जनलोकपाल बिल की मांग को लेकर समाजसेवी अन्ना हजारे आज फिर से अनशन पर बैठ गए हैं। इस बार वह अपने गांव रालेगण सिद्धी में ही अनशन कर रहे हैं। अन्ना के उपवास की टाइमिंग कांग्रेस को और परेशान कर सकती है। संसद का सत्र चल रहा है और अन्ना कांग्रेस की वादाखिलाफी याद दिला रहे हैं।
अन्ना हजारे ने कांग्रेस पर 'विश्वासघात' करने का आरोप लगाते हुए कहा है कि यूपीए सरकार के अपने वादे को पूरा करने या सत्ता से जाने का वक्त आ गया है।
अन्ना ने कहा कि अनियंत्रित भ्रष्टाचार के चलते चार राज्यों के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस अच्छा प्रदर्शन नहीं कर पाई। उन्होंने कहा, चार राज्यों के विधानसभा चुनाव से यह जाहिर हो गया है कि लोग कांग्रेस के नेतृत्व वाले मौजूदा सत्तारूढ़ गठबंधन से खासतौर पर अनियंत्रित भ्रष्टाचार, जनलोकपाल विधेयक को पारित नहीं करने और आम आदमी को प्रभावित करने वाले मूलभूत मुद्दों को लेकर गुस्से में हैं।
अन्ना ने कहा कि उन्हें प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह और यूपीए अध्यक्ष सोनिया गांधी से भ्रष्टाचार रोधी विधेयक को पारित करने का भरोसा दिलाने वाले पत्र मिले थे, लेकिन उन्होंने ऐसा नहीं किया। देश में भ्रष्टाचार को समाप्त करने के लिए केंद्र के पास इच्छाशक्ति की कमी है और अपने वादे को पूरा करने या सत्ता से हटने का सरकार के पास वक्त आ गया है। हजारे ने कहा कि जब प्रधानमंत्री साम्प्रदायिक हिंसा विधेयक संसद में पारित करने का संकल्प कर सकते हैं, तो वह काफी समय से लंबित भ्रष्टाचार रोधी विधेयक के लिए ऐसा क्यों नहीं करते।
(इनपुट एजेंसियों से भी)
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