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This Article is From Feb 04, 2021

"सच्चाई का उपहास": कृषि कानूनों को लेकर विदेश मंत्रालय के बयान पर बोले चिदंबरम

विदेश मंत्रालय ने कहा था, भारत की संसद ने पूरी बहस के बाद कृषि क्षेत्र से जुड़े इन सुधारों को पारित किया था. इस पर कांग्रेस नेता पी चिदंबरम P Chidambaram) ने कड़ी प्रतिक्रिया दी. 

"सच्चाई का उपहास": कृषि कानूनों को लेकर विदेश मंत्रालय के बयान पर बोले चिदंबरम
कांग्रेस भी इन कृषि कानूनों को वापस लेने की कर रही है मांग
Quick Take
Summary is AI generated, newsroom reviewed.
चिदंबरम ने कहा, संसद में कृषि कानूनों पर पूरी बहस नहीं हुई
कांग्रेस नेता बोले, मत विभाजन कराने की मांग भी ठुकरा दी गई
राहुल गांधी ने भी कहा, देश की छवि अंतरराष्ट्रीय स्तर पर हुई खराब
नई दिल्ली:

पूर्व गृह मंत्री और कांग्रेस नेता पी चिदंबरम (P Chidambaram) ने विदेश मंत्रालय के उस बयान को सच्चाई का उपहास करार दिया है, जिसमें कहा गया था कि कृषि कानूनों को संसद में पूरी बहस के बाद पारित किया गया था.विदेश मंत्रालय (Ministry of External Affairs) ने कहा था कि संसद ने पूरी बहस औऱ चर्चा के बाद इन सुधारवादी कृषि कानूों को पारित किया था.

विदेश मंत्रालय ने बुधवार को यह बयान अंतरराष्ट्रीय सेलेब्रिटी रिहाना (Rihana) , पर्यावरण कार्यकर्ता ग्रेटा थुनबर्ग (Greta Thunberg) के ट्वीट के बाद जारी किया था. इन सेलेब्रिटी ने किसान आंदोलन के प्रति अपनी एकजुटता दिखाई थी. चिदंबरम ने कहा कि राज्यसभा के रिकॉर्ड और वीडियो रिकॉर्ड यह साबित कर देंगे कि पूरी तरह चर्चा नहीं हुई, कुछ सांसदों के माइक्रोफोन बंद कर दिए गए और मत विभाजन की मांग को भी ठुकरा दिया गया. चिदबंरम ने कहा कि अगर विदेश मंत्रालय ही सच्चाई को तोड़-मरोड़ने का प्रयास करेगा तो कौन उनके बयान पर यकीन करेगा.

राहुल गांधी (former Congress chief Rahul Gandhi) ने बुधवार को एक प्रेस कान्फ्रेंस में कहा था, " भारत की छवि को गहरा धक्का लगा है.  हमारी सबसे बड़ी ताकत, जिसे हम सॉफ्ट पॉवर भी कह सकते हैं, उसे बीजेपी और आरएसएस ने नुकसान पहुंचाया है.यही उनकी मानसिकता है." 

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