वर्ष 2008 में मुंबई में हुए आतंकी हमले में अपंग हुए 33-वर्षीय एक ब्रिटिश नागरिक ने टाटा समूह पर ब्रिटेन की एक अदालत में मुकदमा करने का अधिकार हासिल किया है। टाटा समूह ताज महल पैलेस होटल का मालिक है।
टाटा समूह की कंपनी इंडियन होटल कंपनी लिमिटेड ने दलील दी थी कि विल पाइक नाम के इस व्यक्ति के दावे पर भारत में सुनवाई की जानी चाहिए, लेकिन लंदन में हाईकोर्ट के एक जज ने पाइक का तर्क स्वीकार करते हुए कहा कि भारतीय अदालतों में मामला निपटने में सालों लग सकते हैं। ताज होटल का परिचालन इंडियन होटल कंपनी ही करती है।
रॉयल कोर्ट्स ऑफ जस्टिस में फैसला सुनाते हुए न्यायमूर्ति स्टीवर्ट ने कहा, संक्षेप में कहें, तो मेरा अनुमान है कि भारत में इस मामले को हल होने में करीब 20 साल लग जाएंगे, इसलिए इस मामले में मुकदमा चलाने के लिए इंग्लैंड उचित फोरम है। इंडियन होटल कंपनी को इस फैसले के खिलाफ अपील करने का अधिकार दिया गया है और अब मामला अंतिम निर्णय के लिए अपील अदालत में जाएगा।
लंदन स्थित फ्रीलांस फिल्म निर्माता पाइक ने कहा, अपील की प्रक्रिया महज एक छोटा विलंब है। मैं इस फैसले से काफी राहत महसूस कर रहा हूं। यह सही दिशा में एक कदम जैसा लगता है। उन्होंने कहा, इसका मतलब है कि न्यायालय अपना काम करेगा। यदि यह मुकदमा भारत में होता, तो जाहिर तौर पर ऐसा नहीं हुआ होता। अब चाहे नतीजा जो भी आए, मैं कम से कम यह जान सकूंगा कि क्या होटल मेरी सुरक्षा एवं अन्य सभी की सुरक्षा सुनिश्चित कर सकता था या नहीं।
26 नवंबर, 2008 को मुंबई में घुसे लश्कर-ए-तैयबा के करीब 10 आतंकियों ने कहर बरपाया था और ताज होटल पर हमले के दौरान होटल की खिड़की से छलांग लगाने पर पाइक गंभीर रूप से घायल हो गया था। इस हमले में 166 लोग मारे गए थे और सैकड़ों घायल हुए थे।
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