मध्यप्रदेश की 230 विधानसभा सीटों के लिए सोमवार को छिटपुट घटनाओं को छोड़कर आमतौर पर मतदान शांतिपूर्ण सम्पन्न हो गया और 65 से 70 प्रतिशत के बीच मतदान होने का अनुमान है। मतगणना 8 दिसंबर को होगी।
प्रदेश की 230 में से 227 सीटों पर आज सुबह आठ बजे और नक्सल प्रभावित बालाघाट जिले की तीन सीटों पर सुबह सात बजे से मतदान हुआ। नक्सल प्रभावित बालाघाट जिले की लांजी, बैहर एवं परसवाड़ा सीटों पर 70 प्रतिशत के आसपास मतदान की खबर है।
प्रदेश के मुख्य निर्वाचन अधिकारी कार्यालय के सूत्रों ने बताया कि विभिन्न विकास कार्यों के अभाव में लगभग 11 मतदान केन्द्रों पर चुनाव बहिष्कार के मामले सामने आए हैं। इनमें रायसेन का उदयपुरा, उमरिया का बांधवगढ़, रतलाम का आलोट, मुरैना का अम्बाह, दमोह का पथरिया, राजगढ़ का नरसिंहपुर, बैतूल का घोड़ाडोंगरी, विदिशा का कुरवई, छतरपुर का बड़ा मलेहरा, सिवनी का लखनादौन एवं छिन्दवाड़ा का पाण्ढुर्ना है।
इसके अलावा भिण्ड जिले के लहार विधानसभा क्षेत्र के मतदान केन्द्र 182 के बाहर गोली चलने की घटना में एक व्यक्ति घायल हुआ और इस मामले में पुलिस ने चार आरोपियों को गिरफ्तार किया है। इसी मतदान केन्द्र और मतदान केन्द्र क्रमांक 189 पर ईवीएम तोड़े जाने की भी घटना हुई, लेकिन कुछ देर बाद मशीन बदलकर मतदान शुरू किया गया है।
मतदान शुरू होने से पहले हृदयाघात से कटनी के बड़वारा में मतदान दल के सदस्य केबी श्रीवास्तव की मौत हुई है, लेकिन इससे वहां मतदान प्रभावित नहीं हुआ है। विभिन्न क्षेत्रों के 36 मतदान केन्द्रों पर ईवीएम खराब हुई, लेकिन समय पर उन्हें बदल दिया गया।
मुरैना की सुमावली विधानसभा क्षेत्र में मतदान के दौरान दो अलग-अलग मतदान केन्द्रों पर गोली चलने से एक व्यक्ति की मृत्यु हो गई जबकि एक अन्य घायल हो गया। पुलिस के अनुसार सुमावली विधानसभा क्षेत्र के अनी बहादुर का पुरा मतदान केन्द्र पर भरोसी कुशवाह जब जबरन वोट डालना चाह रहा था, तभी उसका कुछ भाजपा कार्यकर्ताओं से विवाद हो गया। विवाद के दौरान एक अज्ञात व्यक्ति द्वारा गोली चलाए जाने से उसकी मृत्यु हो गई।
सूत्रों के अनुसार इसी प्रकार इसी विधानसभा क्षेत्र के नायकपुरा मतदान केन्द्र में अज्ञात व्यक्ति द्वारा गोली चलाए जाने से मुरैना के पूर्व जनपद अध्यक्ष भूरासिंह कप्तान घायल हो गए। पुलिस प्रकरण दर्ज कर मामले की जांच कर रही है।
उधर, धार जिले के मनावर विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र से भाजपा प्रत्याशी एवं प्रदेश की महिला एवं बाल विकास मंत्री रंजना बघेल तथा उनके कार्यकर्ताओं के खिलाफ पुलिस ने मतदान के दौरान एक आरक्षक की शिकायत पर सरकारी काम में बाधा डालने का प्रकरण दर्ज किया है।
धार के पुलिस अधीक्षक बलवंत सिंह चौहान ने बताया कि जब मंत्री रंजना अपने कार्यकर्ताओं के साथ एक मतदान केन्द्र पर जा रही थीं, तभी विशेष शाखा का आरक्षक गंगाराम उनकी तस्वीर खींच रहा था। यह देखकर रंजना के साथ वहां मौजूद भाजपा कार्यकर्ता भड़क गए और आरक्षक से उसका मोबाइल फोन छीन लिया और कहासुनी की।
आरक्षक गंगाराम की शिकायत पर मनावर पुलिस ने मंत्री रंजना एवं उनके कुछ पार्टी कार्यकर्ताओं के खिलाफ शासकीय कार्य में बाधा डालने संबंधी भादंवि की धारा 353 के तहत प्रकरण कायम कर जांच में लिया है।
उन्होंने बताया कि नक्सल प्रभावित बालाघाट के तीन निर्वाचन क्षेत्रों में मतदान के दौरान सुरक्षा के कड़े प्रबंध किए गए थे तथा पुलिस एवं अर्द्धसैनिक बलों की 80 कंपनियां तैनात की गई थीं। नक्सल प्रभावित बालाघाट एवं सिंगरौली जिले में वायुसेना के दो हेलीकॉप्टरों से नजर रखी गई।
प्रदेश में विधानसभा चुनाव के लिए 53,946 मतदान केन्द्र स्थापित किए गए, जिनमें 14,950 संवेदनशील माने गए थे। मतदान के लिए कुल 3.65 लाख कर्मचारियों को लगाया गया, जबकि सुरक्षा के लिए पुलिस एवं अर्द्धसैनिक बलों की 552 कंपनियां तैनात की गई थी। निर्वाचन आयोग ने पहली बार ‘उपरोक्त में से कोई नहीं’ (नोटा) का बटन भी ईवीएम में रखा है, जिसे दबाकर मतदाता अपनी नापसंद जाहिर कर सकते थे।
आज हुए मतदान के साथ ही जिन प्रमुख उम्मीदवारों के भाग्य का फैसला ईवीएम में दर्ज हो गया, उनमें मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, कांग्रेस के वरिष्ठ नेता एवं पूर्व केन्द्रीय मंत्री सुरेश पचौरी, कांग्रेस महासचिव दिग्विजय सिंह के पुत्र जयवर्धन सिंह, मंत्री कैलाश विजयवर्गीय, बाबूलाल गौर, उमाशंकर गुप्ता, राज्य विधानसभा में विपक्ष के नेता अजय सिंह राहुल आदि शामिल हैं।
चौहान इस बार दो सीटों सीहोर जिले के बुदनी एवं विदिशा जिला मुख्यालय की विदिशा सीट से चुनाव मैदान में हैं।
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