सांगली के वालवा तहसील में इन दिनों एक बैल का नाम सबकी जुबान पर है. उसका नाम है 'सोन्या'. कलमवाड़ी गांव के सोन्या को हांकने की जरूरत नहीं पड़ती. वो खुद ही दूध लदी गाड़ी लेकर डेरी तक जाता है और फिर खाली केन वापस घर तक ले आता है. तकरीबन 3 किलोमीटर की दूरी सोन्या रोजाना 2 बार तय करता है. एक बार सुबह और फिर दुसरी बार शाम को. सोन्या के मालिक शिवाजी सालुंखे का कहना है कि सोन्या पैदा ही उनके घर की गाय से हुआ है. तभी से वो इस कदर घुल मिल गया है कि उसे हांकने की जरूरत ही नही पड़ती. सालुंखे के मुताबिक वो 4 भाई हैं लेकिन उनके पिता सोन्या को उनका 5वां बेटा कहते हैं.
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सालुंखे के मुताबिक उन की 10 एकड़ जमीन है. उनके पास कुल 40 पशु हैं जिसमें गाय, भैंस, बैल सभी हैं. लेकिन सोन्या उन सबसे हट के है. सोन्या की उम्र 10 साल है. वो अक्सर उसे बैलगाड़ी के जोत कर दूध डेरी जाया करते थे. एक दिन जब वो बैल गाड़ी पर दूध के केन लाद कर चारा लेने रुक गए तब सोन्या अकेले ही डेरी की तरफ निकल गया. उसके बाद से तो ये रोज का काम हो गया. 200 लीटर दूध वो रोजाना दो बार डेरी में खुद ही ले जाता है. कलमवाड़ी गांव के निवासी प्रताप शिंदे का कहना है सोन्या अब उनके गांव की शान बन गया है. अगर किसी दिन उसे देर हो जाती है तो गांव वाले चिंतित हो जाते हैं.
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खास बात है कि रास्ते में कोई बड़ी कार या गाड़ी आ जाती है तो सोन्या खुद ही बगल एक तरफ रुक जाता है. फिर कार के चले जाने के बाद वापस बैलगाड़ी खींच आगे बढ़ जाता है. साधारण सा बैल अपने असाधारण करतब की वजह से गांव का सेलिब्रिटी हो गया है. लोग उसका विडियो तो बनाते ही हैं उसके साथ फोटो भी खिंचवाते है.
(रॉबिन डेविड के इनपुट के साथ)
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