ज्योतिरादित्य सिंधिया और वसुंधरा राजे सिंधिया
नई दिल्ली:
पांच राज्यों के विधानसभा चुनावों की 'गर्मी' के बीच उत्तराखंड से जुड़ी एक महत्वपूर्ण खबर 'दबकर' रह गई। राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री विजय बहुगुणा ने कांग्रेस का दामन छोड़कर बीजेपी से नाता जोड़ लिया। विजय बहुगुणा उत्तराखंड में कांग्रेस के प्रमुख नेताओं में से रहे हैं और उनकी बहन रीता बहुगुणा जोशी इस समय उत्तरप्रदेश में कांग्रेस की प्रमुख नेताओं में हैं। नए राजनीतिक रिश्ते के बाद अब विजय बहुगुणा बीजेपी के सदस्य हैं तो उनकी बहन रीता कांग्रेस की। राजनीति की बिसात में यह पहली बार नहीं है जब परिवार का एक सदस्य एक पार्टी से जुड़ा है तो दूसरा उसकी प्रबल विरोधी पार्टी से। आइए डालते हैं अलग-अलग पार्टियों से निष्ठा रखने वाले ऐसे खास राजनीतिक दिग्गजों पर नजर...
बुआ बीजेपी में और भतीजा ज्योतिरादित्य कांग्रेस में
ग्वालियर का मशहूर सिंधिया परिवार अलग-अलग राजनीतिक पार्टियों के प्रति निष्ठा जताने के लिए मशहूर रहा है। इसकी शुरुआत विजया राजे सिंधिया और उनके बेटे माधवराव सिंधिया से हुई। जहां मां विजया राजे जनसंघ, जनता पार्टी और फिर बीजेपी की प्रमुख नेताओं में रहीं, वहीं सियासी करियर की शुरुआत जनसंघ से करने वाले माधवराव जल्द ही कांग्रेस से जुड़ गए और ताउम्र इसी पार्टी में रहे। हवाला मामले के चलते कुछ समय के लिए जरूर उन्होंने कांग्रेस से अलग पार्टी बनाई लेकिन दिल से कांग्रेसी ही रहे। वर्तमान में यह परंपरा विजया राजे सिंधिया की बेटियों वसुंधरा राजे और यशोधरा राजे और माधवराव के बेटे ज्योतिरादित्य के रूप में बरकरार है। बीजेपी की सदस्य वसुंधरा राजे अटलजी के समय केंद्र सरकार में मंत्री रह चुकी हैं और इस समय राजस्थान की सीएम हैं। वसुंधरा की बहन यशोधरा राजे मप्र में शिवराज सिंह सरकार में मंत्री हैं जबकि ज्योतिरादित्य कांग्रेस पार्टी से जुड़े हैं।
पति पप्पू यादव और पत्नी रंजीता रंजन अलग-अलग पार्टी से सांसद
बिहार के बाहुबली सांसद राजेश रंजन उर्फ पप्पू यादव और उनकी पत्नी रंजीत यादव का नाम भी इस मामले में लिया जा सकता है। 2014 के लोकसभा चुनाव में पप्पू, लालू यादव की पार्टी राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी) के टिकट पर मधेपुरा से चुनाव जीते जबकि उनकी पत्नी रंजीत रंजन ने कांग्रेस के टिकट पर सुपौल से चुनाव जीता। पप्पू ने तो जेडीयू के दिग्गज नेता शरद यादव को शिकस्त दी थी। बहरहाल चुनाव जीतने के बाद पप्पू की ज्यादा समय तक लालू यादव से पटरी नहीं बैठी। लालू विरोधी बयानबाजी के कारण उन्हें जल्द ही आरजेडी से निष्कासित कर दिया गया। इसके बाद पप्पू ने नई पार्टी जन अधिकार पार्टी का गठन किया और बिहार विधानसभा चुनाव में लालू-नीतीश और कांग्रेस के महागठबंधन के खिलाफ प्रत्याशी उतारे।
मां बीजेपी की पार्षद और बेटा 'आप' सरकार में है मंत्री दिल्ली के मंत्री कपिल मिश्रा और उनकी मां अन्नपूर्णा मिश्रा
दिल्ली विधानसभा चुनाव में आम आदमी पार्टी (आप) के हाथों मिली करारी हार बीजेपी अभी तक नहीं भूल पाई है। 'आप' इन दिनों बीजेपी के खिलाफ हमलावर रुख अख्तियार किए हुए है लेकिन दिल्ली में भाजपा की एक महिला नेता का बेटा आप सरकार में मंत्री का पद संभाल रहा है। जी हां..यहां बात हो रही है डॉ. अन्नपूर्णा मिश्रा और उनके बेटे कपिल मिश्रा। अन्नपूर्णा मिश्रा वर्ष 2012-2013 में पूर्वी दिल्ली की मेयर रही और इस समय बीजेपी पार्षद हैं। दूसरी ओर कपिल मिश्रा, दिल्ली की अरविंद केजरीवाल सरकार में पर्यटन और संस्कृति मंत्री का ओहदा संभाल रहे हैं।
