लखनऊ: बसपा प्रमुख मायावती ने गुजरात सरकार की किताबों में बाबा साहेब भीमराव अंबेडकर के गलत नारे को पढ़ाए जाने का आरोप लगाया है. उन्होंने शनिवार को कहा कि यह कांग्रेस की तरह बीजेपी के दलित विरोधी चेहरे को उजागर करता है. उन्होंने इसमें तत्काल सुधार करने की मांग की है. मायावती ने ट्वीट कर कहा कि ''शिक्षित बनो, संघर्ष करो, संगठित रहो' बाबा साहेब डा आंबेडकर का वह अमर वाक्य है जो करोड़ों दलितों व पिछड़ों को आगे बढ़ने की प्रेरणा व शक्ति देता है पर गुजरात सरकार की पुस्तक में उसे गलत पढ़ाया जा रहा है जो कांग्रेस की तरह बीजेपी के आंबेडकर व दलित-विरोधी चेहरे को बेनकाब करता है.''
एक अन्य ट्वीट में मायावती ने कहा ''दलित अत्याचार व उत्पीड़न के जघन्य अपराधों के साथ-साथ गुजरात बीजेपी सरकार के इस प्रकार के घोर षडयंत्रकारी कदम का तीव्र विरोध स्वाभाविक है. परम पूज्य डा. आंबेडकर के ऐतिहासिक नारों/उद्धरणों को तोड़-मरोड़ कर पढ़ाने का बसपा तीव्र विरोध करती है व उसे तत्काल वापस लेने की मांग करती है.''
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बता दें इससे पहले राजस्थान में बसपा के एक विधायक ने पार्टी प्रमुख मायावती पर सनसनीखेज आरोप लगाए हैं. राजस्थान से बहुजन समाज पार्टी के विधायक राजेंद्र गुढ़ा ने आरोप लगाया कि उनकी पार्टी में जो ज्यादा पैसे देता है उसे टिकट मिलता है. राजेंद्र गुढ़ा ने आरोप लगाया कि पैसे से चुनाव को प्रभावित किया जा रहा है. बसपा विधायक राजेंद्र गुढ़ा के बयान का वीडियो न्यूज एजेंसी ANI ने जारी किया है.
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