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सोशल मीडिया पर मनमोहन सिंह पर बनी फिल्म को लेकर अनुपम खेर और हंसल मेहता में जंग
- Saturday December 28, 2024
- Written by: रोज़ी पंवार
2019 में भारत के पूर्व प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह पर एक फिल्म द एक्सीडेंटल प्राइम मिनिस्टर आई थी, जो संजय बारू द्वारा लिखी गई किताब द एक्सीडेंटल प्राइम मिनिस्टर: द मेकिंग एंड अनमेकिंग ऑफ मनमोहन सिंह पर आधारित थी.
- ndtv.in
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'द एक्सीडेंटल प्राइम मिनिस्टर' में मनमोहन सिंह का रोल निभाने से अनुपम खेर ने किया था मना! बोले- इसमें राजनीतिक वजह...
- Saturday December 28, 2024
- Edited by: रोज़ी पंवार
2019 में फिल्म 'द एक्सीडेंटल प्राइम मिनिस्टर' रिलीज हुई. पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह का किरदार अनुपम खेर ने निभाया था. पूर्व पीएम के निधन पर खेर दुखी हैं.
- ndtv.in
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ऑर्डर हुआ कैंसिल, तो डिलीवरी बॉय घर ले गया केक, खाने से बाद बच्चे की मौत, माता-पिता की हालत गंभीर : रिपोर्ट
- Wednesday October 9, 2024
- Edited by: अवधेश पैन्यूली
लड़के के पिता, बलराज, ऑनलाइन फूड डिलीवरी एक्जीक्यूटिव के रूप में काम करते हैं और एक ग्राहक द्वारा अपना ऑर्डर रद्द करने के बाद वे केक घर ले आए थे.
- ndtv.in
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न सुसाइड न मर्डर फिर कैसे गई अकेले शख्स की जान? ब्रिटिश पुलिस के हैरतअंगेज खुलासे में हादसे का बर्गर कनेक्शन
- Friday September 20, 2024
- Edited by: संज्ञा सिंह
इस अजीबोगरीब वाकए ने शुरू में यूके पुलिस को काफी छकाया. हालांकि, बाद में जासूसों की मदद से इस पेचीदे केस को सुलझाया जा सका.
- ndtv.in
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दोस्त को बंदूक दिखाने, फोटो खींचने के चक्कर में चली गोली, गई युवक की जान
- Tuesday December 6, 2016
- Reported by: NDTV इंडिया संवाददाता, Written by: विवेक रस्तोगी
ध्रुवराज के दोस्त ने पुलिस को बताया है कि कमरे के भीतर अचानक गोली चलने की आवाज़ आई, और जब दोस्त ने अंदर जाकर देखा, तो ध्रुवराज बुरा तरह खून से लथपथ था. चीख-पुकार सुनकर आसपास के लोग इकट्ठे हो गए, और ध्रुवराज को तुरंत अस्पताल ले जाया गया, जहां उसे मृत घोषित कर दिया गया.
- ndtv.in
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अब इंसान का नहीं, इंसानियत का मरना ही वायरल हो पाता है
- Friday August 26, 2016
- क्रांति संभव
सीसीटीवी के लेंस ने ही अब मौत को एक बड़ा कैनवस दिया है. इंसान का मरना नगण्य है, डाउन मार्केट है, लो व्यूअरशिप है, सोशल मीडिया पर ट्रैक्शन नहीं मिलता है. अब इंसानियत से नीचे की हत्या वायरल कैटगरी में आ ही नहीं सकती. इंसान एक निमित्त मात्र है, सीसीटीवी फ़ुटेज में विज़ुअल प्रूफ़ बनाने वाले किरदार के तौर पर. सीसीटीवी की सत्ता में इंसान को अपनी हैसियत समझनी होगी.
- ndtv.in
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सोशल मीडिया पर मनमोहन सिंह पर बनी फिल्म को लेकर अनुपम खेर और हंसल मेहता में जंग
- Saturday December 28, 2024
- Written by: रोज़ी पंवार
2019 में भारत के पूर्व प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह पर एक फिल्म द एक्सीडेंटल प्राइम मिनिस्टर आई थी, जो संजय बारू द्वारा लिखी गई किताब द एक्सीडेंटल प्राइम मिनिस्टर: द मेकिंग एंड अनमेकिंग ऑफ मनमोहन सिंह पर आधारित थी.
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'द एक्सीडेंटल प्राइम मिनिस्टर' में मनमोहन सिंह का रोल निभाने से अनुपम खेर ने किया था मना! बोले- इसमें राजनीतिक वजह...
- Saturday December 28, 2024
- Edited by: रोज़ी पंवार
2019 में फिल्म 'द एक्सीडेंटल प्राइम मिनिस्टर' रिलीज हुई. पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह का किरदार अनुपम खेर ने निभाया था. पूर्व पीएम के निधन पर खेर दुखी हैं.
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ऑर्डर हुआ कैंसिल, तो डिलीवरी बॉय घर ले गया केक, खाने से बाद बच्चे की मौत, माता-पिता की हालत गंभीर : रिपोर्ट
- Wednesday October 9, 2024
- Edited by: अवधेश पैन्यूली
लड़के के पिता, बलराज, ऑनलाइन फूड डिलीवरी एक्जीक्यूटिव के रूप में काम करते हैं और एक ग्राहक द्वारा अपना ऑर्डर रद्द करने के बाद वे केक घर ले आए थे.
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न सुसाइड न मर्डर फिर कैसे गई अकेले शख्स की जान? ब्रिटिश पुलिस के हैरतअंगेज खुलासे में हादसे का बर्गर कनेक्शन
- Friday September 20, 2024
- Edited by: संज्ञा सिंह
इस अजीबोगरीब वाकए ने शुरू में यूके पुलिस को काफी छकाया. हालांकि, बाद में जासूसों की मदद से इस पेचीदे केस को सुलझाया जा सका.
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दोस्त को बंदूक दिखाने, फोटो खींचने के चक्कर में चली गोली, गई युवक की जान
- Tuesday December 6, 2016
- Reported by: NDTV इंडिया संवाददाता, Written by: विवेक रस्तोगी
ध्रुवराज के दोस्त ने पुलिस को बताया है कि कमरे के भीतर अचानक गोली चलने की आवाज़ आई, और जब दोस्त ने अंदर जाकर देखा, तो ध्रुवराज बुरा तरह खून से लथपथ था. चीख-पुकार सुनकर आसपास के लोग इकट्ठे हो गए, और ध्रुवराज को तुरंत अस्पताल ले जाया गया, जहां उसे मृत घोषित कर दिया गया.
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अब इंसान का नहीं, इंसानियत का मरना ही वायरल हो पाता है
- Friday August 26, 2016
- क्रांति संभव
सीसीटीवी के लेंस ने ही अब मौत को एक बड़ा कैनवस दिया है. इंसान का मरना नगण्य है, डाउन मार्केट है, लो व्यूअरशिप है, सोशल मीडिया पर ट्रैक्शन नहीं मिलता है. अब इंसानियत से नीचे की हत्या वायरल कैटगरी में आ ही नहीं सकती. इंसान एक निमित्त मात्र है, सीसीटीवी फ़ुटेज में विज़ुअल प्रूफ़ बनाने वाले किरदार के तौर पर. सीसीटीवी की सत्ता में इंसान को अपनी हैसियत समझनी होगी.
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