पंजाब विधानसभा चुनाव 2017 : 'आप' का दावा है, 2,500 एनआरआई उन्हें जिताने के लिए लौटे हैं
लुधियाना:
राजवीर सिंह मान ने चार हफ्ते की छुट्टियों और दो साल की बचत का सदुपयोग करने के लिए कैलिफोर्निया से उड़ान पकड़ी, अपने 'घर' लुधियाना पहुंचे, और सीधे काम पर लग गए. आमतौर पर 32-वर्षीय राजवीर का कामकाजी दिन बायोटेक फर्म में शुरू होता है, लेकिन अब इन छुट्टियों में वह अपने ही जैसे अप्रवासी भारतीयों के साथ पंजाब में घर-घर जाकर आम आदमी पार्टी (आप) के लिए समर्थन तैयार कर रहे हैं, जहां एक चुनाव होने में एक महीने से भी कम समय रह गया है.
राजवीर सिंह मान ने NDTV से कहा, "विदेशों में सुशासन के अच्छे परिणाम हम देख चुके हैं, और हम यह नहीं मान सकते कि यहां भारत में भी ऐसा नहीं किया जा सकता..."
----- ----- ----- यह भी पढ़ें ----- ----- -----
आशुतोष का ब्लॉग : हज़ारों एनआरआई क्यों पंजाब में कर रहे हैं 'आप' के लिए प्रचार...
----- ----- ----- ----- ----- ----- ----- -----
वर्ष 2014 में हुए चुनाव में अप्रत्याशित रूप से पंजाब में चार लोकसभा सीटें जीतने वाली आम आदमी पार्टी ने अब विधानसभा चुनाव के लिए अपने मुखिया और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को राज्यभर में प्रचार की ज़िम्मेदारी सौंपी है, ताकि परंपरागत प्रतिद्वंद्वियों कांग्रेस व भारतीय जनता पार्टी तथा शिरोमणि अकाली दल गठबंधन (वर्तमान में बीजेपी-अकाली गठबंधन ही राज्य में सत्तासीन है) को हटाकर 'आप' को सरकार बनाने का मौका हासिल हो सके.
पार्टी का दावा है कि पंजाब से विदेशों में जाकर बसे 2,500 अप्रवासी भारतीय उन्हें वोट दिलवाने के लिए लौटे हैं, और वे इस बात के लिए दृढ़प्रतिज्ञ हैं कि उनके गृहराज्य की कमान इस बार 'आप' को ही मिले. ऐसे ही एक शख्स हैं हैरी धालीवाल, जिन्होंने लुधियाना में जनसभाएं करने की खातिर क्यूबा में परिवार के साथ छुट्टियां मनाने का कार्यक्रम रद्द कर दिया. वह कहते हैं, "37 साल पहले, मुझे अपना मुल्क छोड़ना पड़ा था, क्योंकि जो मूल्य मैंने यहां सीखे और अपनाए, उनके बदले सिस्टम ने कभी कुछ नहीं दिया... लेकिन जब कनाडा जाकर वही मूल्य मैंने खेत मज़दूर के रूप में अपनाए, मैं वहां आखिरकार एक जज बन सका..."
कनाडा के कैलगरी में काम करने वाले 45-वर्षीय करम सिंह सिद्धू का कहना है, "हर पांच में से एक पंजाबी विदेश में बसा हुआ है... अवसरों, नौकरियों और स्तरीय जीवन का अभाव लोगों को यहां से दूर ले जाता है... जो भी थोड़ा-बहुत हम अपने गांव के लिए कर सकते हैं, करते हैं, लेकिन वह काफी नहीं है..."
पिछले सप्ताह पार्टी मुखिया अरविंद केजरीवाल ने कहा था कि चुनाव लड़ने के लिए उनके पास संसाधनों की कमी है. इसके जवाब में बुधवार को कनाडा से पूरा विमान भरकर एनआरआई चंडीगढ़ पहुंच रहे हैं, ताकि केजरीवाल को वैसी मदद मिल सके, जैसी वह चाहते हैं.
राजवीर सिंह मान ने NDTV से कहा, "विदेशों में सुशासन के अच्छे परिणाम हम देख चुके हैं, और हम यह नहीं मान सकते कि यहां भारत में भी ऐसा नहीं किया जा सकता..."
