राष्ट्रीय राजधानी के कुछ हिस्सों में शुक्रवार को हुई बारिश से पिछले तीन दिनों से लू से जूझ रहे दिल्लीवासियों को कुछ राहत मिली. मौसम विभाग ने शाम को आंधी चलने और बारिश होने का अनुमान जताया था. भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने कहा कि शहर में सात जुलाई तक मानसून आने की ‘‘कोई संभावना'' नहीं है. राष्ट्रीय राजधानी में शुक्रवार शाम को मौसम में अचानक बदलाव हुआ और तेज गति से हवाएं चलने लगी तथा कुछ क्षेत्रों में बारिश भी हुई. दिल्ली-एनसीआर के अलावा उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश और राजस्थान के कुछ स्थानों में भी बारिश हुई.
राष्ट्रीय राजधानी में बृहस्पतिवार को अधिकतम तापमान 43.1 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया था, जो 2012 के बाद जुलाई में दर्ज किया गया सर्वाधिक तापमान था. विभाग के अनुसार, शहर में शुक्रवार को न्यूनतम तापमान सामान्य से एक डिग्री कम 27.2 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया. सुबह साढ़े आठ बजे हवा में आर्द्रता का स्तर 25 प्रतिशत रहा.
मौसम विभाग ने अपने ट्वीट में कहा, "अगले 24 घंटों के दौरान बिहार, झारखंड, गंगीय पश्चिम बंगाल और छत्तीसगढ़ में मध्यम से तेज आंधी के साथ-साथ बादल छाए रहने के साथ बिजली गिरने की संभावना है. इससे लोगों और जानवरों को नुकसान पहुंच सकता है."
Moderate to severe thunderstorm accompanied by frequent cloud to ground lightning very likely over Bihar, Jharkhand, Gangetic West Bengal and Chhattisgarh during next 24 hours. This may cause injuries leading to casualties to people and animals staying outdoors.
— India Meteorological Department (@Indiametdept) July 2, 2021
उत्तर भारत के कई राज्य शुक्रवार को लू की चपेट में रहे, हालांकि हल्की बारिश और ठंडी हवाओं ने दिल्ली में लोगों को कुछ राहत दी, जबकि त्रिपुरा के दो जिलों में अचानक आई बाढ़ के कारण 2,000 से अधिक लोगों को राहत शिविरों में पहुंचाया गया. पूर्वोत्तर राज्य त्रिपुरा में पिछले 48 घंटों से मूसलाधार बारिश हो रही है और राज्य में बिजली तथा सड़क के बुनियादी ढांचे के अलावा फसलों को भी नुकसान पहुंचा है.
दिल्ली के कई इलाकों में बारिश, झुलसाती गर्मी से मिली कुछ राहत
दिल्ली में शुक्रवार को शाम में कुछ जगहों पर हल्की बारिश हुई, कुछ जगहों पर बादल छाए रहे और ठंडी हवाएं चलीं, जिससे पारा कुछ डिग्री नीचे आ गया. शहर में पिछले चार दिनों से लू चल रही है. मौसम विज्ञान कार्यालय ने कहा कि पालम वेधशाला में 26 मिमी बारिश, लोधी रोड में 2.5 मिमी और सफदरजंग में 0.4 मिमी बारिश दर्ज की गई. आईएमडी ने कहा कि शनिवार को आसमान में बादल छाए रहने और हल्की बारिश का अनुमान है. अधिकतम तापमान में दो डिग्री सेल्सियस की गिरावट आ सकती है. हालांकि, राहत अधिक समय तक मिलने की संभावना नहीं है. रविवार से लेकर अगले सप्ताह बुधवार तक अधिकतम तापमान 40 डिग्री सेल्सियस के आसपास रहने का अनुमान है और उच्च आर्द्रता से परेशानी बढ़ेगी.
एक बुलेटिन में, आईएमडी ने कहा कि जम्मू-कश्मीर, लद्दाख और उत्तराखंड में कुछ स्थानों पर बारिश दर्ज की गई, जबकि राजस्थान के अधिकांश हिस्सों में लू चलती रही, लेकिन अलवर में 27 मिमी और धौलपुर में 0.5 मिमी बारिश दर्ज की गई.
दिल्ली में 89 साल में सबसे गर्म 1 जुलाई, दिन तो तप ही रहे हैं, रात को भी राहत नहीं
अधिकारियों ने बताया कि राज्य के 33 में से 22 जिलों में अधिकतम तापमान 40 डिग्री सेल्सियस या इससे अधिक रहा. उन्होंने मौसम की स्थिति के लिए दक्षिण-पश्चिम मानसून की धीमी गति को जिम्मेदार ठहराया. चुरू में अधिकतम तापमान 43.6 डिग्री सेल्सियस, पिलानी में 43, श्री गंगानगर में 42.8, करौली में 42.7 और धौलपुर में 42.5 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया. हालांकि रोहतक और भिवानी सहित हरियाणा के कुछ स्थानों पर शाम को बारिश होने की सूचना है, लेकिन पंजाब में प्रचंड गर्मी है. मौसम कार्यालय ने कहा कि गुड़गांव, जहां अधिकतम तापमान सामान्य से छह डिग्री अधिक दर्ज किया गया, हरियाणा में सबसे गर्म स्थान रहा. पंजाब में, पटियाला में अधिकतम तापमान सामान्य से पांच डिग्री अधिक 40.2 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया.
आईएमडी ने बुलेटिन में कहा कि मौजूदा मौसम संबंधी स्थितियों से पता चलता है कि अगले पांच से छह दिनों में राजस्थान, पश्चिम उत्तर प्रदेश, हरियाणा, चंडीगढ़, दिल्ली और पंजाब में मानसून के आगे बढ़ने के लिए किन्हीं अनुकूल परिस्थितियों के आने की संभावना नहीं है. इसलिए, भारत के उत्तर-पश्चिम, मध्य और पश्चिमी हिस्सों में कम बारिश की संभावना है. उन्होंने कहा कि त्रिपुरा में खोवाई और सिपाहीजाला में अचानक आई बाढ़ से कम से कम 521 घर आंशिक रूप से क्षतिग्रस्त हो गए, 78 घर गंभीर रूप से क्षतिग्रस्त हो गए और नौ घर लगभग बह गए. राज्य आपातकालीन अभियान केंद्र के प्रभारी अधिकारी (ओसी) शरत दास ने कहा, "बृहस्पतिवार को 2,137 लोगों को 20 राहत शिविरों में स्थानांतरित कर दिया गया, लेकिन अब पानी कम होने से विस्थापित परिवारों ने घर लौटना शुरू कर दिया है."
दिल्ली, UP, MP, पंजाब, हरियाणा और उत्तरी राजस्थान में अगले दो दिन तक भीषण लू चलने की चेतावनी
दास के मुताबिक अचानक आई बाढ़ से पांच करोड़ रुपये से ज्यादा का नुकसान हुआ है. उन्होंने कहा, "धान के खेतों को भी नुकसान पहुंचा है. इसके अलावा, कुछ क्षेत्रों में बिजली के तार टूट गए, जिससे बिजली की आपूर्ति बाधित हो गई." दास ने कहा कि स्थानीय प्रशासन द्वारा प्रभावित परिवारों को प्राथमिक सहायता दी गई है. आईएमडी ने कहा कि उप-हिमालयी पश्चिम बंगाल और सिक्किम, नगालैंड, मणिपुर, मिजोरम, त्रिपुरा और छत्तीसगढ़, असम और मेघालय में कई स्थानों पर गरज के साथ बारिश हुई.
NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं