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This Article is From Dec 18, 2023

लोकसभा में हंगामे को लेकर सांसदों पर एक्शन, 33 सांसद सस्पेंड किए गए

Parliament Winter Session 2023: लोकसभा से सदन की अवमानना के मामले में पिछले हफ्ते निलंबित किए गए 13 सदस्यों में से कुछ ने सोमवार को संसद भवन की सीढ़ियों पर प्रदर्शन किया.

Parliament Winter Session: पिछले हफ्ते 13 सांसदों को लोकसभा से सस्पेंड किया गया था. 

नई दिल्ली:

Parliament Winter Session 2023: सदन की अवमानना के मामले में 30 सदस्यों को सत्र की शेष अवधि के लिए और तीन अन्य सदस्यों को विशेषाधिकार समिति की रिपोर्ट आने तक निलंबित किया गया है. सस्पेंड किए गए सांसदों में सांसद और लोकसभा में कांग्रेस संसदीय दल के नेता अधीर रंजन चौधरी भी शामिल हैं. संसद की सुरक्षा में चूक (Parliament Security Breach) को लेकर सोमवार को विपक्षी दलों ने लोकसभा और राज्यसभा में जमकर हंगामा किया. जिसके कारण लोकसभा स्पीकर ने ये एक्शन लिया. पिछले हफ्ते 13 सांसदों को लोकसभा से सस्पेंड किया गया था.

सदन में आसन की चेतावनी के बावजूद तख्तियां लहराने और सदन की अवमानना के मामले में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी, के. सुरेश एवं गौरव गोगोई, तृणमूल कांग्रेस सदस्य कल्याण बनर्जी, सौगत राय और प्रतिमा मंडल, द्रमुक सदस्य टी आर बालू, दयानिधि मारन और ए राजा, आरएसपी के एन के प्रेमचंद्रन सहित 30 सदस्यों को संसद सत्र की शेष अवधि के लिए निलंबित कर दिया गया.

लोकसभा के तीन और सदस्यों- के. जयकुमार, विजय वसंत और अब्दुल खालिक को विशेषाधिकार समिति की रिपोर्ट आने तक निलंबित किया गया है.

विपक्ष के शोर-शराबे के बीच ही सदन में भारतीय दूरसंचार विधेयक, 2023 पेश किया गया, साथ ही सदन ने डाकघर विधेयक, 2023 को ध्वनिमत से मंजूरी दे दी,

सदन की बैठक विपक्ष की नारेबाजी के कारण चार बार के स्थगन के बाद अपराह्न तीन बजे पुन: शुरू हुई तो संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी ने 30 विपक्षी सदस्यों को शेष सत्र के लिए निलंबित किये जाने का प्रस्ताव रखा, जिसे सदन ने ध्वनिमत से पारित किया. इसके बाद पीठासीन सभापति राजेंद्र अग्रवाल ने कार्यवाही दिनभर के लिए स्थगित कर दी. 

विपक्ष का रवैया गैर जिम्मेदाराना: केंद्रीय मंत्री एसपी सिंह बघेल

लोकसभा सांसदों को क्यों निलंबित किया गया इस पर केंद्रीय मंत्री एसपी सिंह बघेल ने कहा कि विपक्षी सांसद पिछले चार दिनों से लगातार लोकसभा में जनकल्याण से जुड़े विधायक को रोकने की कोशिश कर रहे थे, हंगामा कर रहे थे. इसीलिए उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई करनी पड़ी है. विपक्ष का रवैया गैर जिम्मेदाराना है.

निलंबित सदस्यों ने किया प्रदर्शन

लोकसभा से सदन की अवमानना के मामले में पिछले हफ्ते निलंबित किए गए 13 सदस्यों में से कुछ ने सोमवार को संसद भवन की सीढ़ियों पर प्रदर्शन किया और संसद की सुरक्षा में चूक के मुद्दे पर गृहमंत्री अमित शाह के बयान की मांग की. कांग्रेस सांसद मोहम्मद जावेद, हिबी इडेन, बेनी बेहनन, डीन कुरियाकोस और माकपा सदस्य एस वेंकटेशन ने संसद भवन के मकर द्वार की सीढ़ियों पर बैठकर सरकार के खिलाफ प्रदर्शन किया. उनके हाथों में तख्तियां भी थीं.

जावेद ने कहा कि वह इस विरोध प्रदर्शन के माध्यम से यह संदेश देना चाहते हैं कि 13 दिसंबर की घटना सुरक्षा में चूक की गंभीर घटना थी और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को सदन में इस बारे में बयान देकर जनता को बताना चाहिए था कि ऐसा क्यों हुआ.

उन्होंने ‘पीटीआई-भाषा' से कहा कि भाजपा नेताओं ने नए संसद भवन की तारीफ की थी और दावा किया था कि यह पूरी तरह सुरक्षित है. उन्होंने कहा कि चार महीने भी नहीं हुए हैं और लोकसभा में घुसपैठिए आ गए, इससे बड़ी सुरक्षा चूक क्या हो सकती है.

जावेद ने कहा, ‘‘प्रधानमंत्री या गृहमंत्री अमित शाह को सदन में बयान देना चाहिए.''

सांसदों के निलंबन पर जावेद ने कहा, ‘‘हमने साढ़े चार साल में देखा है कि जब भी किसी ने प्रधानमंत्री, गृहमंत्री, आडवाणी से जवाब देने को कहा है तो निलंबन तो छोटी चीज है, सदस्यता तक समाप्त की जा रही है. ऐसा हमने राहुल गांधी के मामले में देखा.''

संसद भवन में प्रवेश करते समय और वहां से निकलते समय कई विपक्षी सांसदों ने निलंबित सदस्यों के प्रति समर्थन जताया और उनके साथ तस्वीर खिंचाईं.

संसद की सुरक्षा में चूक की बड़ी घटना उस वक्त सामने आई जब गत 13 दिसंबर को लोकसभा की कार्यवाही के दौरान दर्शक दीर्घा से दो लोग सदन के भीतर कूद गए और ‘केन' के जरिये पीले रंग का धुआं फैला दिया. घटना के तत्काल बाद दोनों को पकड़ लिया गया.

सरकार और लोकसभा अध्यक्ष दोनों का कहना है कि संसद परिसर की सुरक्षा की जिम्मेदारी लोकसभा सचिवालय की है.

गत सप्ताह बृहस्पतिवार को लोकसभा में कांग्रेस के वीके श्रीकंदन, बेनी बेहनन, मोहम्मद जावेद, मणिकम टैगोर, टी एन प्रतापन, हिबी इडेन, जोतिमणि, रम्या हरिदास और डीन कुरियाकोस, द्रमुक की कनिमोई, प्रतिबन, माकपा के एस वेंकटेशन और पी आर नटराजन तथा भाकपा के के. सु्ब्बारायन को सदन की अवमानना के मामले में संसद सत्र की शेष अवधि के लिए निलंबित कर दिया गया था. (भाषा इनपुट के साथ)

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