उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव (फाइल फोटो)
महाराजगंज:
काशी में बिजली नहीं आने के आरोप पर उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को रविवार को चुनौती दी कि अगर काशी में 24 घंटे बिजली नहीं आ रही तो मोदी गंगा मैया की कसम खाकर ये बात कहें. अखिलेश ने एक चुनावी जनसभा में कहा, ‘‘हमने जितनी बिजली रमजान पर दी, उससे अधिक दीवाली पर दी और क्रिसमस पर भी दी... जब किसी से सच बुलवाना होता है तो कहते हैं कि खाओ गंगा मैया की कसम. वाराणसी से चुनाव लड़ते समय पीएम ने कहा था कि गंगा मैया ने हमें बुलाया है... अगर काशी में 24 घंटे बिजली नहीं आ रही तो पीएम खाएं गंगा मैया की कसम.’’ कांग्रेस के साथ गठबंधन पर अखिलेश ने कहा कि कांग्रेस के साथ हमारा सहयोग है. समाजवादी लोग वैसे तो जब साइकिल चलाते हैं तो अपने आप पैडल मारकर साइकिल चला लेते हैं. जब जोश और उत्साह में होते हैं तो हैंडिल छोड़कर भी चला लेते हैं. ‘‘अब तो हैंडल पर कांग्रेस पार्टी का भी हाथ लग गया है तो बताओ साइकिल की रफ्तार कितनी होगी?’’
उन्होंने कहा, ‘‘घबराये हुए लोग कहते हैं कि ये दो कुनबों का गठबंधन है. एक लखनऊ वाला और एक दिल्ली वाला. ये कुनबों का नहीं बल्कि दो युवाओं का गठबंधन है जो उत्तर प्रदेश और देश की राजनीति में बदलाव लाएगा.’’ मायावती पर चिर परिचित शैली में हमला बोलते हुए अखिलेश ने कहा कि पत्थर वाली पार्टी की नेता मायावती पता नहीं, कहां से कागज लिखवाकर लाती हैं. वह रैली में जब भाषण पढ़ती हैं तो सभा में आधे से ज्यादा लोग सो रहे होते हैं. मुख्यमंत्री ने मायावती पर तंज कसा, ‘‘सुना है भाषा बदल गयी है. स्मारक और मूर्तियां नहीं बनाएंगे. विकास करेंगे. मैंने कहा लखनऊ में हमने आपका विकास देखा है कि नौ साल से पत्थर वाले हाथी लगे हैं. जो खड़े हैं वे खड़े ही हैं और जो बैठे हैं वे बैठे हैं. खड़े वाले हाथी बैठे नहीं हैं और बैठे वाले हाथी खड़े नहीं हैं.’’
अखिलेश ने वोटरों को आगाह करते हुए कहा, ‘‘हमारी बुआ से सावधान रहना. भाजपा से कब रक्षाबंधन मना लें, कोई नहीं जानता है. हमारी सरकार बनाने के लिए हमारी मदद करो. हमने किसानों का कर्ज माफ किया, और बिजली का बेहतर इंतजाम किया.’’ (इनपुट भाषा से)
(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
उन्होंने कहा, ‘‘घबराये हुए लोग कहते हैं कि ये दो कुनबों का गठबंधन है. एक लखनऊ वाला और एक दिल्ली वाला. ये कुनबों का नहीं बल्कि दो युवाओं का गठबंधन है जो उत्तर प्रदेश और देश की राजनीति में बदलाव लाएगा.’’ मायावती पर चिर परिचित शैली में हमला बोलते हुए अखिलेश ने कहा कि पत्थर वाली पार्टी की नेता मायावती पता नहीं, कहां से कागज लिखवाकर लाती हैं. वह रैली में जब भाषण पढ़ती हैं तो सभा में आधे से ज्यादा लोग सो रहे होते हैं. मुख्यमंत्री ने मायावती पर तंज कसा, ‘‘सुना है भाषा बदल गयी है. स्मारक और मूर्तियां नहीं बनाएंगे. विकास करेंगे. मैंने कहा लखनऊ में हमने आपका विकास देखा है कि नौ साल से पत्थर वाले हाथी लगे हैं. जो खड़े हैं वे खड़े ही हैं और जो बैठे हैं वे बैठे हैं. खड़े वाले हाथी बैठे नहीं हैं और बैठे वाले हाथी खड़े नहीं हैं.’’
अखिलेश ने वोटरों को आगाह करते हुए कहा, ‘‘हमारी बुआ से सावधान रहना. भाजपा से कब रक्षाबंधन मना लें, कोई नहीं जानता है. हमारी सरकार बनाने के लिए हमारी मदद करो. हमने किसानों का कर्ज माफ किया, और बिजली का बेहतर इंतजाम किया.’’ (इनपुट भाषा से)
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