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This Article is From Apr 27, 2015

UPDATE: नेपाल में राहत और बचाव अभियान : ग्राउंड जीरो से रिपोर्ट



शनिवार को आए भूकंप और फिर ऑफ्टरशॉक... इसके बाद बारिश.. काठमांडू समेत आसपास के इलाकों में हालात बेहद खऱाब हैं। इन हालातों के बीच हमारे रिपोर्टर पहुंचे हुए हैं। आइए जानें वहां के ताजा हालात :

NDTVindia के हृदयेश जोशी के मुताबिक, जो इमारतें पुरानी थीं, वे ज्यादा संख्या में गिरी हैं। इमारतों से लोगों को निकालना बेहद मुश्किल काम है। कुछ इमारतें ऐसी हालत में हैं कि उनके अंदर जाने भी नहीं दिया जा रहा है।

NDTVindia के मनीष कुमार के मुताबिक, रत्ना पार्क में नेपाली आर्मी द्वारा टेंट लगाए गए हैं। यह भूकंप के बाद पहली बार है कि यह व्यवस्था की गई है और यह व्यवस्था आगे भी जारी रहेगी। दुकानें बंद हैं और जरूरी सामान पाने में दिक्कत आ रही है। दुकानदार परेशान हैं, क्योंकि कर्मी नहीं हैं या तो वे घर वापस चले गए हैं या कहीं फंसे हैं। बेघर लोगों के लिए राहत का सामान भेजा जा रहा है।

मनीष कुमार के मुताबिक, मृतकों की संख्या 3700 पार हो चुकी है। मनीष के मुताबिक, लोगों के अंदर डर समाया हुआ है। आखिर उन्होंने अपने घर और परिजन खोए हैं। आज का दिन अच्छा रहा क्योंकि न बारिश हुई न भूचाल और लोगों को उम्मीद है कि वे शिविर कैंपों से अपने घर जाने की कोशिश करेंगे लेकिन कई लोग अपने घर भी खो चुके हैं। ऐसे लोग नहीं जानते क्या करें कहां जाएं। वे काफी समय तक कैंप में रहेंगे।

शहर में पेट्रोल पंपों पर लंबी कतारें हैं। लोगों का कहना है कि खाना पीना कुछ भी मिलना मुश्किल है। लोगों को डर है कि 1-2 दिन में महामारी न फैलने लगे।


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