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पुणे में आठ लोगों को मौत के घाट उतारने वाले ड्राइवर को 3 फरवरी तक के लिए पुलिस हिरासत में भेज दिया गया है। आरोपी ड्राइवर को आज अदालत में पेश किया गया था।
संतोष माणे बुधवार सुबह यह बस लेकर भागा और शहर की सड़कों पर 1 घंटे तक अंधाधुंध दौड़ता रहा। इस दौरान पुलिस ने गोली चलाकर भी बस को रोकने की कोशिश की लेकिन वह नहीं रुका आखिर में शरीफ इब्राहिम कुट्टी नाम के शख्स ने कुछ और लोगों के साथ मिलकर उस पर काबू पाया लेकिन तब तक यह बस चालीस गाड़ियों को टक्कर मार चुकी थी। इस वारदात में आठ लोगों की मौत हो चुकी है जबकि 27 लोग घायल हुए हैं।
पुणे का कातिल ड्राइवर संतोष माणे मानसिक रूप से बीमार है या फिर उसकी बीमारी का बहाना बनाया जा रहा है। यह सवाल इसलिए उठ रहा है क्योंकि उसकी बीमारी को लेकर अलग−अलग बयान आ रहे हैं। उसकी जांच करने वाले डॉक्टरों का कहना है कि वह मानसिक और शारीरिक रूप से स्वस्थ है और ज्यादा संभावना उसके नशे में होने की लग रही है।
वहीं उसके भाई लक्ष्मण का कहना है कि संतोष लम्बे समय से बीमार चल रहा था और उसका इलाज किया जा रहा था। साथ ही संतोष के भाई का कहना है कि वह अपनी नौकरी से परेशान था। संतोष सोलापुर के नवीनपेठा इलाके का रहने वाला है। पिछले 11 सालों से वह स्टेट ट्रांसपोर्ट की बस चल रहा था। पहली बीवी की मौत के बाद उसने दूसरी शादी की और उसके परिवार में बीवी, तीन बच्चे और बूढ़ी मां है। मंगलवार को वह गंगापुर से पुणे बस लेकर आया था और उसके एक दिन बाद यानी कल ही उसने इस दर्दनाक हादसे को अंजाम दिया।
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