पीएम मोदी ने फिनटेक फेस्टिवल में दिया संबोधन
सिंगापुर:
पीएम मोदी ने सिंगापुर में आयोजित फिनटेक फेस्टिवल में बुधवार को अपना संबोधन दिया. इस मौके पर उन्होंने कहा कि तकनीक के क्षेत्र में बीते कुछ दशकों में भारत ने लंबी छलांग लगाई है. आज तकनीक कई तरह की नई मौके तैयार कर रही है. पीएम मोदी ने कहा कि सिंगापुर तकनीक की मदद से ही कम समय में ग्लोबल फाइनेंस हब बन गया है. पीएम मोदी ने इस मौके पर भारत सरकार द्वारा लांच किए गए भीम एप, बॉयोमेट्रिक सिस्टम और बीते तीन साल में खोले गए नए बैंक खातों का जिक्र किया. उन्होंने कहा कि यह मेरा सौभाग्य है कि मुझे अपनी सरकार की तरफ से फिनटेक फेस्टिवल में बोलने का मौका मिला है.
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उन्होंने कहा कि हमनें बीते कुछ वर्षों में 1.2 बिलियन लोगों का बॉयोमेट्रिक आइडेंटिटी जेनरेट किया, जबिक 1.3 बिलियन लोगों के भारत में वित्तीय समावेशन एक सच्चाई बन पाई.इस दौरा पीएम ने जनधन योजना की भी बात की. उन्होंने कहा कि हमनें बीते कुछ वर्षों में 330 मिलियन लोगों के नए खाते खोले. पीएम ने कहा कि 2014 तक भारत में 50 फीसदी से भी कम लोगों के पास बैंक खाते थे. आज के दिन तकरीबन सभी का अपना बैंक खाता है.
VIDEO: छत्तीसगढ़ में पीएम मोदी का सोनिया-राहुल पर हमला.
आज भारत बॉयोमेट्रिक आइडेंटिटी, नए बैंक खातों और सेल फोन की मदद से विश्व का सबसे बड़ा इंफ्रास्ट्रक्चर बना हुआ है. पीएम ने कहा कि हमारी सरकार जब आई तो हमारा सिर्फ एक ही मकसद था और वह यह कि हम सभी का समावेशी विकास कर पाएं. ताकि हम इसकी मदद से हर एक नागरिक के जीवन स्तर को सुधार पाएं. इसके लिए हमें एक स्थाई वित्तीय समावेश की जरूरत थी.
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उन्होंने कहा कि हमनें बीते कुछ वर्षों में 1.2 बिलियन लोगों का बॉयोमेट्रिक आइडेंटिटी जेनरेट किया, जबिक 1.3 बिलियन लोगों के भारत में वित्तीय समावेशन एक सच्चाई बन पाई.इस दौरा पीएम ने जनधन योजना की भी बात की. उन्होंने कहा कि हमनें बीते कुछ वर्षों में 330 मिलियन लोगों के नए खाते खोले. पीएम ने कहा कि 2014 तक भारत में 50 फीसदी से भी कम लोगों के पास बैंक खाते थे. आज के दिन तकरीबन सभी का अपना बैंक खाता है.
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आज भारत बॉयोमेट्रिक आइडेंटिटी, नए बैंक खातों और सेल फोन की मदद से विश्व का सबसे बड़ा इंफ्रास्ट्रक्चर बना हुआ है. पीएम ने कहा कि हमारी सरकार जब आई तो हमारा सिर्फ एक ही मकसद था और वह यह कि हम सभी का समावेशी विकास कर पाएं. ताकि हम इसकी मदद से हर एक नागरिक के जीवन स्तर को सुधार पाएं. इसके लिए हमें एक स्थाई वित्तीय समावेश की जरूरत थी.
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