----- ----- ----- यह भी पढ़ें ----- ----- -----
आशुतोष का ब्लॉग : हज़ारों एनआरआई क्यों पंजाब में कर रहे हैं 'आप' के लिए प्रचार...
----- ----- ----- ----- ----- ----- ----- -----
वर्ष 2014 में हुए चुनाव में अप्रत्याशित रूप से पंजाब में चार लोकसभा सीटें जीतने वाली आम आदमी पार्टी ने अब विधानसभा चुनाव के लिए अपने मुखिया और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को राज्यभर में प्रचार की ज़िम्मेदारी सौंपी है, ताकि परंपरागत प्रतिद्वंद्वियों कांग्रेस व भारतीय जनता पार्टी तथा शिरोमणि अकाली दल गठबंधन (वर्तमान में बीजेपी-अकाली गठबंधन ही राज्य में सत्तासीन है) को हटाकर 'आप' को सरकार बनाने का मौका हासिल हो सके.
पार्टी का दावा है कि पंजाब से विदेशों में जाकर बसे 2,500 अप्रवासी भारतीय उन्हें वोट दिलवाने के लिए लौटे हैं, और वे इस बात के लिए दृढ़प्रतिज्ञ हैं कि उनके गृहराज्य की कमान इस बार 'आप' को ही मिले. ऐसे ही एक शख्स हैं हैरी धालीवाल, जिन्होंने लुधियाना में जनसभाएं करने की खातिर क्यूबा में परिवार के साथ छुट्टियां मनाने का कार्यक्रम रद्द कर दिया. वह कहते हैं, "37 साल पहले, मुझे अपना मुल्क छोड़ना पड़ा था, क्योंकि जो मूल्य मैंने यहां सीखे और अपनाए, उनके बदले सिस्टम ने कभी कुछ नहीं दिया... लेकिन जब कनाडा जाकर वही मूल्य मैंने खेत मज़दूर के रूप में अपनाए, मैं वहां आखिरकार एक जज बन सका..."
'आप' को अपनी कुल फंडिंग का 20 फीसदी से ज़्यादा हिस्सा अप्रवासी भारतीयों से ही मिलता है
कनाडा के कैलगरी में काम करने वाले 45-वर्षीय करम सिंह सिद्धू का कहना है, "हर पांच में से एक पंजाबी विदेश में बसा हुआ है... अवसरों, नौकरियों और स्तरीय जीवन का अभाव लोगों को यहां से दूर ले जाता है... जो भी थोड़ा-बहुत हम अपने गांव के लिए कर सकते हैं, करते हैं, लेकिन वह काफी नहीं है..."
'आप' को अपनी कुल फंडिंग का 20 फीसदी से ज़्यादा हिस्सा अप्रवासी भारतीयों से ही मिलता है, और उन्होंने 'चलो पंजाब' कैम्पेन शुरू किया है, जिसमें वे अप्रवासी भारतीयों से न सिर्फ अपने पैसे पार्टी के लिए खर्च करने का आग्रह करते हैं, बल्कि अपना समय देने का भी अनुरोध करते हैं. जो हिन्दुस्तान आकर मदद नहीं कर सकते, वे भारत में रहने वालों मित्रों, जानकारों और रिश्तेदारों को फोन कॉल कर पार्टी के लिए समर्थन जुटाने का काम करते हैं.
पिछले सप्ताह पार्टी मुखिया अरविंद केजरीवाल ने कहा था कि चुनाव लड़ने के लिए उनके पास संसाधनों की कमी है. इसके जवाब में बुधवार को कनाडा से पूरा विमान भरकर एनआरआई चंडीगढ़ पहुंच रहे हैं, ताकि केजरीवाल को वैसी मदद मिल सके, जैसी वह चाहते हैं.
NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं
आम आदमी पार्टी, अरविंद केजरीवाल, पंजाब विधानसभा चुनाव 2017, आप समर्थक अप्रवासी भारतीय, कनाडा में एनआरआई, Aam Aadmi Party, Arvind Kejriwal, NRIs In Canada, Punjab Assembly Polls 2017, Punjab Elections 2017