या बिहार में कहीं भी जहां हम चुनाव नहीं लड़ रहे, वहां हम बिहार के लोगों से आग्रह करते हैं कि वे धर्मनिरपेक्ष उम्मीदवार या धर्मनिरपेक्ष खेमे को वोट दें।
सीमांचल के मुस्लिम बहुल निर्वाचन क्षेत्रों में किस्मत आजमाने या क्षेत्र में चुनाव जीतने के बारे में गंभीर होने के मुद्दे पर उन्होंने कहा, बिल्कुल हम गंभीर हैं। हम जहां लड़ रहे हैं, वहां जीतना चाहते हैं और हमें कड़ी मेहनत करनी होगी तथा हम लोगों का विश्वास जीतने के लिए कड़ी मेहनत करेंगे। महागठबंधन के कुछ तबकों के इन आरोपों पर कि धर्मनिरपेक्ष वोटों में बिखराव पैदा करने के लिए एआईएमआईएम को बीजेपी द्वारा उतारा जा रहा है, ओवैसी ने कहा कि जब कांशीराम ने बसपा का गठन किया था तब उनके खिलाफ भी (ऐसे) आरोप लगाए गए थे।
ऑल इंडिया मजलिस ए इत्तेहाद-उल मुस्लिमीन (एआईएमआईएम) के अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी ने कहा कि उनकी पार्टी बिहार के सीमांचल क्षेत्र में चुनाव जीतने को लेकर गंभीर है और यह चुनावी राज्य में इस पार्टी की लोकप्रियता को परखने के लिए नहीं है।
'केवल सीमांचल क्षेत्र में लड़ेंगे चुनाव'
बिहार में अपनी पार्टी के चुनाव लड़ने के फैसले के बारे में हैदराबाद से लोकसभा सांसद ने कहा, उन्होंने (महागठबंधन दलों) न्याय और विकास नहीं किया और उनका ट्रैक रिकॉर्ड स्पष्ट दिखाता है कि वास्तविक समृद्धि या न्याय नहीं हुआ है।
उन्होंने कहा, हमने अपने को केवल सीमांचल क्षेत्र तक सीमित रखने का फैसला किया है और हमें अभी भी इस बारे में फैसला करना है कि (क्षेत्र की) 24 सीटों में से हम कितनी सीटों पर चुनाव लड़ें। जिन क्षेत्रों में एआईएमआईएम चुनाव नहीं लड़ रही है, वहां पार्टी ने लोगों से बीजेपी को हराने तथा किसी धर्मनिरपेक्ष उम्मीदवार या धर्मनिरपेक्ष गठबंधन को जिताने का आग्रह किया है। ओवैसी ने जेडीयू, आरजेडी और कांग्रेस के महागठबंधन पर हमला करते हुए कहा, अलावा, वे पूरी तरह अहंकार में डूबे हैं और वे नहीं चाहते कि एआईएमआईएम चुनाव लड़े।
'लोगों का विश्वास जीतने के लिए कड़ी मेहनत करेंगे'
ओवैसी ने कहा, यदि आप सीमांचल क्षेत्र को देखते हैं तो 24 सीटों में से बीजेपी ने 2010 में 13 सीट जीती थीं। क्या उसके लिए मैं जिम्मेदार हूं? और मुसलमान प्रतिनिधित्व का आंकड़ा क्या है? इसलिए, वो बुरी तरह उजागर हो रहे हैं। उन्होंने कहा कि एआईएमआईएम का रुख बिल्कुल साफ है कि वह सीमांचल क्षेत्र के लिए विकास और न्याय के मुद्दे पर लड़ना चाहती है और सीमांचल (जिसमें चार जिले हैं) या बिहार में कहीं भी जहां हम चुनाव नहीं लड़ रहे, वहां हम बिहार के लोगों से आग्रह करते हैं कि वे धर्मनिरपेक्ष उम्मीदवार या धर्मनिरपेक्ष खेमे को वोट दें।
सीमांचल के मुस्लिम बहुल निर्वाचन क्षेत्रों में किस्मत आजमाने या क्षेत्र में चुनाव जीतने के बारे में गंभीर होने के मुद्दे पर उन्होंने कहा, बिल्कुल हम गंभीर हैं। हम जहां लड़ रहे हैं, वहां जीतना चाहते हैं और हमें कड़ी मेहनत करनी होगी तथा हम लोगों का विश्वास जीतने के लिए कड़ी मेहनत करेंगे। महागठबंधन के कुछ तबकों के इन आरोपों पर कि धर्मनिरपेक्ष वोटों में बिखराव पैदा करने के लिए एआईएमआईएम को बीजेपी द्वारा उतारा जा रहा है, ओवैसी ने कहा कि जब कांशीराम ने बसपा का गठन किया था तब उनके खिलाफ भी (ऐसे) आरोप लगाए गए थे।
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