उत्तर प्रदेश विधान सभा (Uttar Pradesh Assembly) का कार्यकाल समाप्त होने में अब छह महीने से भी कम समय बचा है, बावजूद इसके यूपी विधान सभा का कल विशेष सत्र बुलाया गया है ताकि सदन नए डिप्टी स्पीकर (Deputy Speaker) का चुनाव कर सके. BJP के समर्थित उम्मीदवार के तौर पर नरेश अग्रवाल के बेटे नितिन अग्रवाल (Nitin Agrawal) ने इस पद के लिए नामांकन दाखिल किया है. यूपी विधानसभा चुनाव अगले साल फरवरी -मार्च में हो सकता है. ऐसे में बीजेपी का यह कदम वैश्य समाज को लुभाने का सियासी संकेत भी माना जा रहा है.
वैसे परंपरा रही है कि विपक्ष को डिप्टी स्पीकर का पद मिलता है लेकिन नितिन अग्रवाल जो आधिकारिक तौर पर सपा के विधायक हैं, लेकिन वह भाजपा में शामिल हो चुके हैं, को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस पद का उम्मीदवार बनाया है. आज सीएम योगी आदित्यनाथ और अन्य मंत्रियों की मौजूदगी में ही नितिन अग्रवाल ने अपना नामांकन दाखिल किया.
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इस चुनाव में सपा ने भी एक उम्मीदवार को नामांकित किया है. इसलिए लड़ाई सपा बनाम सपा के रूप में रोचक हो गई है. वैसे नितिन अग्रवाल जीतते हैं तो उनकी जीत भाजपा द्वारा समर्थित सपा उम्मीदवार के रूप में होगी.
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नितिन अग्रवाल के पिता नरेश अग्रवाल सपा में लंबे समय तक रहे हैं. वह हरदोई से सात बार विधायक रह चुके हैं. सपा में रहते हुए वह राज्यसभा के लिए भी चुने जा चुके हैं. वह कांग्रेस में भी रह चुके हैं. फिलहाल वह भाजपा में हैं. अग्रवाल बनिया समुदाय से आते हैं. माना जा रहा है कि यूपी चुनावों से ऐन पहले नितिन अग्रवाल को डिप्टी स्पीकर बनाए जाने के पीछे का मकसद भी अग्रवाल समुदाय को खुश करना है.
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