बड़े भाई नमो नारायण कांग्रेस में हैं, छोटे भाई हरिश्चंद्र हैं बीजेपी सांसद
लोकसभा चुनाव के दौरान राजस्थान की दौसा सीट से दो भाई चुनावी समर में आमने-सामने थे। इनमें से छोटे भाई हरिश्चंद मीणा इस समय बीजेपी से जुड़े हैं जबकि बड़े भाई नमोनारायण कांग्रेस के सदस्य हैं। बीजेपी ने राज्य के पूर्व डीजीपी हरिश्चंद्र मीणा को प्रत्याशी बनाया था, वहीं कांग्रेस ने उनके सगे भाई और पूर्व केंद्रीय मंत्री नमोनारायण मीणा पर दांव लगाया था। दो भाइयों के बीच का यह मुकाबला बेहद सुर्खियों में रहा था। अपने भाई के खिलाफ मुकाबले में उतरने को लेकर उम्र में बड़े नमोनारायण ने तब कहा था, 'मेरे चुनाव लड़ने से सामाजिक व पारिवारिक रिश्तों पर कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा। कांग्रेस ने मुझ पर निष्ठा प्रकट की है। प्रजातांत्रिक प्रक्रिया में इस बात से कोई फर्क नहीं पड़ता है कि सामने कौन चुनाव लड़ रहा है।' वैसे नरेंद्र मोदी की लहर के बीच इस चुनाव में जीत छोटे भाई हरिश्चंद्र के खाते में आई थी।
'गांधी परिवार' को भी इस सूची में शुमार किया जा सकता है। पूर्व प्रधानमंत्री (स्वर्गीय )राजीव गांधी की पत्नी सोनिया गांधी और उनके पुत्र राहुल गांधी इस समय कांग्रेस पार्टी के क्रमश: अध्यक्ष और उपाध्यक्ष हैं जबकि उनके छोटे भाई स्वर्गीय संजय गांधी की पत्नी मेनका गांधी और पुत्र वरुण गांधी बीजेपी से सांसद हैं। मेनका तो नरेंद्र मोदी सरकार में मंत्री भी हैं। इसी तरह केंद्रीय दूरसंचार मंत्री रविशंकर प्रसाद और राजीव शुक्ला रिश्तेदार होने के बावजूद अलग-अलग पार्टी का प्रतिनिधित्व करते हैं। रविशंकर की बहन अनुराधा प्रसाद का विवाह कांग्रेस सांसद राजीव शुक्ला से हुआ है। राजीव मनमोहन सिंह सरकार में मंत्री पद भी संभाल चुके हैं।
बुआ बीजेपी में और भतीजा ज्योतिरादित्य कांग्रेस में
ग्वालियर का मशहूर सिंधिया परिवार अलग-अलग राजनीतिक पार्टियों के प्रति निष्ठा जताने के लिए मशहूर रहा है। इसकी शुरुआत विजया राजे सिंधिया और उनके बेटे माधवराव सिंधिया से हुई। जहां मां विजया राजे जनसंघ, जनता पार्टी और फिर बीजेपी की प्रमुख नेताओं में रहीं, वहीं सियासी करियर की शुरुआत जनसंघ से करने वाले माधवराव जल्द ही कांग्रेस से जुड़ गए और ताउम्र इसी पार्टी में रहे। हवाला मामले के चलते कुछ समय के लिए जरूर उन्होंने कांग्रेस से अलग पार्टी बनाई लेकिन दिल से कांग्रेसी ही रहे। वर्तमान में यह परंपरा विजया राजे सिंधिया की बेटियों वसुंधरा राजे और यशोधरा राजे और माधवराव के बेटे ज्योतिरादित्य के रूप में बरकरार है। बीजेपी की सदस्य वसुंधरा राजे अटलजी के समय केंद्र सरकार में मंत्री रह चुकी हैं और इस समय राजस्थान की सीएम हैं। वसुंधरा की बहन यशोधरा राजे मप्र में शिवराज सिंह सरकार में मंत्री हैं जबकि ज्योतिरादित्य कांग्रेस पार्टी से जुड़े हैं।
पति पप्पू यादव और पत्नी रंजीता रंजन अलग-अलग पार्टी से सांसद
सांसद पप्पू यादव और उनकी पत्नी रंजीत रंजन
