सीएनएन के पत्रकार जिम अकोस्टा (फाइल फोटो)
वाशिंगटन:
एक अभूतपूर्व कदम उठाते हुए व्हाइट हाउस ने सीएनएन के व्हाइट हाउस संवाददाता जिम अकोस्टा का प्रेस पास निलंबित (अस्थायी तौर पर अमान्य) कर दिया वहीं जिम का बचाव करते हुए सीएनएन ने कहा कि यह फैसला ‘लोकतंत्र के लिए खतरा' है. बुधवार को हुए संवाददाता सम्मेलन के दौरान राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और सीएनएन के प्रमुख व्हाइट हाउस संवाददाता जिम अकोस्टा के बीच तीखी नोंकझोंक होने के एक दिन बाद यह कार्रवाई की गई. व्हाइट हाउस ने अकोस्टा के बर्ताव को ‘घिनौना और आक्रोशित करने वाला' करार दिया. अकोस्टा और ट्रंप के बीच कहासुनी के बाद व्हाइट हाउस ने यह कदम उठाया. दोनों के बीच कहासुनी उस वक्त हुई जब सीएनएन संवाददाता ने बैठ जाने के राष्ट्रपति के निर्देश को नहीं माना और अमेरिकी सीमा की तरफ बढ़ रहे मध्य अमेरिकी प्रवासियों के कारवां पर उनकी राय जानने के लिए लगातार सवाल करते रहे.
तब बेहद गुस्से में दिख रहे ट्रंप ने कहा, ‘बहुत हो गया.' इसके बाद व्हाइट हाउस की एक इंटर्न ने सीएनएन के पत्रकार के हाथ से माइक लेने की नाकाम कोशिश की.
अकोस्टा के बर्ताव को ‘घिनौना और आक्रोशित करने वाला' करार देते हुए व्हाइट हाउस की प्रेस सचिव सारा सैंडर्स ने बुधवार को एक बयान में कहा, ‘आज की घटना के नतीजे के तौर पर व्हाइट हाउस, संबंधित रिपोर्टर का ‘हार्ड पास' अगले आदेश तक के लिए निलंबित करता है.' सारा ने कहा कि ट्रंप आजाद प्रेस में यकीन करते हैं और अपने एवं अपने प्रशासन के बारे में मुश्किल सवालों की अपेक्षा करते हैं.
सारा ने एक वीडियो साझा करते हुए कहा, ‘हम इस व्यक्ति का हार्ड पास निलंबित करने के अपने फैसले पर कायम हैं. हम इस वीडियो में साफ तौर पर नजर आ रहे अनुचित व्यवहार को बर्दाश्त नहीं करेंगे.' इस वीडियो में अकोस्टा महिला इंटर्न पर कथित तौर पर अपना हाथ रखते नजर आ रहे हैं.
इस बीच, सीएनएन ने कहा कि ‘आज की प्रेस कांफ्रेंस में चुनौतीपूर्ण सवाल पूछने के कारण बदले की कार्रवाई करते हुए' अकोस्टा का पास निलंबित किया गया. यह अभूतपूर्व फैसला हमारे लोकतंत्र के लिए खतरा है और देश इससे बेहतर के काबिल है.' शाम करीब सात बजे अकोस्टा को सीक्रेट सर्विस के अधिकारियों ने व्हाइट हाउस में दाखिल होने से रोक दिया. व्हाइट हाउस संवाददाता संगठन के पूर्व अध्यक्ष जेफ मैसन ने व्हाइट हाउस के इस आरोप को खारिज किया कि अकोस्टा ने महिला इंटर्न पर अपना हाथ रखा था.
