पीएम मोदी की फाइल फोटो
नई दिल्ली:
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वित्तीय बचत एवं संसाधनों के बेहतर उपयोग के लिये लोकसभा एवं विधानसभाओं के लिए चुनाव एक साथ कराने पर व्यापक विचार विमर्श करने का आह्वान किया. नीति आयोग की बैठक को संबोधित करते हुए उन्होंने यह बात कही. गौरतलब है कि बैठक में 23 राज्यों के मुख्यमंत्री और एक लेफ्टिनेंट गर्वनर के अलावा कई केंद्रीय मंत्री और आयोग के सदस्य शामिल हुए. केंद्र सरकार पिछले कुछ समय से लोकसभा और विधानसभाओं के चुनाव एक साथ कराने का विचार रख रही है.
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इसका मकसद वित्तीय बचत और संसाधनों का बेहतर उपयोग सुनिश्चित करना है. बाद में संवाददाताओं को बैठक की जानकारी देते हुए नीति आयोग के उपाध्यक्ष राजीव कुमार ने कहा कि प्रधानमंत्री ने रेखांकित किया कि देश लगातार चुनाव मोड में रहता है. इस दौरान उन्होंनवे लोकसभा एवं विधानसभाओं के चुनाव एक साथ कराने की वकालत की. उन्होंने कहा कि इसकी शुरुआत सभी चुनावों के लिये एक वोटर लिस्ट से हो सकती है.
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नीति आयोग ने पिछले साल 2024 से दो चरण में लोकसभा और विधानसभा चुनाव एक साथ कराने का सुझाव दिया है ताकि चुनाव प्रचार से राजकाज बाधित नहीं हो. मोदी ने बैठक में अपने समापन भाषण में यह भी कहा कि कृषि क्षेत्र में कंपनियों का निवेश काफी कम है. पीएम मोदी ने राज्यों से कृषि क्षेत्र में उद्योग की भागीदारी बढ़ने के लिये नीति तैयार करने को कहा.
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अर्थव्यवस्था के विभिन्न पहलुओं पर अपनी बात रखते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि दुनिया भारत के जल्दी ही 5,000 अरब डालर की अर्थव्यवस्था बनने की उम्मीद कर रही है. उन्होंने राज्यों से प्रदर्शन आधारित आवंटन तथा व्यय में सुधार को प्रोत्साहन देने के लिये वित्त आयोग को सुझाव देने को कहा. (इनपुट भाषा से)
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इसका मकसद वित्तीय बचत और संसाधनों का बेहतर उपयोग सुनिश्चित करना है. बाद में संवाददाताओं को बैठक की जानकारी देते हुए नीति आयोग के उपाध्यक्ष राजीव कुमार ने कहा कि प्रधानमंत्री ने रेखांकित किया कि देश लगातार चुनाव मोड में रहता है. इस दौरान उन्होंनवे लोकसभा एवं विधानसभाओं के चुनाव एक साथ कराने की वकालत की. उन्होंने कहा कि इसकी शुरुआत सभी चुनावों के लिये एक वोटर लिस्ट से हो सकती है.
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नीति आयोग ने पिछले साल 2024 से दो चरण में लोकसभा और विधानसभा चुनाव एक साथ कराने का सुझाव दिया है ताकि चुनाव प्रचार से राजकाज बाधित नहीं हो. मोदी ने बैठक में अपने समापन भाषण में यह भी कहा कि कृषि क्षेत्र में कंपनियों का निवेश काफी कम है. पीएम मोदी ने राज्यों से कृषि क्षेत्र में उद्योग की भागीदारी बढ़ने के लिये नीति तैयार करने को कहा.
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अर्थव्यवस्था के विभिन्न पहलुओं पर अपनी बात रखते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि दुनिया भारत के जल्दी ही 5,000 अरब डालर की अर्थव्यवस्था बनने की उम्मीद कर रही है. उन्होंने राज्यों से प्रदर्शन आधारित आवंटन तथा व्यय में सुधार को प्रोत्साहन देने के लिये वित्त आयोग को सुझाव देने को कहा. (इनपुट भाषा से)
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