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Gujarat Earthquake: गुजरात के कच्छ में कांपी धरती, रिक्टर स्केल पर 4.4 रही भूकंप की तीव्रता; तड़के नींद में सहम गए लोग

इस भूकंप का केंद्र जमीन से महज 10 किलोमीटर की गहराई पर था, और सतह के करीब होने की वजह से ही लोगों को इसके झटके काफी जोरदार और स्पष्ट महसूस हुए.

Gujarat Earthquake: गुजरात के कच्छ में कांपी धरती, रिक्टर स्केल पर 4.4 रही भूकंप की तीव्रता; तड़के नींद में सहम गए लोग
भूकंप के झटकों से दहला कच्छ: तड़के 4:30 बजे महसूस हुई तेज थरथराहट, रिक्टर स्केल पर 4.4 मापी गई तीव्रता (फाइल फोटो)

Gujarat News: गुजरात के कच्छ (Kachchh) जिले में आज तड़के भूकंप (Earthquake) के तेज झटके महसूस किए गए. नेशनल सेंटर फॉर सीस्मोलॉजी (NCS) के अनुसार, शुक्रवार सुबह करीब 4:30 बजे आए इस भूकंप ने लोगों को गहरी नींद से जगा दिया. रिक्टर स्केल पर इस भूकंप की तीव्रता 4.4 मापी गई है. कच्छ, जो पहले से ही भूकंप के लिहाज से बेहद संवेदनशील (Seismic Zone 5) माना जाता है, वहां सुबह-सुबह आए इन झटकों के बाद लोग डर के मारे अपने घरों से बाहर निकल आए.

जमीन से 10 KM नीचे था भूकंप का केंद्र

नेशनल सेंटर फॉर सीस्मोलॉजी (NCS) ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म 'X' पर इस भूकंप की डिटेल्ड जानकारी साझा की है. पोस्ट के मुताबिक, इस भूकंप का केंद्र जमीन से महज 10 किलोमीटर की गहराई पर था, और सतह के करीब होने की वजह से ही लोगों को इसके झटके काफी जोरदार और स्पष्ट महसूस हुए.

कच्छ में दहशत का माहौल

भले ही रिक्टर स्केल पर 4.4 की तीव्रता को 'मध्यम' माना जाता है, लेकिन कच्छ के इतिहास और वहां साल 2001 में आई भीषण तबाही की यादें आज भी लोगों के जेहन में ताजा हैं. तड़के जब घरों के दरवाजे और खिड़कियां खड़खड़ाने लगीं, तो लोग किसी अनहोनी की आशंका में खुले मैदानों की ओर भागे. फिलहाल, किसी बड़े जान-माल के नुकसान की तत्काल कोई खबर नहीं मिली है, लेकिन प्रशासन स्थिति का जायजा ले रहा है.

रिक्टर स्केल के नंबर का मतलब

रिक्टर स्केल के नंबर से हम भूकंप की भयावहता का अंदाजा लगा सकते हैं.

0 - 1.9 - महसूस नहीं होता. केवल मशीनों (सीस्मोग्राफ) पर पता चलता है.

2.0 - 2.9 - बहुत हल्का कंपन होता है. ज्यादातर लोग इसे महसूस नहीं कर पाते.

3.0 - 3.9 - पंखे या झूमर हिल सकते हैं. ऐसा लगता है जैसे पास से कोई भारी ट्रक गुजरा हो.

4.0 - 4.9 - खिड़कियां बजने लगती हैं और दीवारों पर टंगी फोटो फ्रेम गिर सकती हैं. मामूली नुकसान संभव.

5.0 - 5.9 - फर्नीचर हिलने लगता है. कमजोर और कच्ची इमारतों में दरारें आ सकती हैं.

6.0 - 6.9 - आबादी वाले इलाकों में भारी नुकसान हो सकता है. पुरानी इमारतें गिर सकती हैं और नींव दरक सकती हैं.

7.0 - 7.9 - इमारतों का गिरना शुरू हो जाता है. जमीन फटने और पाइपलाइन टूटने जैसी घटनाएं होती हैं.

8.0 - 8.9 - पुल, बड़े टावर और मजबूत इमारतें भी जमींदोज हो जाती हैं. सैकड़ों किमी तक तबाही मच सकती है.

9.0 या अधिक - पूरी तरह तबाही का संकेत. जमीन लहरों की तरह हिलती दिखती है और समुद्र के पास हो तो सुनामी आती है.

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