मैसन ने ट्वीट किया, ‘मैं आज की प्रेस कांफ्रेंस में अकोस्टा के ठीक बगल में बैठा था और उन्हें युवा इंटर्न पर अपना हाथ रखते नहीं देखा.' न्यूज एजेंसी रॉयटर्स के संवाददाता मैसन ने सीएनएन संवाददाता अकोस्टा का बचाव करते हुए कहा कि इंटर्न के आने तक अकोस्टा ने माइक पकड़ कर रखा और बाद में अपनी बात साबित करने के लिए प्रेस कांफ्रेंस की कुछ तस्वीरें डालीं. पिछले 22 साल से व्हाइट हाउस कवर कर रहे न्यूयॉर्क टाइम्स के पत्रकार पीटर बेकर ने कहा, ‘यह ऐसी चीज है जो मैंने 1996 में व्हाइट हाउस कवर करने की शुरुआत से लेकर अब तक नहीं देखी. दूसरे राष्ट्रपतियों को मुश्किल सवालों से डर नहीं लगता था.' व्हाइट हाउस संवाददाता संगठन ने यह भी कहा कि ऐसा फैसला ‘अस्वीकार्य' है. संगठन ने व्हाइट हाउस से ‘‘अपना फैसला तुंरत वापस लेने'' की अपील की.
संगठन के अध्यक्ष ओलिवियर नॉक्स ने कहा, ‘पत्रकार अपना काम करने के लिए कई तरीके अपना सकते हैं और व्हाइट हाउस संवाददाता संगठन राष्ट्रपति सहित ताकतवर सरकारी आला अधिकारियों से सवाल पूछने को लेकर अपने सदस्यों के लहजे पर नियंत्रण नहीं करता.' इस बीच, व्हाइट हाउस ने कहा कि वह अपने फैसले पर कायम है.
बता दें कि राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और अमेरिकी मीडिया के बीच रिश्तों में तल्खी पहले भी रही है, लेकिन यह कड़वाहट बुधवार को उस वक्त और बढ़ गई जब उन्होंने कुछ संवाददाताओं को ‘‘अशिष्ट'' करार दिया और पीबीएस की एक संवाददाता पर नस्लभेदी सवाल करने का आरोप लगाया. इस संवाददाता ने ट्रंप से श्वेत राष्ट्रवादियों के बारे में सवाल किया था.
(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
तब बेहद गुस्से में दिख रहे ट्रंप ने कहा, ‘बहुत हो गया.' इसके बाद व्हाइट हाउस की एक इंटर्न ने सीएनएन के पत्रकार के हाथ से माइक लेने की नाकाम कोशिश की.
अकोस्टा के बर्ताव को ‘घिनौना और आक्रोशित करने वाला' करार देते हुए व्हाइट हाउस की प्रेस सचिव सारा सैंडर्स ने बुधवार को एक बयान में कहा, ‘आज की घटना के नतीजे के तौर पर व्हाइट हाउस, संबंधित रिपोर्टर का ‘हार्ड पास' अगले आदेश तक के लिए निलंबित करता है.' सारा ने कहा कि ट्रंप आजाद प्रेस में यकीन करते हैं और अपने एवं अपने प्रशासन के बारे में मुश्किल सवालों की अपेक्षा करते हैं.
सारा ने एक वीडियो साझा करते हुए कहा, ‘हम इस व्यक्ति का हार्ड पास निलंबित करने के अपने फैसले पर कायम हैं. हम इस वीडियो में साफ तौर पर नजर आ रहे अनुचित व्यवहार को बर्दाश्त नहीं करेंगे.' इस वीडियो में अकोस्टा महिला इंटर्न पर कथित तौर पर अपना हाथ रखते नजर आ रहे हैं.
