अस्पताल (फाइल फोटो)
बैतूल:
मध्यप्रदेश में बैतूल के जिला अस्पताल पहुंची गर्भवती महिला को स्ट्रेचर के बजाय स्वास्थ्य कर्मी पैदल ही वार्ड ले जाने लगे, जिससे चलते प्रसव हो गया और नवजात के फर्श पर गिरने से मौत हो गई.
महिला ने वहां उपस्थित स्वास्थ्यकर्मियों से चलने में असमर्थता बताते हुए उनसे मांग की थी उसे स्ट्रेचर या व्हील चेयर में प्रसव कक्ष में ले जाया जाये, लेकिन इसके बावजूद भी उसे यह सुविधा उपलब्ध नहीं कराई गई.
बैतूल जिला अस्पताल के सिविल सर्जन डॉ. ए के बारंगा ने आज बताया कि घोड़ाडोंगरी निवासी नीलू वर्मा (25) अस्पताल में प्रसव कराने आई थी. प्रसव कक्ष की ओर पैदल चलते समय कल प्रसव होने और नवजात बच्चे के फर्श पर गिरने का मामला सामने आया है.
यह भी पढ़ें - प्रसव के लिए स्वास्थ्य केंद्र पहुंची महिला, खुले परिसर में ही करानी पड़ी डिलीवरी
उन्होंने कहा, ‘प्रसव पीड़ा होने के बावजूद महिला को स्ट्रेचर उपलब्ध नहीं करवाना और पैदल चलने के लिए विवश करना गंभीर लापरवाही है. पूरे मामले की जांच की जाएगी और जिस भी कर्मचारी की लापरवाही होगी, उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी.’ बारंगा ने बताया कि शव का पोस्टमॉर्टम करने के बाद उसके परिजनों को सौंप दिया गया है.
उन्होंने कहा कि पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट आने के बाद ही मौत के कारणों का खुलासा होगा.
वहीं, नीलू के पति विकास वर्मा ने आरोप लगाया, ‘यदि प्रसूता को एम्बुलेंस से ही स्ट्रेचर या व्हील चेयर पर ले जाते तो बच्चा नीचे नहीं गिरता और उसकी मौत नहीं होती। अस्पताल के कर्मचारियों की लापरवाही और अमानवीय रवैये से हमारी खुशियां मातम में बदल गई.’
VIDEO:खुले परिसर में बच्चे का जन्म
(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
महिला ने वहां उपस्थित स्वास्थ्यकर्मियों से चलने में असमर्थता बताते हुए उनसे मांग की थी उसे स्ट्रेचर या व्हील चेयर में प्रसव कक्ष में ले जाया जाये, लेकिन इसके बावजूद भी उसे यह सुविधा उपलब्ध नहीं कराई गई.
बैतूल जिला अस्पताल के सिविल सर्जन डॉ. ए के बारंगा ने आज बताया कि घोड़ाडोंगरी निवासी नीलू वर्मा (25) अस्पताल में प्रसव कराने आई थी. प्रसव कक्ष की ओर पैदल चलते समय कल प्रसव होने और नवजात बच्चे के फर्श पर गिरने का मामला सामने आया है.
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उन्होंने कहा, ‘प्रसव पीड़ा होने के बावजूद महिला को स्ट्रेचर उपलब्ध नहीं करवाना और पैदल चलने के लिए विवश करना गंभीर लापरवाही है. पूरे मामले की जांच की जाएगी और जिस भी कर्मचारी की लापरवाही होगी, उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी.’ बारंगा ने बताया कि शव का पोस्टमॉर्टम करने के बाद उसके परिजनों को सौंप दिया गया है.
उन्होंने कहा कि पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट आने के बाद ही मौत के कारणों का खुलासा होगा.
वहीं, नीलू के पति विकास वर्मा ने आरोप लगाया, ‘यदि प्रसूता को एम्बुलेंस से ही स्ट्रेचर या व्हील चेयर पर ले जाते तो बच्चा नीचे नहीं गिरता और उसकी मौत नहीं होती। अस्पताल के कर्मचारियों की लापरवाही और अमानवीय रवैये से हमारी खुशियां मातम में बदल गई.’
VIDEO:खुले परिसर में बच्चे का जन्म
(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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