पाकिस्तान के प्रधानमंत्री नवाज शरीफ ने आज पूर्व राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी से मुलाकात कर इमरान खान और मौलाना ताहिर उल कादरी के धरनों के कारण पैदा हुए राजनीतिक संकट को खत्म करने का रास्ता तलाशने पर बातचीत की।
पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) के प्रमुख जरदारी ने शरीफ से प्रधानमंत्री आवास पर मुलाकात की। दोनों ने किसी भी सूरत में लोकतंत्र की रक्षा करने का संकल्प लिया। यह भी फैसला किया गया है कि शरीफ इस्तीफा नहीं देंगे, जिसकी इमरान और कादरी मांग कर रहे है।
राजनीतिक संकट को खत्म करने के प्रयास के तहत जरदारी दक्षिणपंथी जमात-ए-इस्लामी के मुख्यालय भी गए और वहां इसके प्रमुख सिराजुल हक से मुलाकात की। करीब तीन दशक में ऐसा पहली बार हुआ कि पीपीपी का कोई प्रमुख जमात-ए-इस्लामी के मुख्यालय गया हो।
शरीफ-जरदारी की मुलाकात के बाद वित्त मंत्री इसहाक डार ने बताया कि जरदारी ने भरोसा दिलाया है कि वह संविधान और कानून के मुताबिक इस संकट का समाधान करने के लिए शरीफ का पूरा सहयोग करेंगे।
डार ने कहा, 'नवाज शरीफ ने जरदारी का अपने आवास पर स्वागत किया। जरदारी साहब ने मियां साहब को भरोसा दिया कि प्रदर्शनकारी दलों के साथ मुद्दों को हल करने में वह पूरी मदद करेंगे।'
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