उन्होंने कहा, ‘बहरहाल, हम यह कभी नहीं बर्दाश्त करेंगे कि कोई रिपोर्टर व्हाइट हाउस इंटर्न के तौर पर अपना काम कर रही युवती पर अपना हाथ रखे. यह बर्ताव पूरी तरह अस्वीकार्य है. सारा ने कहा, ‘यह रिपोर्टर के सहकर्मियों के लिए भी पूरी तरह अनादर की बात है कि उन्हें सवाल पूछने का मौका नहीं मिले.' उन्होंने दावा किया कि ट्रंप ने प्रेस को पहले के किसी भी राष्ट्रपति के कार्यकाल की तुलना में कहीं ज्यादा आजादी दी है. व्हाइट हाउस की प्रेस सचिव ने कहा, ‘सीएनएन की दलीलों के उलट, आजाद प्रेस के प्रति राष्ट्रपति के समर्थन का प्रदर्शन आज के कार्यक्रम से ज्यादा कुछ नहीं होगा. करीब डेढ़ घंटे में 35 अलग-अलग रिपोर्टरों से 68 सवाल लेने के बीच, आजाद प्रेस का समर्थन नहीं करने की बात कहकर वे राष्ट्रपति पर हमले बोलेंगे. इनमें कई सवाल तो उक्त रिपोर्टर के भी थे.'We stand by our decision to revoke this individual's hard pass. We will not tolerate the inappropriate behavior clearly documented in this video. pic.twitter.com/T8X1Ng912y
— Sarah Sanders (@PressSec) November 8, 2018
इस बीच, सीएनएन ने कहा कि ‘आज की प्रेस कांफ्रेंस में चुनौतीपूर्ण सवाल पूछने के कारण बदले की कार्रवाई करते हुए' अकोस्टा का पास निलंबित किया गया. यह अभूतपूर्व फैसला हमारे लोकतंत्र के लिए खतरा है और देश इससे बेहतर के काबिल है.' शाम करीब सात बजे अकोस्टा को सीक्रेट सर्विस के अधिकारियों ने व्हाइट हाउस में दाखिल होने से रोक दिया. व्हाइट हाउस संवाददाता संगठन के पूर्व अध्यक्ष जेफ मैसन ने व्हाइट हाउस के इस आरोप को खारिज किया कि अकोस्टा ने महिला इंटर्न पर अपना हाथ रखा था.
मैसन ने ट्वीट किया, ‘मैं आज की प्रेस कांफ्रेंस में अकोस्टा के ठीक बगल में बैठा था और उन्हें युवा इंटर्न पर अपना हाथ रखते नहीं देखा.' न्यूज एजेंसी रॉयटर्स के संवाददाता मैसन ने सीएनएन संवाददाता अकोस्टा का बचाव करते हुए कहा कि इंटर्न के आने तक अकोस्टा ने माइक पकड़ कर रखा और बाद में अपनी बात साबित करने के लिए प्रेस कांफ्रेंस की कुछ तस्वीरें डालीं. पिछले 22 साल से व्हाइट हाउस कवर कर रहे न्यूयॉर्क टाइम्स के पत्रकार पीटर बेकर ने कहा, ‘यह ऐसी चीज है जो मैंने 1996 में व्हाइट हाउस कवर करने की शुरुआत से लेकर अब तक नहीं देखी. दूसरे राष्ट्रपतियों को मुश्किल सवालों से डर नहीं लगता था.' व्हाइट हाउस संवाददाता संगठन ने यह भी कहा कि ऐसा फैसला ‘अस्वीकार्य' है. संगठन ने व्हाइट हाउस से ‘‘अपना फैसला तुंरत वापस लेने'' की अपील की.
संगठन के अध्यक्ष ओलिवियर नॉक्स ने कहा, ‘पत्रकार अपना काम करने के लिए कई तरीके अपना सकते हैं और व्हाइट हाउस संवाददाता संगठन राष्ट्रपति सहित ताकतवर सरकारी आला अधिकारियों से सवाल पूछने को लेकर अपने सदस्यों के लहजे पर नियंत्रण नहीं करता.' इस बीच, व्हाइट हाउस ने कहा कि वह अपने फैसले पर कायम है.
बता दें कि राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और अमेरिकी मीडिया के बीच रिश्तों में तल्खी पहले भी रही है, लेकिन यह कड़वाहट बुधवार को उस वक्त और बढ़ गई जब उन्होंने कुछ संवाददाताओं को ‘‘अशिष्ट'' करार दिया और पीबीएस की एक संवाददाता पर नस्लभेदी सवाल करने का आरोप लगाया. इस संवाददाता ने ट्रंप से श्वेत राष्ट्रवादियों के बारे में सवाल किया था.
(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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