बिहार के बाहुबली सांसद राजेश रंजन उर्फ पप्पू यादव और उनकी पत्नी रंजीत यादव का नाम भी इस मामले में लिया जा सकता है। 2014 के लोकसभा चुनाव में पप्पू, लालू यादव की पार्टी राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी) के टिकट पर मधेपुरा से चुनाव जीते जबकि उनकी पत्नी रंजीत रंजन ने कांग्रेस के टिकट पर सुपौल से चुनाव जीता। पप्पू ने तो जेडीयू के दिग्गज नेता शरद यादव को शिकस्त दी थी। बहरहाल चुनाव जीतने के बाद पप्पू की ज्यादा समय तक लालू यादव से पटरी नहीं बैठी। लालू विरोधी बयानबाजी के कारण उन्हें जल्द ही आरजेडी से निष्कासित कर दिया गया। इसके बाद पप्पू ने नई पार्टी जन अधिकार पार्टी का गठन किया और बिहार विधानसभा चुनाव में लालू-नीतीश और कांग्रेस के महागठबंधन के खिलाफ प्रत्याशी उतारे।
मां बीजेपी की पार्षद और बेटा 'आप' सरकार में है मंत्री
दिल्ली विधानसभा चुनाव में आम आदमी पार्टी (आप) के हाथों मिली करारी हार बीजेपी अभी तक नहीं भूल पाई है। 'आप' इन दिनों बीजेपी के खिलाफ हमलावर रुख अख्तियार किए हुए है लेकिन दिल्ली में भाजपा की एक महिला नेता का बेटा आप सरकार में मंत्री का पद संभाल रहा है। जी हां..यहां बात हो रही है डॉ. अन्नपूर्णा मिश्रा और उनके बेटे कपिल मिश्रा। अन्नपूर्णा मिश्रा वर्ष 2012-2013 में पूर्वी दिल्ली की मेयर रही और इस समय बीजेपी पार्षद हैं। दूसरी ओर कपिल मिश्रा, दिल्ली की अरविंद केजरीवाल सरकार में पर्यटन और संस्कृति मंत्री का ओहदा संभाल रहे हैं।
बड़े भाई नमो नारायण कांग्रेस में हैं, छोटे भाई हरिश्चंद्र हैं बीजेपी सांसद
लोकसभा चुनाव के दौरान राजस्थान की दौसा सीट से दो भाई चुनावी समर में आमने-सामने थे। इनमें से छोटे भाई हरिश्चंद मीणा इस समय बीजेपी से जुड़े हैं जबकि बड़े भाई नमोनारायण कांग्रेस के सदस्य हैं। बीजेपी ने राज्य के पूर्व डीजीपी हरिश्चंद्र मीणा को प्रत्याशी बनाया था, वहीं कांग्रेस ने उनके सगे भाई और पूर्व केंद्रीय मंत्री नमोनारायण मीणा पर दांव लगाया था। दो भाइयों के बीच का यह मुकाबला बेहद सुर्खियों में रहा था। अपने भाई के खिलाफ मुकाबले में उतरने को लेकर उम्र में बड़े नमोनारायण ने तब कहा था, 'मेरे चुनाव लड़ने से सामाजिक व पारिवारिक रिश्तों पर कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा। कांग्रेस ने मुझ पर निष्ठा प्रकट की है। प्रजातांत्रिक प्रक्रिया में इस बात से कोई फर्क नहीं पड़ता है कि सामने कौन चुनाव लड़ रहा है।' वैसे नरेंद्र मोदी की लहर के बीच इस चुनाव में जीत छोटे भाई हरिश्चंद्र के खाते में आई थी।
'गांधी परिवार' को भी इस सूची में शुमार किया जा सकता है। पूर्व प्रधानमंत्री (स्वर्गीय )राजीव गांधी की पत्नी सोनिया गांधी और उनके पुत्र राहुल गांधी इस समय कांग्रेस पार्टी के क्रमश: अध्यक्ष और उपाध्यक्ष हैं जबकि उनके छोटे भाई स्वर्गीय संजय गांधी की पत्नी मेनका गांधी और पुत्र वरुण गांधी बीजेपी से सांसद हैं। मेनका तो नरेंद्र मोदी सरकार में मंत्री भी हैं। इसी तरह केंद्रीय दूरसंचार मंत्री रविशंकर प्रसाद और राजीव शुक्ला रिश्तेदार होने के बावजूद अलग-अलग पार्टी का प्रतिनिधित्व करते हैं। रविशंकर की बहन अनुराधा प्रसाद का विवाह कांग्रेस सांसद राजीव शुक्ला से हुआ है। राजीव मनमोहन सिंह सरकार में मंत्री पद भी संभाल चुके हैं।
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