प्रयागराज के बहुचर्चित राजू पाल हत्याकांड के मुख्य गवाह उमेश पाल और उसके सुरक्षाकर्मी संदीप निषाद की शुक्रवार शाम गोली मारकर हत्या मामले में आज विधानसभा में जमकर हंगामा हुआ. इस पर जवाब देते हुए उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि सहमति और असहमति होती रहेगी मगर अपराधियों को किसने बढ़ाया? ये जो अपराधी और माफिया हैं, आखिर ये पाले किसके द्वारा गए हैं? क्या ये सच नहीं है कि जिसके खिलाफ FIR दर्ज है, उन्हें सपा ने सांसद बनाया था? आप अपराधी को पालेंगे और उसके बाद आप तमाशा बनाते हैं. हम इस माफिया को मिट्टी में मिला देंगे.
इससे पहले समाजवादी पार्टी के प्रमुख अखिलेश यादव ने कहा था उत्तर प्रदेश में इस तरह से गोली चलना, बम चलना और गैंगवार की तरह दिखना, ये सरकार पूरी तरह से विफल हुई है. ये रामराज्य है, जहां खुलेआम बंदुकें चल रही हैं? पुलिस पूरी तरह से विफल है और इसकी जिम्मेदार भाजपा है.
योगी आदित्यनाथ ने कहा कि जिस प्रकार से कुछ लोगों ने रामचरित मानस को फाड़ने का प्रयास किया, अगर ये किसी और धर्म के साथ हुआ होता तो क्या स्थिति होती? इसका मतलब जिसकी मर्जी आए वो हिंदुओं का अपमान कर लें? आप क्या पूरे समाज को अपमानित करना चाहते हैं?
आपको बता दें कि राजू पाल बहुजन समाज पार्टी के विधायक थे और 2005 में उनकी हत्या कर दी गई थी. उमेश पाल उस हत्याकांड के मुख्य गवाह थे. राजू पाल की हत्या में मुख्य आरोपी माफिया अतीक अहमद है, जो गुजरात की एक जेल में निरुद्ध है. सूत्रों के मुतबिक पुलिस ने अतीक़ अहमद की पत्नी शाइस्ता परवीन से भी इस मामले में पूछताछ की है. अतीक़ के दो बेटों सहित एक दर्जन से पुलिस हिरासत में पूछताछ जारी है. साथ ही अतीक़ अहमद गैंग के कई शूटरों पर पुलिस की नज़र है. इस घटना में पूर्वांचल के शूटर्स के शामिल होने की आशंका जताई जा रही है. सीसीटीवी फुटेज में दिखे शूटर्स में एक शूटर की शक्ल लोकल शूटर से मेल खा रही है.
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